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क्या उसी दलदल में फंस गए प्रशांत किशोर, जिस दलदल से निकालने की करते थे बात?

क्या प्रशांत किशोर भी जाति वाली राजनीति में उतर गए हैं. जिस प्रकार से कैंडिडेट का चयन किया गया है उसको लेकर सवाल उठ रहे.

प्रशांत किशोर
प्रशांत किशोर (Etv Bharat)

By ETV Bharat Bihar Team

Published : Oct 16, 2024, 10:43 PM IST

पटना :चुनावी रणनीतिकार कहें या फिर जन सुराज के संयोजक प्रशांत किशोर, एनडीए और इंडिया दोनों गठबंधन को चुनौती देने के लिए मैदान में उतर चुके हैं. उपचुनाव में प्रशांत किशोर की अग्नि परीक्षा है. जाति की राजनीति को दरकिनार करने का दावा करने वाले प्रशांत किशोर ने जातिगत आधार पर उम्मीदवार को मैदान में उतरना शुरू किया है.

''हम बिहार की राजनीति का ट्रेंड बदलना चाहते हैं. पारंपरिक राजनीति करनी होती तो हम यहां नहीं आते. हम जाति की राजनीति से अलग राजनीति करना चाहते हैं.''-प्रशांत किशोर, संयोजक, जन सुराज

देखें यह रिपोर्ट. (ETV Bharat)

तरारी में राजपूत जाति पर लगाया दांव : जनसुराज नेता प्रशांत किशोर दल बनाने के 1 महीने के अंदर ही चुनाव के मैदान में कूद पड़े हैं. प्रशांत किशोर ने तरारी विधानसभा सीट पर उम्मीदवार उतार दिए हैं. अवकाश प्राप्त लेफ्टिनेंट जनरल एसके सिंह को उम्मीदवार बनाया गया है. जमात की राजनीति करने का दावा करने वाले प्रशांत किशोर ने भी जाति की राजनीति का रास्ता चुना है. तरारी विधानसभा सीट पर एनडीए और इंडिया गठबंधन को चुनौती देने के लिए राजपूत जाति पर दांव लगाया है.

तरारी से उम्मीदवार उतारने की घोषणा. (ETV Bharat)

तीन सीटों पर पीके को नहीं मिले उम्मीदवार! : प्रशांत किशोर उपचुनाव में मजबूत उपस्थिति दर्ज करना चाहते हैं. प्रशांत किशोर एक साथ भाजपा, जनता दल युनाइटेड, राष्ट्रीय जनता दल, वाम दल और हम पार्टी को चुनौती देने के लिए तैयार हैं. नामांकन की अंतिम तिथि 25 अक्टूबर है, लेकिन अब तक चारों सीटों पर प्रशांत किशोर को उम्मीदवार नहीं मिले हैं.

बेलागंज में अल्पसंख्यक उम्मीदवार उतारने की तैयारी : बेलागंज विधानसभा सीट पर अल्पसंख्यक उम्मीदवार उतारने की तैयारी कर ली गई है. मिल रही जानकारी के मुताबिक बेलागंज विधानसभा सीट पर प्रशांत किशोर अमजद अली खान को उम्मीदवार बना सकते हैं. बेलागंज विधानसभा सीट पर यादव जाति के बाद मुसलमान की संख्या अच्छी खासी है. मुस्लिम वोट बैंक में प्रशांत किशोर डेंट करना चाहते हैं.

ईटीवी भारत GFX. (ETV Bharat)

रामगढ़ में कुशवाहा वोटर पर PK की नजर : रामगढ़ विधानसभा क्षेत्र राजपूत बहुल माना जाता है. राष्ट्रीय जनता दल और भाजपा की ओर से राजपूत उम्मीदवार मैदान में उतरने की तैयारी है. इसे देखते हुए प्रशांत किशोर ने कुशवाहा जाति को मैदान में उतरने की तैयारी की है. आपको बता दें कि रामगढ़ विधानसभा क्षेत्र में पहले स्थान पर राजपूत 60000 के आसपास है, दूसरे स्थान पर यादव जिनकी संख्या 45000 के आसपास है, तीसरे स्थान पर कुशवाहा वोटर हैं जिनकी संख्या 40000 के आसपास है.

इमामगंज में दलित चेहरे की तलाश :इमामगंज विधानसभा सुरक्षित सीट है. वहां से दो बड़े नेता चुनाव के मैदान में दिखाई देते हैं, जीतन राम मांझी और उदय नारायण चौधरी. इमामगंज सीट पर भी प्रशांत किशोर को किसी चर्चित दलित चेहरे की तलाश है.

''मेरे उम्मीदवार भले ही मजबूत ना हो लेकिन अच्छे होंगे इसकी गारंटी है. आने वाले 1-2 दिन में बाकी तीन सीटों पर भी उम्मीदवार घोषित कर दिए जाएंगे.''- प्रशांत किशोर, संयोजक, जन सुराज

ईटीवी भारत GFX. (ETV Bharat)

'दूसरे दलों से अलग नहीं दिख रहे PK' :राजनीतिक विश्लेषक डॉक्टर संजय कुमार का मानना है कि प्रशांत किशोर ने भी जाति के आधार पर उम्मीदवारों का चयन किया है. प्रशांत किशोर दूसरे दलों से अलग दिखने की बात कह रहे थे लेकिन चार अलग-अलग जाति और समुदाय के उम्मीदवार को मैदान में उतारकर उन्होंने यह दिखा दिया कि वह दूसरे दलों से अलग नहीं हैं.

''प्रशांत किशोर के पास चारों सीटों पर उम्मीदवार अभी नहीं थे, जिस वजह से एक ही उम्मीदवार घोषित किया गया. मैं समझता हूं कि प्रशांत किशोर इंडिया या एनडीए गठबंधन के जातिगत वोट बैंक को नहीं तोड़ पाएंगे.''- डॉक्टर संजय कुमार, राजनीतिक विश्लेषक

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