झुंझुनू. शनिवार को झुंझुनू रेलवे स्टेशन पर किसी के आंखों में अपने घर जाने की खुशी की चमक थी तो किसी के पैर अपने घर पंहुचने के लिए बेचैन थे. कोई अपने मोबाइल से अपने परिजनों को अपने चलने की खबर देने में व्यस्त था तो कोई रास्ते में जरूरत के लिए पीने के पानी और खाने के पैकेट को संभाल रहा था.
दरअसल, झुंझुनू में रह रहे उतर प्रदेश के प्रवासी श्रमिक लॉकडाउन के बाद करीब 50 दिनों से अपने घर जाने के लिए परेशान थे और उन्हें अब श्रमिक स्पेशल ट्रेन से रवाना किया गया. बताया जा रहा है कि ये इनमें कई मजदूर फसल कटाई करने आए थे.
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जिले से 1416 प्रवासी श्रमिकों को ले जा रही 22 डिब्बों की श्रमिक स्पेशल ट्रेन को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया. रवानगी से पहले श्रमिकों को जिले के अलग-अलग उपखंडों से रोडवेज की 47 बसों के माध्यम से झुंझुनू रेलवे स्टेशन पर लाया गया था. हर बस में 36 लोग ही सवार किए गए, जिससे सोशल डिस्टेसिंग की पालना हो सके.
झुंझुनू रेलवे स्टेशन से जाने वाले सभी श्रमिकों और उनके परिवार के सदस्यों की मेडिकल जांच की गई. उनके टिकट की जांच कर उन्हें उनके निर्धारित स्थान पर बैठाया गया. साथ ही रवाना किए जाने से पहले प्रवासी श्रमिकों को मास्क और सैनिटाइजर वितरित किया गया.
बता दें कि जिला प्रशासन की ओर से विभिन्न व्यवस्थाओं के लिए यहां पर प्रशासनिक अधिकारियों और कर्मचारियों को भी नियुक्त किया गय था. रेलवे स्टेशन पर हर गतिविधि के दौरान सोशल डिस्टेसिंग की पूर्ण पालना की गई.
उत्तर प्रदेश के 9 जिलों के श्रमिक हुए रवाना
झुंझुनू के जिला कलेक्टर यूडी खान ने बताया कि उत्तर प्रदेश के 9 जिलों के 1501 लोगों को सूचीबद्व किया गया था. लेकिन. शनिवार को 1416 लोगों ने ही सफर किया. इसमें बरेली, बदायू, पीलीभीत, शाहजहांपुर, मुरादाबाद, बिजनौर, सम्भल, रामपुर, अमरोहा जिले के रहने वाले हैं. ये ट्रेन बरेली और मुरादाबाद रेलवे स्टेशन पर रुकेगी.
अन्य राज्यों के लोगों का भी किया जा रहा सर्वे
झुंझुनू के जिला कलेक्टर यूडी खान ने कहा कि उत्तर प्रदेश के कई प्रवासी अभी भी जिले में शेष है. उनका पंजीयन करवाया जा रहा है. उनके जाने की व्यवस्था सरकार के आदेशों के बाद कर दी जाएगी. इसी तरह बिहार या अन्य राज्यों के लोगों का भी चिन्हिकरण कर लिया गया है. उनके जाने और रूकने को लेकर सर्वे करवाया जा रहा है. सबकुछ फाइनल होते ही सरकार से आदेश से उनको भी भेजवाने की कार्रवाई की जाएगी.