पटनाः बिहार उद्योग विभाग (Bihar Industries Department) लगातार अपने काम को लेकर उपलब्धि पा रही है. विभाग लोगों को रोजगार देने का भी काम कर रहा है. कई लोग उद्यमी बनकर अन्य लोगों को रोजगार दे रहे हैं. नतीजा है कि केंद्र सरकार के एमएसएमई मंत्रालय द्वारा दिए जाने वाले जेड सर्टिफिकेशन (Zero Defect and Zero Effect) में बिहार नंबर वन बन गया है. बिहार राज्य के 3171 इकाइयों के साथ जेड सर्टिफिकेट दिया जा चुका है.
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तमिलनाडु दूसरे स्थानः तमिलनाडु के 3119 इकाइयां जेड सर्टिफिकेट प्राप्त कर दूसरा स्थान पर है. हरियाणा की 2947 इकाइयों के साथ तीसरे स्थान पर है. सर्टिफिकेट प्राप्त करने वाली बिहार की इकाइयों में से 18 इकाइयों का सिल्वर सर्टिफिकेशन और 15 इकाइयों का गोल्ड सर्टिफिकेशन हुआ है. कर्नाटक, पंजाब, उत्तर प्रदेश तथा मध्य प्रदेश का नंबर इसके बाद है.
"उद्योग विभाग के कर्मचारियों और अधिकारियों के कड़ी मेहनत से यह उपलब्धि मिली है. प्रदेश की दूसरी औद्योगिक इकाइयों को भी सर्टिफिकेट के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है. इसको लेकर लगातार काम किया जा रहा है." -संदीप पौण्डरीक, अपर मुख्य सचिव, उद्योग विभाग
उद्योग मंत्री समीर कुमार महासेठ ने कहा कि जेड सर्टिफिकेशन के मामले में नंबर वन बनना इस बात का प्रमाण है कि बिहार का औद्योगिक माहौल बेहतर हो रहा है. उद्योगपति बिहार में ज्यादा से ज्यादा निवेश करने के लिए इच्छुक हैं. उद्योग विभाग के अपर मुख्य सचिव संदीप पौण्डरीक, उद्योग निदेशक पंकज दीक्षित तथा पूरी टीम को बधाई दी है. उद्यमी योजना के तहत रोजगार के लिए बैंक लोन मुहैया करा रही है.
"जेड सर्टिफिकेशन मिलने से साफ है कि बिहार का औद्योगिक माहौल बेहतर हो रहा है. इसके लिए पूरी टीम बधाई के पात्र हैं. उद्योगपति बिहार में ज्यादा से ज्यादा निवेश करना चाह रहे हैं." -समीर कुमार महासेठ, उद्योग मंत्री, बिहार