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1984 में गठित राजस्थान शिक्षाकर्मी बोर्ड भंग कर स्कूल शिक्षा परिषद में किया समायोजन

शिक्षाकर्मी बोर्ड की अधिशासी बैठक में 1984 में गठित राजस्थान शिक्षाकर्मी बोर्ड को भंग कर दिया गया (Rajasthan Shiksha Karmi Board dissolved) है. अब इसे स्कूल शिक्षा परिषद में समायोजित किया गया है. बोर्ड के 32 कर्मचारियों को समग्र शिक्षा अभियान में समायोजित करने के आदेश जारी किए गए हैं.

Rajasthan Shiksha Karmi Board dissolved, adjusted in School Shiksha Parishad
1984 में गठित राजस्थान शिक्षाकर्मी बोर्ड भंग कर स्कूल शिक्षा परिषद में किया समायोजन
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Published : Dec 23, 2022, 8:20 PM IST

जयपुर. राजस्थान शिक्षाकर्मी बोर्ड को भंग कर राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद में समायोजन किया गया (Rajasthan Shiksha Karmi Board dissolved) है. शिक्षाकर्मी बोर्ड की अधिशासी बैठक में ये फैसला लिया गया. बोर्ड में सृजित पदों को खत्म करते हुए प्रतिनियुक्ति पर कार्यरत कर्मियों को उनके मूल विभाग में भेजा गया है. वहीं बोर्ड में कार्यरत नियमित 32 कार्मिकों को समग्र शिक्षा अभियान में समायोजन करने के आदेश जारी किए गए हैं.

प्रदेश में शैक्षिक पिछड़ेपन को दूर करने के लिए राजस्थान शिक्षाकर्मी परियोजना की 1984 में शुरुआत हुई थी. जिसके अच्छे परिणाम आने पर वर्ष 1987 में शिक्षाकर्मी परियोजना के संचालन के लिए अलग से राजस्थान शिक्षाकर्मी बोर्ड का गठन किया गया. योजना के तहत शिक्षाकर्मी परियोजना में राज्य के दूरस्थ और समस्याग्रस्त राजकीय विद्यालयों को अधिग्रहण कर उसमें स्थानीय गांव के शिक्षित युवक-युवतियों को प्रशिक्षण देकर शिक्षाकर्मी के पद पर समाज सेवा करने की स्वीकृति प्रदान की गई थी. इसके लिए एक निर्धारित प्रक्रिया के तहत उनका चयन होता था.

पढ़ें: सरप्लस संविदाकर्मियों को समायोजित नहीं करने पर हाईकोर्ट ने मांगा जवाब

वर्ष 1987 से जून 2005 तक शिक्षाकर्मी परियोजना का संचालन विदेशी सहायता और राजस्थान सरकार से प्राप्त अनुदान से हो रहा था. जुलाई 2005 के बाद से लगातार सरकार के गैर आयोजना मद से इसके लिए बजट उपलब्ध करवाया जा रहा था. हालांकि अब राजस्थान शिक्षाकर्मी बोर्ड को भंग कर दिया गया है. शिक्षाकर्मी बोर्ड में वर्तमान में दो पद प्रतिनियुक्ति और 38 पद बोर्ड के नियमित पद हैं. इन 38 पदों के विरूद्ध 6 पद रिक्त हैं. इन सभी पदों को खत्म कर दिया गया है.

पढ़ें: 27 मदरसा पैरा टीचर्स का समायोजन, सभी को गृह जिलों में लगाया गया

ऐसे में बोर्ड में जो अधिकारी कर्मचारी प्रतिनियुक्ति पर कार्यरत हैं, उन्हें उनको मूल विभाग में भेजा जा रहा है और बोर्ड में कार्यरत नियमित 32 कार्मिकों को अधिशेष घोषित कर उन्हें राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद समग्र शिक्षा अभियान में समायोजित किया जाएगा. इसके लिए समग्र शिक्षा अभियान में कई नए पद सृजित किए जाने के निर्देश भी प्रारंभिक शिक्षा निदेशालय ने दिए हैं. ताकि कार्मिकों का समायोजन हो सके. बोर्ड की सम्पत्ति और बकाया दायित्वों को नियमानुसार राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद को स्थानांतरित किए जाने की कार्यवाही राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद की ओर से ही की जाएगी.

समग्र शिक्षा अभियान में ये पद होंगे सृजित:

  • अतिरिक्त निजी सचिव-1
  • स्टेनो-1
  • कनिष्ठ लेखाकार-2
  • सहायक प्रोग्रामर-2
  • एमटीएफ-1
  • वरिष्ठ सहायक-1
  • कनिष्ठ सहायक-8
  • वाहन चालक3
  • चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी-12

पढ़ें: सेवानिवृत्त कर्मचारी को समायोजन से पूर्व की सेवा का लाभ दें : राजस्थान हाईकोर्ट

आपको बता दें कि बोर्ड कार्मिकों के वेतन भत्तों का भुगतान समग्र शिक्षा अभियान में प्राप्त एमएमईआर राशि से करेगा. इस राशि के कम होने पर वित्त विभाग की ओर से राशि उपलब्ध करवाई जाएगी. शिक्षाकर्मियों का मानदेय का भुगतान समग्र शिक्षा अभियान के जरिए किया जाएगा. उनके संस्थापन कार्य और ईपीएफ भुगतान की कार्रवाई राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद के जरिए की जाएगी और राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद की ओर से शिक्षाकर्मियों के मानदेय का भुगतान किया जाएगा.

जयपुर. राजस्थान शिक्षाकर्मी बोर्ड को भंग कर राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद में समायोजन किया गया (Rajasthan Shiksha Karmi Board dissolved) है. शिक्षाकर्मी बोर्ड की अधिशासी बैठक में ये फैसला लिया गया. बोर्ड में सृजित पदों को खत्म करते हुए प्रतिनियुक्ति पर कार्यरत कर्मियों को उनके मूल विभाग में भेजा गया है. वहीं बोर्ड में कार्यरत नियमित 32 कार्मिकों को समग्र शिक्षा अभियान में समायोजन करने के आदेश जारी किए गए हैं.

प्रदेश में शैक्षिक पिछड़ेपन को दूर करने के लिए राजस्थान शिक्षाकर्मी परियोजना की 1984 में शुरुआत हुई थी. जिसके अच्छे परिणाम आने पर वर्ष 1987 में शिक्षाकर्मी परियोजना के संचालन के लिए अलग से राजस्थान शिक्षाकर्मी बोर्ड का गठन किया गया. योजना के तहत शिक्षाकर्मी परियोजना में राज्य के दूरस्थ और समस्याग्रस्त राजकीय विद्यालयों को अधिग्रहण कर उसमें स्थानीय गांव के शिक्षित युवक-युवतियों को प्रशिक्षण देकर शिक्षाकर्मी के पद पर समाज सेवा करने की स्वीकृति प्रदान की गई थी. इसके लिए एक निर्धारित प्रक्रिया के तहत उनका चयन होता था.

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वर्ष 1987 से जून 2005 तक शिक्षाकर्मी परियोजना का संचालन विदेशी सहायता और राजस्थान सरकार से प्राप्त अनुदान से हो रहा था. जुलाई 2005 के बाद से लगातार सरकार के गैर आयोजना मद से इसके लिए बजट उपलब्ध करवाया जा रहा था. हालांकि अब राजस्थान शिक्षाकर्मी बोर्ड को भंग कर दिया गया है. शिक्षाकर्मी बोर्ड में वर्तमान में दो पद प्रतिनियुक्ति और 38 पद बोर्ड के नियमित पद हैं. इन 38 पदों के विरूद्ध 6 पद रिक्त हैं. इन सभी पदों को खत्म कर दिया गया है.

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ऐसे में बोर्ड में जो अधिकारी कर्मचारी प्रतिनियुक्ति पर कार्यरत हैं, उन्हें उनको मूल विभाग में भेजा जा रहा है और बोर्ड में कार्यरत नियमित 32 कार्मिकों को अधिशेष घोषित कर उन्हें राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद समग्र शिक्षा अभियान में समायोजित किया जाएगा. इसके लिए समग्र शिक्षा अभियान में कई नए पद सृजित किए जाने के निर्देश भी प्रारंभिक शिक्षा निदेशालय ने दिए हैं. ताकि कार्मिकों का समायोजन हो सके. बोर्ड की सम्पत्ति और बकाया दायित्वों को नियमानुसार राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद को स्थानांतरित किए जाने की कार्यवाही राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद की ओर से ही की जाएगी.

समग्र शिक्षा अभियान में ये पद होंगे सृजित:

  • अतिरिक्त निजी सचिव-1
  • स्टेनो-1
  • कनिष्ठ लेखाकार-2
  • सहायक प्रोग्रामर-2
  • एमटीएफ-1
  • वरिष्ठ सहायक-1
  • कनिष्ठ सहायक-8
  • वाहन चालक3
  • चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी-12

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आपको बता दें कि बोर्ड कार्मिकों के वेतन भत्तों का भुगतान समग्र शिक्षा अभियान में प्राप्त एमएमईआर राशि से करेगा. इस राशि के कम होने पर वित्त विभाग की ओर से राशि उपलब्ध करवाई जाएगी. शिक्षाकर्मियों का मानदेय का भुगतान समग्र शिक्षा अभियान के जरिए किया जाएगा. उनके संस्थापन कार्य और ईपीएफ भुगतान की कार्रवाई राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद के जरिए की जाएगी और राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद की ओर से शिक्षाकर्मियों के मानदेय का भुगतान किया जाएगा.

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