जयपुर. प्रदेश में लंपी वायरस तेजी से पैर पसर रहा है. इससे हर दिन कई गोवंशों की मौत हो रही है. बेरोजगारों का (Pending recruitment of veterinarians of 2019) आरोप है इसमें राज्य सरकार की बड़ी लापरवाही है. दरअसल, 2019 में 900 पदों पर पशु चिकित्सक को पदों पर भर्ती निकाली गई थी, जो आज भी न्यायालय में लंबित है. इसे लेकर बेरोजगारों ने कृषि मंत्री लालचंद कटारिया के निवास पर पहुंचकर ज्ञापन भी सौंपा. साथ ही उन्होंने सोमवार को होने वाली सुनवाई में पैरवी करवाते हुए, भर्तियों को न्यायालय से निकलवाने की मांग की है.
बेरोजगारों का तर्क है कि 900 पदों पर पशु चिकित्सकों की भर्ती सरकार के लिए भी उपयोगी साबित होगी. लंपी स्किन डिजीज में ये चिकित्सक पशुओं की जान बचाने में अहम भूमिका निभाएंगे. उन्होंने कहा कि पशुओं की जान बचाने के लिए संवेदनशील निर्णय लेते हुए राज्य सरकार प्राथमिकता पर इस भर्ती को पूरी करें. साथ ही ऐसा न होने पर बेरोजगारों ने पशु चिकित्सकों के साथ कृषि मंत्री के आवास पर धरना देने की चेतावनी दी है.
आधे से ज्यादा पद खाली: राजस्थान में पशु चिकित्सकों के 2340 पदों में से 1141 पद रिक्त हैं. यही नहीं वरिष्ठ पशु चिकित्सकों के 1132 पदों में से 274 पद और पशुधन सहायकों के 1751 पद रिक्त चल रहे हैं. इतना ही नहीं पशु चिकित्सा सहायकों की डीपीसी नहीं होने के कारण उसके भी 749 पद रिक्त पड़े हैं. ये भर्ती प्रक्रिया 2019 से लंबित चल रही है, जिसमें 900 पशु चिकित्सकों की भर्ती होनी है.