कोटा. मंडी में प्याज 80 से लेकर 120 रुपए प्रति किलो तक बिक रही है. मंडियों में आवक कम से प्याज के दाम बढ़ गए हैं. दरअसल अतिवृष्टि की वजह से प्याज का उत्पादन कम हुआ है, लिहाजा मंडियों में प्याज की आवक आधी से भी कम रह गई है.
अब थाली से गायब हो रहा प्याज...
कहावत है, कि गरीब आदमी चटनी-रोटी या प्याज रोटी से काम चला लेता है. अब उस गरीब आदमी के नसीब में ना तो चटनी रोटी रही और ना ही प्याज रोटी. प्याज के बढ़ते दामों ने रसोई का बजट बिगाड़ दिया है.
बिना प्याज ही चलाना पड़ रहा काम...
बिहार से कोटा में अपने बच्चे को कोचिंग करवाने आईं वैदेही खरे का कहना है, कि दाम ज्यादा होने की वजह से बिना प्याज के ही सब्जी खाकर खुश रहना पड़ रहा है. मार्केट में जो प्याज मिल रही है, उसमें आधी खराब भी निकल रही है, जिससे नुकसान हो रहा है. वहीं सब्जी खरीदने आए आनंद कुमार ने भी कहा, कि प्याज के दाम कम करने के लिए सरकार भी उचित कदम नहीं उठा रही है.
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प्याज के मुकाबले फलों के दाम...
प्याज के दाम फलों से भी ज्यादा हो गए हैं. फलों के दाम 30 से लेकर 100 रुपए किलो तक हैं. जबकि प्याज 120 रुपए प्रति किलो तक बिक रही है.
- फल दाम(रु/किलो)
- एप्पल 65 से 100
- नारंगी 40 से 50
- अमरूद 30 से 45
- केला 25 से 35
- सीताफल 70 से 80
- अनार 70 से 100
मंडी से कॉलोनी तक आते-आते दाम हो जाता है दोगुना...
थोक मंडी में किसानों से 40 से 65 रुपए प्रति किलो प्याज खरीदी जा रही है, लेकिन बिचौलिए अपना मुनाफा लेकर थोक व्यापारियों को यही प्याज 55 से 70 रुपए किलो तक बेच रहे हैं. थोक व्यापारी भी मंडी में ही इन्हें करीब 60 से 75 रुपए प्रति किलो में बेच रहे हैं. जबकि बाजार में सब्जी की दुकानों या फिर शहर की अलग-अलग सब्जी मंडियों में ये प्याज 100 रुपए प्रति किलो तक बिक रहा है.
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ऐसे बढ़ रहे हैं प्याज के भाव...
- किसान से खरीदी 40 से 65 रु/ किलो
- फल सब्जी मंडी में थोक व्यापारी की खरीदी 55 से 70 रु/ किलो
- फल सब्जी मंडी में थोक व्यापारी का बेचान 60 से 75 रु/ किलो
- सब्जी मंडी के बाहर प्याज 80 से 90 रु/ किलो
- शहर की अलग-अलग सब्जी मंडियों में प्याज- 90 से 100 रु/ किलो
- कॉलोनियों में सब्जी बेचने वालों के दाम 100 से 120 रु/ किलो
व्यापारी झेल रहे नुकसान...
थोक विक्रेताओं का कहना है, कि पहले वे रोज 10 कट्टे यानि करीब 500 किलो प्याज बेच देते थे, लेकिन अब रेट ज्यादा होने की वजह से 150 से 200 किलो प्याज भी नहीं बिक रहा है. व्यापारियों का ये भी कहना है, कि उन्हें प्याज की बिक्री कम होने से मुनाफा भी कम हो गया है.