भोपाल। कोरोना महामारी से लड़ाई के लिए प्रदेश की शिवराज सरकार ने टास्क फोर्स का गठन किया है. इस टास्क फोर्स में बीजेपी के वरिष्ठ नेताओं को रखा गया है. महामारी से लड़ाई के लिए बनाई गई टास्क फोर्स में विशेषज्ञों को ना रखकर नेताओं को रखे जाने पर पूर्व मंत्री जीतू पटवारी ने सवाल खड़े किए हैं.उन्होंने कहा कि ये वक्त नेताओं को उपकृत करने का नहीं है. देश के जितने राज्यों में भी टास्क फोर्स का गठन किया गया है, उसमें विशेषज्ञों को रखा गया है. मध्यप्रदेश में विशेषज्ञों की जगह नेताओं को रखाना दुर्भाग्य की बात है.
टास्क फोर्स पर उठाए सवाल
पूर्व मंत्री जीतू पटवारी का कहना है कि इस महामारी से निपटने के लिए महाराष्ट्र,तमिलनाडु,केरल, दिल्ली सभी ने टास्क फोर्स का गठन किया है. जिसमें विशेषज्ञों, प्रशासनिक अधिकारियों, डॉक्टर और उन लोगों को रखा गया है, जो ऐसी परिस्थितियों में उपयोगी साबित हो सकते हैं. इसी तरह भारत सरकार ने भी अपने टास्क फोर्स का गठन किया है. वहीं प्रदेश के मुख्यमंत्री ने इस टास्क फोर्स में उस पूर्व स्वास्थ्य मंत्री को रखा गया है, जो कोरोना वायरस के संकट भी कायरता से प्रदेश को छोड़कर सरकार गिराने के षड्यंत्र के लिए भाग गया था.
मुझे दुख होता है कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह आगे की सोच नहीं रखते हैं, परंपरागत सोचते हैं. मुझे समझ नहीं आता है कि उनका दिमाग कितना विचलित है, किन परिस्थितियों के कारण वो दबाव में हैं. मुझे दुख हुआ कि टास्क फोर्स में विशेषज्ञों को नहीं रखा गया.
पूर्व मंत्री ने कहा है कि मुख्यमंत्री को सही दिशा में सोचना चाहिए और सही दिशा में आगे बढ़ना चाहिए. सही दिशा में बीमारी पर काबू पाने के लिए काम करना चाहिए. इंदौर शहर और राजधानी भोपाल की हालात खराब हैं. जिन लोगों के परिवार इस परेशानी को झेल रहे हैं, उनके बारे में सोचना चाहिए.