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बिहार में अब जल मार्गों के जरिए भी शराब तस्करों पर कसी जाएगी नकेल

बिहार में शराबबंदी को सख्ती से लागू करवाने को लेकर लगातार कार्रवाई कर रही है. इसी कड़ी में अब पुलिस बोट के जरिए नदियों में भी गश्त करेगी. ताकि नदियों के माध्यम से शराब की तस्करी न (Liquor Smugglers Will Be Cracked Down) हो. पढ़िये पूरी खबर..

नदी में भी शराब तस्करी पर कसी जाएगी नकेल
नदी में भी शराब तस्करी पर कसी जाएगी नकेल
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Published : Feb 14, 2022, 2:26 PM IST

पटना: बिहार में शराबबंदी (Liquor Ban In Bihar) लागू है. बिहार मद्य निषेध और उत्पाद विभाग अब शराब तस्करों पर लगाम लगाने के लिए नदियों में भी गश्त तेज करने की योजना बना रहा है. बिहार सरकार का मानना है कि नदियों में निजी नाव के जरिए बड़ी मात्रा में शराब की तस्करी हो रही है. इसी तस्करी को रोकने के लिए सरकार ने अब कवायद तेज कर दी है.

ये भी पढ़ें-ड्रोन की नजर से कैसे बचेंगे शराब माफिया? सारण में उत्पाद विभाग ने दर्जनों भट्ठियों को किया नष्ट

ड्रोन से आसमान से तस्करों की निगरानी और तलाशी अभियान के दौरान इस बात के पुख्ता प्रमाण विभाग को मिले हैं कि दियारा क्षेत्रों में नदियों के किनारे बड़ी मात्रा में शराब भट्टियों की आग जल रही है, जिसमें बड़ी मात्रा में शराब बनाए जा रहे हैं. बाद में यहां निर्मित शराबों की नदियों के जरिए तस्करी की जा रही है.

बिहार मद्य निषेध और उत्पाद विभाग अब ऐसे तस्करों पर नकेल कसने के लिए तथा जलमार्ग से होने वाली तस्करी को रोकने और दियारा क्षेत्र में छापेमारी को आसान बनाने के लिए मोटर बोट खरीदने या किराया पर लेने की तैयारी कर रही है.

उत्पाद विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि खरीदी जाने वाली हेवी मोटर बोट से चार जिलों पटना, बक्सर, छपरा और वैशाली की नदियों में छापेमारी की जाएगी. सूत्रों के मुताबिक, विभाग को इन क्षेत्रों में नदियों के जरिए शराब की तस्करी की सूचना मिल रही है. बताया जाता है इन बोटों में 15 से 16 लोग सवार हो सकेंगे. इन बोटो से पांच से छह घंटे तक गश्त करने की योजना बनाई गई है.

दरअसल, पिछले दिनों मुख्यमंत्री ने राज्य में विधि व्यवस्था की समीक्षा बैठक में उत्पाद विभाग के अधिकारियों को शराब के अवैध कारोबार को रोकने के लिए अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल करने तक के निर्देश दिए हैं. इसी निर्देश के बाद विभाग राज्य के एकीकृत पोस्टों पर दूसरे राज्यों से आने वाली गाड़ियों की जांच अब चलंत ट्रक स्कैनिंग मशीन से करने की तैयारी में भी जुटी है.

बता दें कि शराबबंदी वाले बिहार राज्य के गोपालगंज, बक्सर, सारण, नालंदा और पश्चिम चंपारण जिले में पिछले चार महीने में 60 लोगों की जहरीली शराब पीने से मौत हो गई है. सरकार का मानना है कि बिहार में अन्य राज्यों से शराब की तस्करी की जा रही है. साल 2016 से बिहार में किसी भी तरह की शराब बिक्री और सेवन पर प्रतिबंध है.

ये भी पढ़ें-सोन नदी के किनारे ड्रोन से नजर, बिहटा में दर्जनों अवैध शराब भट्ठियां नष्ट

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पटना: बिहार में शराबबंदी (Liquor Ban In Bihar) लागू है. बिहार मद्य निषेध और उत्पाद विभाग अब शराब तस्करों पर लगाम लगाने के लिए नदियों में भी गश्त तेज करने की योजना बना रहा है. बिहार सरकार का मानना है कि नदियों में निजी नाव के जरिए बड़ी मात्रा में शराब की तस्करी हो रही है. इसी तस्करी को रोकने के लिए सरकार ने अब कवायद तेज कर दी है.

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ड्रोन से आसमान से तस्करों की निगरानी और तलाशी अभियान के दौरान इस बात के पुख्ता प्रमाण विभाग को मिले हैं कि दियारा क्षेत्रों में नदियों के किनारे बड़ी मात्रा में शराब भट्टियों की आग जल रही है, जिसमें बड़ी मात्रा में शराब बनाए जा रहे हैं. बाद में यहां निर्मित शराबों की नदियों के जरिए तस्करी की जा रही है.

बिहार मद्य निषेध और उत्पाद विभाग अब ऐसे तस्करों पर नकेल कसने के लिए तथा जलमार्ग से होने वाली तस्करी को रोकने और दियारा क्षेत्र में छापेमारी को आसान बनाने के लिए मोटर बोट खरीदने या किराया पर लेने की तैयारी कर रही है.

उत्पाद विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि खरीदी जाने वाली हेवी मोटर बोट से चार जिलों पटना, बक्सर, छपरा और वैशाली की नदियों में छापेमारी की जाएगी. सूत्रों के मुताबिक, विभाग को इन क्षेत्रों में नदियों के जरिए शराब की तस्करी की सूचना मिल रही है. बताया जाता है इन बोटों में 15 से 16 लोग सवार हो सकेंगे. इन बोटो से पांच से छह घंटे तक गश्त करने की योजना बनाई गई है.

दरअसल, पिछले दिनों मुख्यमंत्री ने राज्य में विधि व्यवस्था की समीक्षा बैठक में उत्पाद विभाग के अधिकारियों को शराब के अवैध कारोबार को रोकने के लिए अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल करने तक के निर्देश दिए हैं. इसी निर्देश के बाद विभाग राज्य के एकीकृत पोस्टों पर दूसरे राज्यों से आने वाली गाड़ियों की जांच अब चलंत ट्रक स्कैनिंग मशीन से करने की तैयारी में भी जुटी है.

बता दें कि शराबबंदी वाले बिहार राज्य के गोपालगंज, बक्सर, सारण, नालंदा और पश्चिम चंपारण जिले में पिछले चार महीने में 60 लोगों की जहरीली शराब पीने से मौत हो गई है. सरकार का मानना है कि बिहार में अन्य राज्यों से शराब की तस्करी की जा रही है. साल 2016 से बिहार में किसी भी तरह की शराब बिक्री और सेवन पर प्रतिबंध है.

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