जयपुर:नरेंद्र मोदी सरकार 3.0 के पहले आम बजट से देश के सभी राज्यों को उम्मीदें हैं. इसमें प्रदेश के सभी वर्ग के लोग भी निगाह लगाकर इंतजार कर रहे हैं. खास तौर पर उद्योग और व्यापार को भी इस बजट से काफी उम्मीदें हैं, क्योंकि 5 साल के बाद फिर से केंद्र और राज्य में डबल इंजन सरकार है. हालांकि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण इस बजट को महिलाओं किसान और गांव वालों के लिए बेहतर बता चुकी हैं. जाहिर है कि राजस्थान देश का सबसे बड़ा राज्य है ऐसे में यहां दिल्ली मुंबई फ्रेट कॉरिडोर और बाड़मेर में पेट्रोकेमिकल कॉम्पलेक्स जैसे प्रोजेक्ट्स को रफ्तार मिलने की उम्मीद रहेगी.
पेयजल को लेकर विशेष राज्य का दर्जा : राजस्थान में लंबे समय से पेयजल को लेकर जनता ने हर सरकार के समक्ष मांग रखी है. लिहाजा इस बजट में पेयजल परियोजनाओं को लेकर राजस्थान के लिहाज से कोई बड़ी घोषणा संभव हो सकती है. पाकिस्तान बहकर जाने वाले पानी को पश्चिमी राजस्थान के जिलों तक पहुंचाने के लिए सरकार इस बजट में किसी परियोजना का ऐलान कर सकती है. इसी तरह से पूर्वी राजस्थान कैनल प्रोजेक्ट के लिए भी बजट में वित्तीय आवंटन की राह खोली जा सकती है. जल जीवन मिशन को लेकर राजस्थान में घर-घर तक पानी पहुंचाने के लक्ष्य को लेकर नई रणनीति का खाका भी बनाया जा सकता है.
बिजली को लेकर भी उम्मीद : राजस्थान में ऊर्जा संकट के हालात को देखते हुए केंद्र सरकार सोलर एनर्जी पर अपना फोकस रख सकती है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के इस बजट में पश्चिमी राजस्थान समेत बाकी हिस्सों में सौर ऊर्जा को लेकर ज्यादा से ज्यादा बिजली उत्पादन के लिए लोगों को प्रोत्साहित करने के लिए नई स्कीम का ऐलान किया जा सकता है. ताकि घर-घर की छत से ऊर्जा उत्पादन के जरिए बिजली संकट को कम किया जा सके. सरकार सोलर प्रोजेक्ट को लेकर सब्सिडी का दायरा भी बढ़ा सकती है.