नई दिल्ली/नोएडा: चिल्ला बॉर्डर पर कृषि कानूनों के विरोध में भारतीय किसान यूनियन भानु गुट के बैनर तले किसान पिछले 40 दिनों से धरना प्रदर्शन कर रहे हैं. इस धरने का नेतृत्व शुरुआती दौर में भानु गुट के राष्ट्रीय अध्यक्ष भानु प्रताप सिंह ने किया, इसी बीच तेज बारिश और ठंड के प्रकोप से राष्ट्रीय अध्यक्ष की तबियत बिगड़ गई और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा. ऐसे में धरने का नेतृत्व करने की जिम्मेदारी भानु गुट के प्रदेश अध्यक्ष के ऊपर आ गई. अब इस जिम्मेदारी के साथ ही उन्हें बेटे का धर्म भी निभाना पड़ रहा है. दिन भर वे किसानों का नेतृत्व करते हैं और शाम होते ही पुत्र का फर्ज अदा करने राष्ट्रीय अध्यक्ष और पिता भानु प्रताप के पास अस्पताल में उनकी देखरेख करने जाना पड़ रहा है. दोनों ही जिम्मेदारियों को बखूबी निभाने में योगेश प्रताप लगे हुए हैं.
भानु गुट के प्रदेश अध्यक्ष पर दोहरी जिम्मेदारी, बखूबी निभा रहे योगेश
नोएडा के चिल्ला बॉर्डर पर कृषि कानूनों के विरोध में भारतीय किसान यूनियन भानु गुट के बैनर तले किसान पिछले 40 दिनों से धरना प्रदर्शन कर रहे हैं, लेकिन इस संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष भानु प्रताप सिंह की तबियत खराब हो गई है. जिसके चलते आंदोलन का नेतृत्व करने की जिम्मेदारी भानु गुट के प्रदेश अध्यक्ष के ऊपर आ गई है. ऐसे में वे दिन भर किसानों का नेतृत्व करते हैं और शाम होते ही पुत्र का फर्ज अदा करने के लिए अस्पताल जाते हैं.
नई दिल्ली/नोएडा: चिल्ला बॉर्डर पर कृषि कानूनों के विरोध में भारतीय किसान यूनियन भानु गुट के बैनर तले किसान पिछले 40 दिनों से धरना प्रदर्शन कर रहे हैं. इस धरने का नेतृत्व शुरुआती दौर में भानु गुट के राष्ट्रीय अध्यक्ष भानु प्रताप सिंह ने किया, इसी बीच तेज बारिश और ठंड के प्रकोप से राष्ट्रीय अध्यक्ष की तबियत बिगड़ गई और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा. ऐसे में धरने का नेतृत्व करने की जिम्मेदारी भानु गुट के प्रदेश अध्यक्ष के ऊपर आ गई. अब इस जिम्मेदारी के साथ ही उन्हें बेटे का धर्म भी निभाना पड़ रहा है. दिन भर वे किसानों का नेतृत्व करते हैं और शाम होते ही पुत्र का फर्ज अदा करने राष्ट्रीय अध्यक्ष और पिता भानु प्रताप के पास अस्पताल में उनकी देखरेख करने जाना पड़ रहा है. दोनों ही जिम्मेदारियों को बखूबी निभाने में योगेश प्रताप लगे हुए हैं.