पटना:बिहार में शिक्षक बहाली के तीसरे चरण को लेकर मध्य और प्रारंभिक के शिक्षक के पद के लिए आज दो शिफ्ट में परीक्षा आयोजित की जा रही है. पहले शिफ्ट में मध्य विद्यालय के 19645 पदों के लिए परीक्षा आयोजित हुई. सुबह 9:30 बजे से शुरू हुई परीक्षा 12:00 बजे समाप्त हुई. परीक्षा देकर निकलते परीक्षार्थियों के चेहरे उतरे हुए नजर आए और सभी परीक्षार्थियों ने कहा कि प्रश्न पत्र काफी कठिन रहा.
'काफी कठिन रहा प्रश्न पत्र': पिछले चरण की परीक्षा में शामिल होने वाले परीक्षार्थियों ने कहा कि इस बार का प्रश्न पत्र का स्टैंडर्ड पिछले बार की तुलना से काफी हाई रहा है. शिक्षक अभ्यर्थी खुशबू भारती ने बताया कि प्रश्न पत्र का स्टैंडर्ड काफी कठिन रहा. कठिन सवाल पूछे गए थे. विषय से संबंधित प्रश्न कठिन थे और मैथ के सवालों ने उन्हें थोड़ा परेशान किया.
अंग्रेजी विषय के सवाल भी कठिन: इंद्राणी कुमारी ने बताया कि पिछली बार एक नंबर से वह चूक गई थी और यदि सप्लीमेंट्री रिजल्ट जारी होता तो वह उत्तीर्ण कर जाती. यह उनका दूसरा अटेम्प्ट था. अंग्रेजी विषय के लिए उन्होंने आवेदन किया था और अंग्रेजी में पैसेज के प्रश्न काफी टाइम टेकिंग वाले थे. सवालों को हल करने में समय कम पड़ गए. समय की कमी रही, जिस कारण कुछ प्रश्न छूटे हैं, यही कारण है कि चेहरा थोड़ा उदास है. बाकी इस बार सीट कम है तो कटऑफ भी अधिक जाने की संभावना है.
"बीपीएससी की परीक्षा है तो उसका स्टैंडर्ड भी प्रश्न पत्र में देखने को मिला है. प्रश्न पत्र दूसरे चरण की तुलना में काफी कठिन रहा है. इस बार कठिन सवाल पूछे गए थे, जिससे परीक्षा ठीक नहीं गई. जीएस के सवाल उन्हें थोड़े परेशान करने वाले लगे. सवालों को हल करने में भी समय अधिक लगे. कुल मिलाकर परीक्षा ठीक-ठाक गई है. अब देखना है रिजल्ट क्या होता है."-चांदनी कुमारी, परीक्षार्थी
यूपी के अभ्यर्थी का पेपर अच्छा गया: उत्तर प्रदेश से आए शिक्षक अभ्यर्थी नीरज यादव ने कहा कि प्रश्न पत्र एक स्टैंडर्ड का रहा और सवालों को हल करने में अच्छा लगा. उनकी परीक्षा अच्छी गई है और शिक्षक बनने के लिए अभ्यर्थियों की गुणवत्ता जचने के लिए यह जो परीक्षा ली गई है तो प्रश्न पत्र में वह स्टैंडर्ड दिखा है. उन्हें उम्मीद है कि वह क्वालीफाई कर जाएंगे.
इन विषयों के भी प्रश्न कठिन:परीक्षार्थी गौरी कुमारी ने बताया कि 'सामाजिक विज्ञान विषय के लिए आवेदन किया था और प्रश्न पत्र में विषय से संबंधित प्रश्न कठिन थे. हिस्ट्री में वर्ल्ड हिस्ट्री से भी संबंधित प्रश्न पूछे गए थे लेकिन एनसीईआरटी पाठ्यक्रम पर आधारित सवाल थे. सवाल घुमावदार थे और उसे समझने और हल करने में समय लगा. परीक्षा में समय की कमी रही और प्रश्न पत्र का लेवल भी हाई स्टैंडर्ड का रहा.'
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