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स्पेशल स्टोरी: पीने के पानी को तरसे सुल्ताना के ग्रामीण, 6 ट्यूबवैल के बाद भी पानी नसीब नहीं, कलेक्टर की भी नहीं सुन रहे अधिकारी - सुल्ताना में ट्यूबवैल समस्या

झुंझुनूं के उपखंड चिड़ावा के गांव सुल्ताना के ग्रामीणों का आरोप है, कि गांव में 6 ट्यूबवैल के निर्माण के बाद भी उन्हें पीने का पानी नहीं मिल रहा है. ग्रामीणों ने कलेक्टर से शिकायत भी की है, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई है.

problem of drinking water in sultan,  सुल्ताना में पेयजल समस्या
पेयजल की समस्या से जूझ रहे ग्रामीण
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Published : Dec 5, 2019, 12:31 PM IST

चिड़ावा (झुंझुनूं). पेयजल समस्या को देखते हुए ट्यूबवैल की स्वीकृति भी जारी हुई, बजट भी उठाया गया लेकिन जिनको पीने का पानी मिलना था, वो आज भी पीने के पानी के आने का इंतजार कर रहे हैं. झुंझुनूं जिले के चिड़ावा कस्बे के सुल्ताना गांव के लोगों का आरोप है, कि 6 ट्यूबवैल की स्वीकृति मिली थी. ट्यूबवैल खुदवाए भी गए, लेकिन ट्यूबवैल का पानी ग्रामीणों को नसीब नहीं हुआ.

भू-जल संरक्षण एवं सलाहकार समिति की ओर से साल 2017 में सुल्ताना के लिए 6 ट्यूबवैल की स्वीकृति जारी की गई थी. इनमें राकड़ा जोहड़ में श्याम मंदिर के पास सिंगल फेस नलकूप निर्माण, किठाना रोड पर गणेश सिंह के घर के पास सिंगल फेस नलकूप निर्माण, फौजी कॉलोनी सुल्ताना में सिंगल फेस नलकूप निर्माण, प्यारेलाल शर्मा के घर के पास वार्ड 20 में सिंगल फेस नलकूप निर्माण, शिल्पापुरी रोड पर भंवर सिंह के घर के पास सिंगल फेस नलकूप, राजू पंच के घर के पास सिंगल फेस नलकूप निर्माण की स्वीकृति जारी हुई.

पेयजल की समस्या से जूझ रहे ग्रामीण

ये पढ़ेंः दर्द-ए-होमगार्डस! 57 साल पूरे हो गए, बावजूद इसके केवल 41 प्रतिशत ही स्थाई नौकरी पर

सुल्ताना के ग्रामीणों ने फौजी कॉलोनी स्थित सिंगल फेस नलकूप के निर्माण को लेकर जिला कलेक्टर रवि जैन से जांच कराने की मांग की है. इस शिकायत में बताया गया है, कि जिला कलेक्टर के नलकूप की 200 मीटर गहराई तक बोरिंग किए जाने के आदेश की अवहेलना की गई है और महज 103 मीटर ही बोरिंग की गई.

ये भी शिकायत की गई है, कि जो ट्यूबवैल स्वीकृत हुए उनका बजट भी उठा लिया गया, लेकिन पानी आम जन को नहीं मिला. वहीं 14वें वित्त आयोग के तहत साल 2017-18 में बने 6 सार्वजनिक सिंगल फेस ट्यूबवैल की जांच कराने की मांग के साथ ही बिजली कनेक्शन कराए जाने की मांग भी की गई, लेकिन अबतक कोई काईवाई नहीं हुई.

200 से ज्यादा लोग प्रभावित

ट्यूबवैल को लेकर बरती गई लापरवाही से 200 से ज्यादा ग्रामीण प्रभावित हुए हैं. उन्हें पीने का पानी तक नहीं मिल पा रहा है, जबकि लाखों का बजट उठा भी लिया गया है. ग्रामीणों ने कलेक्टर से इस मामले की निष्पक्ष जांच की मांग की है.

चिड़ावा (झुंझुनूं). पेयजल समस्या को देखते हुए ट्यूबवैल की स्वीकृति भी जारी हुई, बजट भी उठाया गया लेकिन जिनको पीने का पानी मिलना था, वो आज भी पीने के पानी के आने का इंतजार कर रहे हैं. झुंझुनूं जिले के चिड़ावा कस्बे के सुल्ताना गांव के लोगों का आरोप है, कि 6 ट्यूबवैल की स्वीकृति मिली थी. ट्यूबवैल खुदवाए भी गए, लेकिन ट्यूबवैल का पानी ग्रामीणों को नसीब नहीं हुआ.

भू-जल संरक्षण एवं सलाहकार समिति की ओर से साल 2017 में सुल्ताना के लिए 6 ट्यूबवैल की स्वीकृति जारी की गई थी. इनमें राकड़ा जोहड़ में श्याम मंदिर के पास सिंगल फेस नलकूप निर्माण, किठाना रोड पर गणेश सिंह के घर के पास सिंगल फेस नलकूप निर्माण, फौजी कॉलोनी सुल्ताना में सिंगल फेस नलकूप निर्माण, प्यारेलाल शर्मा के घर के पास वार्ड 20 में सिंगल फेस नलकूप निर्माण, शिल्पापुरी रोड पर भंवर सिंह के घर के पास सिंगल फेस नलकूप, राजू पंच के घर के पास सिंगल फेस नलकूप निर्माण की स्वीकृति जारी हुई.

पेयजल की समस्या से जूझ रहे ग्रामीण

ये पढ़ेंः दर्द-ए-होमगार्डस! 57 साल पूरे हो गए, बावजूद इसके केवल 41 प्रतिशत ही स्थाई नौकरी पर

सुल्ताना के ग्रामीणों ने फौजी कॉलोनी स्थित सिंगल फेस नलकूप के निर्माण को लेकर जिला कलेक्टर रवि जैन से जांच कराने की मांग की है. इस शिकायत में बताया गया है, कि जिला कलेक्टर के नलकूप की 200 मीटर गहराई तक बोरिंग किए जाने के आदेश की अवहेलना की गई है और महज 103 मीटर ही बोरिंग की गई.

ये भी शिकायत की गई है, कि जो ट्यूबवैल स्वीकृत हुए उनका बजट भी उठा लिया गया, लेकिन पानी आम जन को नहीं मिला. वहीं 14वें वित्त आयोग के तहत साल 2017-18 में बने 6 सार्वजनिक सिंगल फेस ट्यूबवैल की जांच कराने की मांग के साथ ही बिजली कनेक्शन कराए जाने की मांग भी की गई, लेकिन अबतक कोई काईवाई नहीं हुई.

200 से ज्यादा लोग प्रभावित

ट्यूबवैल को लेकर बरती गई लापरवाही से 200 से ज्यादा ग्रामीण प्रभावित हुए हैं. उन्हें पीने का पानी तक नहीं मिल पा रहा है, जबकि लाखों का बजट उठा भी लिया गया है. ग्रामीणों ने कलेक्टर से इस मामले की निष्पक्ष जांच की मांग की है.

Intro:सुल्ताना में छह ट्यूबवैल निर्माण की निकली स्वीकृति, फिर भी नहीं मिला पानी
स्वीकृति मिली, बजट भी उठाया, लेकिन पानी नहीं मिला
ग्रामीणों ने इस मामले की जांच के लिए जिला कलेक्टर को दी शिकायत
पानी की समस्या को लेकर छह ट्यूबवैल हुए थे स्वीकृति
चिड़ावा/झुंझुनूं।
पेयजल समस्या के मध्यनजर रखते हुए ट्यूबवैल की स्वीकृति भी जारी हुई, बजट भी उठाया गया और फिर भी जिनको पीने का पानी मिलना था..वे आज भी पीने के पानी का आने का इंतजार कर रहे है। ये मामला है झुंझुनूं जिले के चिड़ावा कस्बे के नजदीक सुल्ताना गांव का। जहां ग्राम पंचायत सुल्ताना को छह ट्यूबवैल की स्वीकृति मिली..ना केवल स्वीकृति मिली बल्कि ट्यूबवैल खुदाये भी गए और बजट भी उठाया गया, लेकिन उन ट्यूबवैल का पानी ग्रामीणों को नहीं मिला। ऐसा आरोप है जिनके लिए ये ट्यूबवैल स्वीकृति हुए है।Body:बता दे कि भूजल सरंक्षण एवं सलाहकार समिति के सदस्य सचिव ने एक स्वीकृति आदेश वर्ष 2017 में जारी किया। इसमें सुल्ताना के लिए छह ट्यूबवैल की स्वीकृति जारी की। इनमें राकड़ा जोहड़ में श्याम मंदिर के पास सिंगलफेस नलकूप निर्माण, किठाना रोड पर गणेशसिंह के घर के पास सिंगल फेस नलकूप निर्माण, फौजी कॉलोनी सुल्ताना में सिंगलफेस नलकूप निर्माण, प्यारेलाल शर्मा के घर के पास वार्ड 20 में सिंगलफेस नलकूप निर्माण, शिल्पापुरी रोड पर भंवरसिंह के घर के पास सिंगलफेस नलकूप, राजू पंच के घर के पास सिंगलफेस नलकूप निर्माण आदि की स्वीकृति जारी हुई।



बता दे कि सुल्ताना गांव के ग्रामीणों ने फौजी कॉलोनी स्थित सिंगल फेस जलकूप के निर्माण को लेकर जिला कलेक्टर रवी जैन से जांच करवाने की मांग की। इस शिकायत बताया गया कि जिला कलेक्टर के आदेश जलकूप की 200 मीटर गहराई तक बोरिंग किये जाने के आदेश की अवहेलना की गई और महज 103 मीटर ही बोरिंग की गई। इस मामले में जिला कलेक्टर से नरेंद्र सिंह, दीपूसिंह, दलीपसिंह, भरतसिंह, नरपत सिंह, भंवर सिंह, जगदीश गुर्जर, मोहनसिंह, डॉ जितेंद्रसिंह शेखावत आदि कई ने शिकायत करते हुए उनके आदेश की अवहेलना किये जाने की शिकायत की। साथ ही ये भी शिकायत की गई कि जो ट्यूबवैल स्वीकृत हुए उनका बजट भी उठा लिया गया, लेकिन पानी आम जन को नहीं मिला।



बता दे कि 14 वे वित्त आयोग के तहत बने छह सार्वजनिक सिंगल फेस ट्यूबवैल 2017-18 की जांच करवाने की मांग तथा बिजली कनेक्शन करवाए जाने की मांग भी जिला कलेक्टर से की गई। लेकिन अभी तक इस मामले में कोई काईवाई नहीं हुई। ऐसा आरोप ग्रामीणों का है।

200 से अधिक लोग प्रभावित
पीने के पानी के ट्यूबवैल की जब स्वीकृति जारी गई..तब उम्मीद जगी कि अब पीने के पानी की समस्या नहीं होगी..लेकिन ट्यूबवैल को लेकर बरती गई लापरवाही से 200 से अधिक ग्रामीण प्रभावित हुए है..उन्हें पीने का पानी तक नहीं मिल पा रहा है…जबकि लाखो का बजट उठा भी लिया गया है। अब ग्रामीणों ने फिर से इस पूरी मामले की निष्पक्ष जांच की मांग जिला कलेक्टर रवी जैन से की है। वहीं इस मामले में कोई भी अधिकारी बात करने को भी तैयार नहीं है। ऐसे में अब देखने वाली बात होगी कि इस मामले में प्रशासन की कुंभकरणीय निंद टूटती है या फिर नहीं।

बाइट 01- पूनम, स्थानीय महिला, सुल्ताना।

बाइट 02- करणी सिंह, स्थानीय वासी सुल्ताना।
बाइट 03 दारासिह विकास अधिकारी चिड़ावा समिति।
Conclusion:
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