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6 महीने बाद दर्शन के लिए खुला शेखावाटी का ऐतिहासिक जीणमाता मंदिर - राजस्थान की खबर

कोरोना की वजह से पिछले 6 महीने से बंद शेखावाटी का ऐतिहासिक जीणमाता मंदिर मंगलवार को श्रद्धालुओं के दर्शन के लिए खोल दिया गया. हालांकि राज्य सरकार ने 7 सितंबर से ही मंदिरों को खोलने की अनुमति प्रदान कर दी थी, लेकिन मंदिर प्रबंधन ने तैयारियों के लिए मंदिर नहीं खोला था.

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शेखावाटी का ऐतिहासिक जीण माता मंदिर
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Published : Sep 15, 2020, 4:02 PM IST

सीकर. शेखावाटी में अरावली की पहाड़ियों के बीच स्थित जीणमाता मंदिर का देशभर में धार्मिक और ऐतिहासिक महत्व है. यहां देशभर से लाखों श्रद्धालु आते हैं. कोरोना वायरस की वजह से 20 मार्च को ही मंदिर को बंद कर दिया गया था. उसके बाद लॉकडाउन लागू हो गया. पिछले करीब 6 महीने से मंदिर लगातार बंद था.

बता दें कि राज्य सरकार की गाइडलाइन जारी होने के बाद भी मंदिर प्रबंधन ने प्रशासन के साथ बैठक में फैसला किया था कि सरकार की आदेशों की पालना के लिए कुछ वक्त लगेगा. इसलिए 15 सितंबर से मंदिर खोला जाएगा. मंदिर परिसर में सोशल डिस्टेंसिंग के लिए गोले बनाए गए हैं और इसके साथ-साथ आने वाले सभी श्रद्धालुओं की स्क्रीनिंग भी की जा रही है.

पढ़ें: जयपुर: 18 सितंबर को नहीं, अक्टूबर के प्रथम सप्ताह में भक्तों के लिए खुल सकते हैं मोती डूंगरी मंदिर के कपाट

मंदिर में आने वाले श्रद्धालुओं के लिए प्रबंधन ने आदेश जारी किया है कि प्रसाद और अन्य सामग्री चढ़ाने पर पाबंदी जारी रहेगी. इसके अलावा मंदिर में दूर से ही दर्शन करने होंगे. मूर्ति के नजदीक जाने की अनुमति भी नहीं दी गई है. बच्चों और बुजुर्गों को मंदिर में प्रवेश नहीं दिया जा रहा है.

सीकर. शेखावाटी में अरावली की पहाड़ियों के बीच स्थित जीणमाता मंदिर का देशभर में धार्मिक और ऐतिहासिक महत्व है. यहां देशभर से लाखों श्रद्धालु आते हैं. कोरोना वायरस की वजह से 20 मार्च को ही मंदिर को बंद कर दिया गया था. उसके बाद लॉकडाउन लागू हो गया. पिछले करीब 6 महीने से मंदिर लगातार बंद था.

बता दें कि राज्य सरकार की गाइडलाइन जारी होने के बाद भी मंदिर प्रबंधन ने प्रशासन के साथ बैठक में फैसला किया था कि सरकार की आदेशों की पालना के लिए कुछ वक्त लगेगा. इसलिए 15 सितंबर से मंदिर खोला जाएगा. मंदिर परिसर में सोशल डिस्टेंसिंग के लिए गोले बनाए गए हैं और इसके साथ-साथ आने वाले सभी श्रद्धालुओं की स्क्रीनिंग भी की जा रही है.

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मंदिर में आने वाले श्रद्धालुओं के लिए प्रबंधन ने आदेश जारी किया है कि प्रसाद और अन्य सामग्री चढ़ाने पर पाबंदी जारी रहेगी. इसके अलावा मंदिर में दूर से ही दर्शन करने होंगे. मूर्ति के नजदीक जाने की अनुमति भी नहीं दी गई है. बच्चों और बुजुर्गों को मंदिर में प्रवेश नहीं दिया जा रहा है.

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