शिमला:शनिवार 17 फरवरी को मुख्यमंत्री सुखविंदर सुक्खू ने हिमाचल प्रदेश विधानसभा में बजट पेश किया. सीएम सुक्खू ने वित्त वर्ष 2024-25 के लिए 58,444 करोड़ का बजट पेश किया है. जो हिमाचल के लिए अब तक का सबसे बड़ा बजट है. बजट की शुरुआत में ही मुख्यमंत्री ने कहा कि "हम सत्ता सुख के लिए नहीं बल्कि व्यवस्था परिवर्तन और तकदीर बदलने आए हैं. यह बजट आत्मनिर्भर हिमाचल पर फोकस है और 2032 तक हिमाचल प्रदेश को आत्मनिर्भर बनाएंगे."
किस पर कितना बजट खर्च होगा ?
वित्त वर्ष 2024-25 के बजट के मुताबिक हर 100 रुपये व्यय में से 25 रुपये सैलरी और 17 रुपये पेंशन पर खर्च होंगे. जबकि 11 रुपये ब्याज और 9 रुपये लोन की अदायगी पर खर्च किए जाएंगे. इसके अलावा स्वायत्त संस्थानों के लिए ग्रांट पर 10 रुपये जबकि बाकी बचे हुए 28 रुपये पूंजीगत कार्यों समेत अन्य गतिविधियों पर खर्च किए जाएंगे. बजट भाषण के दौरान ही मुख्यमंत्री ने बताया कि हिमाचल पर अब 87,788 करोड़ का कर्ज है.
गेहूं, मक्की और दूध पर MSP तय
हिमाचल के इस बार के बजट में सबसे बड़ी घोषणा किसान और पशुपालकों के लिए की गई है. मुख्यमंत्री सुखविंदर सुक्खू ने बजट भाषण के दौरान प्राकृतिक रूप से उगाए गए गेहूं पर 40 रुपये और मक्की पर 30 रुपये का MSP तय किया गया है. बजट में प्राकृतिक खेती को बढ़ाने, किसानों की आय बढ़ाने, युवाओं को प्राकृतिक कृषि से जोड़ने की बात कही गई है.
इसके साथ ही पशुपालकों को ध्यान में रखते हुए दूध का न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) भी तय कर दिया गया है. गाय के दूध का न्यूनतम समर्थन मूल्य 38 रुपये से बढ़ाकर 45 रुपये और भैंस के दूध का न्यूनतम समर्थन मूल्य 47 रुपये से बढ़ाकर 55 रुपये किया गया है. मुख्यमंत्री ने कहा कि हिमाचल देश में ऐसा करने वाला पहला राज्य है. साथ ही अगर इससे अधिक दाम बाजार में मिलते हैं तो पशुपालक दूध बेचने के लिए स्वतंत्र हैं.
ग्रीन हिमाचल के लिए ऐलान
सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने मार्च 2026 तक हिमाचल को ग्रीन स्टेट बनाने की घोषणा की थी. जिसकी झलक इस बार के बजट में भी देखने को मिली है. बजट में सोलर पावर प्लांट लगाने से लेकर राजीव गांधी स्टार्ट अप योजना के निजी भूमि पर 100 से 500 किलोवाट तक के सोलर पैनल लगाने पर 45% सब्सिडी देने की बात कही है. ई-टैक्सी पर 40 फीसदी सब्सिडी दी जाएगी और इन्हे चलाने के लिए 10 हजार परमिट दिए जाएंगे. प्रदेश सरकार के वन विभाग, एचआरटीसी, पर्यटन आदि विभागों की गाड़ियों को ई-व्हीकल में बदलने के साथ-साथ मुख्यमंत्री ने प्रदेश में 'वाहन स्क्रैप पॉलिसी' के तहत 'व्हीकल स्क्रैपिंग फैसिलिटी सेंटर्स' की स्थापना का भी ऐलान किया है.
टूरिज्म को बढ़ावा
हिमाचल में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए कांगड़ा के गग्गल हवाई अड्डे के विस्तार के लिए भूमि अधिग्रहण का काम शुरू हो चुका है. पर्यटकों की बेहतर सुविधा के लिए प्रदेश के सभी होम स्टे यूनिट्स को 'Himachal Pradesh Tourism Development and Registration Act' के तहत लाया जाएगा. प्रदेशभर में 16 हेलीपोर्ट्स प्रस्तावित हैं. इनमें से पहले चरण में 9 हेलीपोर्ट हमीरपुर, कांगड़ा, किन्नौर, कुल्लू, चंबा और लाहौल स्पीति जिले में स्थापित होंगे. इसके अलावा कुफरी में स्काई वॉक ब्रिज और कुल्लू में रोपवे का निर्माण होगा.
खेलों को बढ़ावा
हिमाचल प्रदेश में नशे का जाल फैलता जा रहा है. जिसे देखते हुए मुख्यमंत्री ने कंडाघाट में एक 'आदर्श नशा निवारण केंद्र' की स्थापना का ऐलान किया है. साथ ही युवाओं का खेलों की ओर रुझान बढ़ाने के लिए हमीरपुर, मनाली, कांगड़ा और शिमला जिलों में खेल परिसर, इंडोर स्टेडियम और स्विमिंग पूल जैसी सुविधाएं देने की घोषणा की गई है. राज्य के बाहर खेल प्रतियोगिताओं में हिस्सा लेने वाले खिलाड़ियों को AC 3 Tier का किराया दिया जाएगा जबकि 200 किलोमीटर से अधिक जाने पर हवाई जहाज का किराया मिलेगा. इसके अलावा सरकारी विभागों में खिलाड़ियों के लिए 3% खेल कोटे के तहत आने वाले 43 खेलों की संख्या को बढ़ाया जाएगा.
इनामी राशि में बढ़ोतरी
मुख्यमंत्री ने बजट में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर खेलों में पदक जीतने वाले खिलाड़ियों को दी जाने वाली इनामी राशि बढ़ाने का ऐलान किया है. ओलंपिक में गोल्ड मेडल जीतने पर 5 करोड़, सिल्वर मेडल 3 करोड़ और ब्रॉन्ज मेडल जीतने पर 2 करोड़ की इनामी राशि दी जाएगी. वहीं एशियन गेम्स में गोल्ड, सिल्वर और ब्रॉन्ज मेडल जीतने पर क्रमश: 4 करोड़, ढाई करोड और डेढ करोड़ रुपये दिए जाएंगे. कॉमनवेल्थ गेम्स में स्वर्ण पदक विजेता को 3 करोड़, रजत पदक विजेता को 2 करोड़ और कांस्य पदक विजेता को 1 करोड़ की इनामी राशि मिलेगी. टीम इवेंट में विजेता हिमाचल के खिलाड़ियों को पदक के आधार पर प्रतिनिधित्व के अनुपात की राशि दी जाएगी.
कर्मचारियों के लिए घोषणाएं
हिमाचल के कर्मचारियों की कुछ मांगे बीते समय से लंबित थी, मुख्यमंत्री ने कर्मचारियों को भी अपने बजट भाषण में खुशखबरी दी है. हिमाचल के सरकारी कर्मचारियों का डीए का इंतजार जल्द ही खत्म होगा. मुख्यमंत्री ने एलान किया कि 1 अप्रैल 2024 से 4% की दर से महंगाई भत्ते की किश्त जारी की जाएगी. इसके अलावा 1 जनवरी 2016 से 31 दिसंबर 2021 के बीच रिटायर हुए कर्मचारियों के लीव इनकैशमेंट और एरियर का भुगतान भी 1 मार्च 2024 से शुरू हो जाएगा. प्रदेश के सरकारी कर्मचारियों को अपने सेवाकाल में मिलने वाली LTC की सुविधा को भी एक से बढ़ाकर दो बार कर दिया है.
मनरेगा मजदूरों की दिहाड़ी 240 रुपये से बढ़ाकर 300 रुपये कर दी गई है. इसके अलावा दिहाड़ीदारों की दिहाड़ी में 25 रुपये की बढ़ोतरी की गई है जो अब 400 रुपये हो जाएगी. आउटसोर्स कर्मचारियों को अब न्यूनतम 12 हजार रुपये मासिक मिलेगा. इसके अलावा मुख्यमंत्री ने इस बार के बजट में आंगनवाड़ी, आशा वर्कर, मिड डे मील वर्कर्ज, जल शक्ति विभाग के मल्टी पर्पज वर्कर्स, पैरा फिटर, पंप ऑपरेटर्स, पंचायत चौकीदार, राजस्व चौकीदार, सिलाई टीचर, SMC अध्यापक आदि का मानदेय भी बढ़ाया है. पंचायती राज संस्थाओं से लेकर स्थानीय नगर निकायों के प्रतिनिधियों के मानदेय में भी बढ़ोतरी की गई है.
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