पटना: देश व्यापी पिछड़ा वर्ग आंदोलन के सूत्रधार व प्रख्यात स्वतंत्रता सेनानी त्यागमूर्ति राम लखन चंदापुरी ने देश के नवनिर्माण में पिछड़े वर्गों की सक्रिय भूमिका को कायम करने के मकसद से वर्ष 1947 में 10 सितंबर को अखिल भारतीय पिछड़ा वर्ग संघ की पटना में स्थापना की थी. संघ 10 सितंबर 2022 को 75 वें यानी 'प्लैटिनम जुबली' वर्ष में प्रवेश करेगा.इस अवसर पर पटना के ए एन सिन्हा इंस्टीट्यूट में स्थापना दिवस समारोह (Foundation Day Celebrations at AN Sinha Institute) मनाया जाएगा जिसमें पूरे देश से लोग पहुंचेंगे.
सामाजिक न्याय दिवस के रूप में मनेगा स्थापना दिवस: संघ इस स्थापना दिवस को सामाजिक न्याय दिवस (social justice day) के रूप में मनाएगा और इसका उद्घाटन छत्रपति शिवाजी व राजर्षि छत्रपति शाहू जी महाराज के वंशज श्रीमंत छत्रपति संभाजी महाराज करेंगे. अखिल भारतीय पिछड़ा संघ के राष्ट्रीय अध्यक्ष इंद्र कुमार चंदापुरी ने बताया कि बिहार सरकार में मंत्री रहे श्रवण कुमार मुख्य अतिथि होंगे.बिहार विधानसभा के उपाध्यक्ष रहे महेश्वर हजारी, शीला मंडल, सांसद चंदेश्वर प्रसाद चंद्रवंशी, पूर्व मंत्री डॉ.प्रेम कुमार आदि मौजूद रहेंगे.उन्होंने कहा कि संघ के बिहार प्रदेश अध्यक्ष सुधीर कुमार पटेल की अध्यक्षता में समारोह की सफलता के लिए 21 विशिष्ट सदस्यों की एक स्वागत समिति गठित की गई है.
ये भी पढ़ें :- जातीय जनगणना को नागमणि ने बताया जरूरी, कहा- 'पिछड़ा वर्ग और ओबीसी का मिले 52 फीसदी आरक्षण'
सत्ता परिवर्तन सामाजिक न्याय की शक्तियों की जीत : चंदापुरी ने बिहार में सत्ता-परिवर्तन को सामाजिक न्याय की शक्तियों की जीत बताया और इसके लिए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को बधाई दी. उन्होंने पीएम नरेन्द्र मोदी से नीतीश की तरह पूरे देश में ओबीसी की जातीय जनगणना शीघ्र करवाने की अपील की. चंदापुरी ने कहा कि शुरू से हमारी पार्टी पिछड़े वर्ग की हक की लड़ाई लड़ती रही है और आगे भी लड़ती रहेगी.
ये भी पढ़ें :- बोले अशोक चौधरी- 'अति पिछड़ों को मुख्यधारा में जोड़ने के लिए CM नीतीश ने बनाए कई नियम'