जमुई: लोकसभा चुनाव 2024 को लेकर सभी दल प्रचार में जुट गए हैं. इस बार चुनाव परिवारवाद का मुद्दा भी तुल पकड़ रहा है. जमुई पहुंचे जदयू नेता व मंत्री अशोक चौधरी ने तेजस्वी यादव के सवाल का पलटवार करते हुए परिवारवाद की परिभाषा बताई है. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जो परिवारवाद बोलते हैं उसकी परिभाषा है कि जो शख्स पार्टी का प्रमुख है, अपनी पार्टी का खुद ही अध्यक्ष है और वही अपने बच्चों को पार्टी में प्रमोट करता है तो उसको परिवारवाद कहा जाता है.
इशारों-इशारों में साधा निशाना: उदाहरण देते हुऐ अशोक चौधरी ने बताया कि "ऐसे तो मेरे पिताजी भी राजनीति में थे, मैंने एमए और पीएचडी किया तब राजनीति में आया. मैंने तो अपना क्वालिफिकेशन दिया, अगर इस प्रोफेशन में नहीं आता तो किसी और प्रोफेशन में जा सकता था. हालांकि किसी शख्स का बेटे जब किसी भी प्रोफेशन में नहीं जा सकता था तो उसको राजनीति में भेजा गया जो परिवारवाद कहलाता है. नरेंद्र मोदी और नीतीश कुमार ने अपने किसी परिवार के सदस्य को प्रमोट नहीं किया है. लालू यादव अपनी पार्टी के अध्यक्ष हैं, उनहोनें अपने परिवार को प्रमोट किया है.
"जिसका बेटा सक्षम नहीं है, जो पूरी तरह से क्वालीफाई नहीं है उसको राजनीति में प्रमोट करने को परिवारवाद कहा जाता है. ऐसे परिवारवाद के खिलाफ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने चर्चा की है. लालू यादव ने तेजस्वी यादव, तेजप्रताप यादव, मीसा भारती, रोहिणी आचार्य को प्रमोट किया ये है जो राजनीति का परिवारवाद है. अब लालटेन युग समाप्त हो गया है और एलईडी लाइट की चकाचौंध रौशनी का जमाना है."-अशोक चौधरी, मंत्री, बिहार सरकार