शिमला: राजधानी शिमला के उपनगर संजौली में मस्जिद में हुए अवैध निर्माण के बाद से हिमाचल में माहौल लगातार तनावपूर्ण बना है. प्रदेशभर में विभिन्न हिंदू संगठन मस्जिद के विवादित अवैध निर्माण को गिराए जाने की मांग कर रहे हैं.
इसको लेकर जगह-जगह पर धरने प्रदर्शन कर सरकार पर दबाव बनाया जा रहा है ताकि जल्द ही ऐसे अवैध निर्माण को लेकर कोई उचित कार्रवाई हो सके. इसी कड़ी में शनिवार को शिमला सहित प्रदेश के हर जिले में प्रदर्शन होगा. शिमला में डीसी ऑफिस के नजदीक सीटीओ चौक में देवभूमि संघर्ष समिति अपनी मांगों को लेकर विरोध प्रदर्शन करेगी.
इस प्रदर्शन में भारत सरकार से वक्फ बोर्ड को समाप्त करना, हिमाचल में बन रही अवैध मस्जिदों व मजारों के निर्माण पर रोक लगाना आदि मांगें शामिल हैं. इसको लेकर डीसी को ज्ञापन भी सौंपा जाएगा. ये विरोध प्रदर्शन सुबह 11.30 बजे शुरू होगा. इस प्रदर्शन में विभिन्न क्षेत्रों से देव भूमि संघर्ष समिति से जुड़े लोग विरोध प्रदर्शन में भाग लेंगे.
देवभूमि संघर्ष समिति ने उठाए सवाल
वाम दलों के शिमला फॉर पीस एंड हार्मनी बैनर तले आयोजित किए जा रहे शांति व सद्भावना मार्च पर देवभूमि संघर्ष समिति ने सवाल उठाए थे. संघर्ष समिति का कहना है कि जब ऊना में नाबालिग प्राची राणा का गला रेत कर उसकी हत्या की गई थी, तब ये सद्भावना कहां थी? इसके साथ ही समिति ने मनोहर हत्याकांड, राजस्थान के उदयपुर में कन्हैया लाल हत्याकांड व दलित स्कूली छात्र की चाकू मारकर हत्या कर देने वाले मामलों को लेकर सवाल किए. वहीं, अब देवभूमि संघर्ष समिति प्रवासियों के पंजीकरण व अवैध मस्जिदों के निर्माण का मुद्दा उठाते हुए विरोध प्रदर्शन करेगी.
कैसे झगड़ा बदला बवाल में
अगस्त महीने के आखिर में संजौली से कुछ दूरी पर उपनगर मल्याणा में दो समुदायों के बीच मारपीट का मामला सामने आया था. उस मारपीट के बाद समुदाय विशेष के आरोपी मस्जिद में आकर छिप गए थे. ऐसा आरोप मल्याणा के एक वार्ड के पार्षद नीटू ठाकुर व अन्य लोगों ने लगाया था.
इसके बाद मस्जिद के बाहर विरोध प्रदर्शन हुआ और मस्जिद के अवैध निर्माण को गिराने की मांग हुई. इसको लेकर 11 सितंबर को संजौली में देवभूमि संघर्ष समिति ने भारी विरोध प्रदर्शन किया. पुलिस ने प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज किया था. लाठीचार्ज से भड़के हिंदू संगठनों ने प्रदेशभर में विरोध प्रदर्शनों की झड़ी लगा दी. एमसी शिमला की रेवेन्यू कोर्ट में मस्जिद की अवैध मंजिलों को लेकर सुनवाई हुई. फिलहाल समिति मस्जिद में हुए अवैध निर्माण को गिराने की मांग कर रही है.
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