गोपालगंज: कोई आम हथियार नहीं बल्कि बेहद विशेष और असरदार ‘ग्लॉक पिस्टल’ है जिसकी खासियत जानकर आप भी दंग रह जाएंगे. यह ग्लॉक पिस्टलभारत में आम नागरिक के लिए बैन है. इसके बावजूद सोमवार को गोपालगंज कुचायकोट थाना क्षेत्र के बल्थरी चेकपोस्ट पर नागालैण्ड नंबर के बस से लॉरेंस बिश्नोई गैंग के दो युवक को गिरफ्तार किया गया. जिसके पास से प्रतिबंधित ऑस्ट्रियन निर्मित चार विदेशी ग्लॉक पिस्टल के साथ आठ मैग्जीन बरामद किया गया.
एक क्लिक में 36 राउंड फायरिंग:ये ग्लॉक हथियार होता क्या हैं. इसकी चर्चा के साथ ही लोगों के मन में ऐसे कई सवाल हैं. आइए इस बारे में विस्तार से जानते हैं. ग्लॉक पिस्टल में 6 से लेकर 36 राउंड तक मैगजीन का उपयोग हो सकता है. भारत में इस हथियार में 17 राउंड वाली मैगजीन का उपयोग किया जाता है. मैगजीन में एक साथ 17 गोलियां आती हैं. इसकी गोली 1230 फीट प्रति सेकेंड की गति से दुश्मन को लगती है. इसकी रेंज भी 50 मीटर ही है.
भारत में आम नागरिक के लिए बैन: भारत में ग्लॉक पिस्टल का उपयोग आम तौर पर नहीं होता, ये प्रतिबंधित है. भारत में स्पेशल फोर्सेस, पैरा कमांडो, एनएसजी वगैरह को यह हथियार उपयोग के लिए दिया जाता है. अब तो कंपनी कई तरह के हथियार बनाने लगी है. समय के साथ इसमें बहुत से बदलाव भी आए. अब इसमें लेजर, स्कोप, फ्लैशलाइट जैसी कई चीजें लगाईं जाती हैं. भारत में इसका 9x19 mm पैराबेलम वैरिएंट का उपयोग होता है.
एक पिस्टल की कीमत आठ लाख: 1982 के दशक से लेकर आज तक ग्लॉक की पहचान और विश्वास कायम है. आज दुनियाभर के देशों में इसे बेझिझक इस्तेमाल किया जा रहा है. इसने पूरी दुनिया को दिखाया है कि क्यों यह सबकी पसंद बन चुका है. इसका आकर इतना छोटा होता है कि इसे अपने पर्स में भी भी रख सकते हैं. एक पिस्टल की कीमत आठ लाख रुपए है. यह खराब नहीं होता.