जयपुर. सांसद हनुमान बेनीवाल के विशेषाधिकार हनन के प्रस्ताव पर संसद में राजस्थान के टॉप ब्यूरोक्रेट्स 11 अगस्त को संसद में हाजिर होंगे. इसमें राजस्थान के मुख्य सचिव राजीव स्वरूप, प्रदेश के डीजीपी भूपेंद्र यादव के अलावा एडीजी उमेश मिश्रा तत्कालीन बाड़मेर एसपी शरद चौधरी और सीएमओ के सेक्रेटरी अमित ढाका का नाम शामिल है.
11 अगस्त को संसद में दिए जाने वाले जवाब को लेकर शुक्रवार को सचिवालय में इन सभी अधिकारियों ने विशेष बैठक कर जवाबी रिपोर्ट तैयार की गई. दरअसल, पिछले साल 12 नवंबर को नागौर से सांसद हनुमान बेनीवाल और जैसलमेर बाड़मेर के सांसद और केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी के काफिले पर हमला हुआ था. जिसको लेकर शुक्रवार तक FIR दर्ज नहीं की गई.
इसी से आहत हनुमान बेनीवाल ने संसद में विशेषाधिकार हनन का प्रस्ताव दिया था. जिस पर कार्रवाई करते हुए संसदीय कमेटी ने सीएस, डीजीपी, एडीजीपी, सीएमओ सेक्रेटरी और तत्कालीन पुलिस अधीक्षक को संसद में तलब किया है. बताया जा रहा है कि, अब से पहले राजस्थान के किसी भी सांसद की ओर से दिए गए, विशेषाधिकार हनन के प्रस्ताव पर राज्य के सबसे बड़े 4 अधिकारियों को संसद में तलब नहीं किया गया. यह पहली बार हो रहा है.
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संसद की विशेषाधिकार हनन कमेटी की 11 अगस्त को बैठक होगी. जिसमें इन सभी अधिकारियों को अपना पक्ष रखना है. बता दें कि, इससे पहले 17 मार्च को मुख्य सचिव सहित सभी संबंधित अधिकारी विशेषाधिकार हनन समिति के सामने पेश हुए थे. उसमें केवल के सचिव ने अपना पद सुनाया था, बाकी अधिकारियों को अगली बैठक में शामिल होने के निर्देश दिए थे.