कुल्लू:ईरान, लेबनान, इजरायल के बीच बीते दिनों बढ़ रहे तनाव के चलते इसका असर अब अन्य देशों में रह रहे इजरायल के नागरिकों पर भी पड़ रहा है. अक्टूबर माह में इजरायल के नागरिकों के कुछ प्रमुख त्योहार भी मनाए जाते हैं. इस बात को ध्यान में रखते हुए कुल्लू पुलिस ने भी कसोल और मनाली में इजरायल नागरिकों की सुरक्षा को बढ़ा दिया है, ताकि इजरायल के लोग सुरक्षित महसूस कर सकें.
अक्टूबर माह में इजरायल नागरिक कुछ त्योहार भी मनाते हैं. इस दौरान सभी इजरायली नागरिक एक जगह पर एकत्र होकर इन त्यौहारों को मानते हैं. जिला कुल्लू की मणिकर्ण घाटी के कसोल और पर्यटन नगरी मनाली में भी इन दिनों 300 से अधिक इजरायली नागरिक ठहरे हुए हैं. हालांकि ईरान और इजरायल के बीच बढ़ते हुए तनाव को ध्यान में रखते हुए अधिकतर इजरायली नागरिकों ने अपने वतन का रुख कर लिया है, लेकिन अभी भी कई इजरायली नागरिक यहां पर ठहरे हुए हैं. कुल्लू पुलिस ने इन जगहों पर गश्त को लेकर पुलिस बल की संख्या को बढ़ाया है, ताकि इजरायली नागरिक शांतिपूर्ण तरीके से अपने उत्सव को मना सके.
अधिकतर इजरायली कर चुके हैं वतन वापसी
गौर रहे कि दो से चार अक्तूबर तक मनाए गए रोष हाशना उत्सव में अधिकतर इजरायली पर्यटक पार्वती घाटी, कालगा और पुलगा में जमा हुए थे. इसके बाद से अधिकतर इजरायली अपने वतन लौट गए हैं. बताया जा रहा है कि पार्वती घाटी और मनाली में मात्र 300 इजरायली अभी रुके हुए हैं. वो भी 12 से 15 अक्तूबर तक मनाए जाने वाले योम कीपर और 24 और 25 अक्तूबर को सिमचट तोराह उत्सव के बाद अपने वतन लौट सकते हैं. दरअसल ईरान-लेबनान के बीच बढ़ते विवाद के कारण देशभक्ति का जज्बा लिए इजरायल के नागरिकों ने अपने देश का रुख किया है.
एसपी कुल्लू डॉ गोकुल चंद्रन कार्तिकेयन ने बताया कि, 'पुलिस ने विदेशी लोगों की सुरक्षा की ओर ध्यान देते हुए यहां पर सुरक्षा को बढ़ा दिया है, ताकि वो शांतिपूर्ण तरीके से अपने सभी त्यौहार मना सकें. इसके अलावा भी पुलिस इस बात का ध्यान रख रही है कि यहां पर किसी भी प्रकार की संदिग्ध गतिविधियां ना हों, क्योंकि जिला कुल्लू में कई जगह पर विदेश से सैलानी यहां पर घूमने आते हैं. ऐसे में पुलिस लगातार हर चीज पर नजर बनाए हुए है"
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