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MPET के लिए 2 कन्वीनर बदलने के बाद अब RU ने मांगी एमफिल और पीएचडी की खाली सीट की जानकारी

राजस्थान विश्वविद्यालय में 2 साल से अटकी एमपेट को करवाने के लिए विश्वविद्यालय प्रशासन ने एकबार फिर कवायद शुरू कर दी है. पिछले दिनों एमपेट के लिए तीसरा कन्वीनर बनाने के बाद अब सभी विभागों में एमफिल और पीएचडी की खाली सीटों की जानकारी मांगी है. इसके बाद एमपेट का विज्ञापन जारी होने की उम्मीद है.

MPET in rajasthan university, जयपुर न्यूज़
राजस्थान विश्वविद्यालय प्रशासन ने मांगी एमफिल और पीएचडी की खाली सीट की जानकारी
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Published : Mar 4, 2021, 8:10 PM IST

जयपुर. राजस्थान विश्वविद्यालय के स्नातकोत्तर विभागों में पीएचडी और एमफिल में प्रवेश के लिए होने वाली परीक्षा एमपेट बीते दो सत्रों से नहीं हो पाई है. बीते दिनों विश्वविद्यालय प्रशासन ने एमपेट के लिए दूसरी बार कन्वीनर बदलते हुए डॉ. रश्मि जैन को कन्वीनर बनाया था. अब एमपेट की तैयारी की दिशा में एक और कदम बढ़ाते हुए विश्वविद्यालय के स्नातकोत्तर विभागों में एमफिल और पीएचडी की खाली सीटों की जानकारी मांगी गई है.

पढ़ें: Special: कोटा में बनेगा राजस्थान का सबसे लंबा पुल, चंबल नदी पर 165 करोड़ से होगा तैयार...इन शहरों से सीधा जुड़ेगा जिला

दरअसल, कन्वीनर ने सभी 37 विभागों को पत्र लिखकर एमफिल और पीएचडी की खाली सीटों की जानकारी मांगी है. इसके तहत सभी रिसर्च सुपरवाइजर के पास खाली सीटों की जानकारी देनी होगी. बताया जा रहा है कि ये जानकारी इकट्ठा करने के बाद खाली सीटों की संख्या के हिसाब से एमपेट के लिए विज्ञापन जारी होगा.

जानकारी के अनुसार राजस्थान विश्वविद्यालय में पीएचडी और एमफिल में प्रवेश के लिए होने वाली परीक्षा एमपेट 2019 और 2020 में नहीं हुई थी. ऐसे में अब दो साल की परीक्षा एक साथ करवाने की कवायद चल रही है. लेकिन, विश्वविद्यालय में लंबे समय से शिक्षकों के प्रमोशन नहीं हुए हैं. जिनका असर भी शोध पर पड़ा है. विश्वविद्यालय में अब 5 ही प्रोफेसर बचे हैं. दरसअल, 8 प्रोफेसर, 6 एसोसिएट प्रोफेसर और 4 असिस्टेंट प्रोफेसर विद्यार्थियों को पीएचडी करवा सकते हैं. लेकिन, प्रमोशन नहीं होने से सीटें कम होंगी.

पढ़ें: SPECIAL : राजस्थान के 17 जिलों में बिगड़ा लिंगानुपात का ग्राफ....अलवर में हालात बेहतर

बता दें कि 2018 में एमपेट का 2 चरण में आयोजन हुआ था. दूसरे चरण में 12 विषयों के लिए परीक्षा हुई थी. इसमें पीएचडी की 131 और एमफिल की 103 सीटें थी. हालांकि, 5 विषय ऐसे थे, जिनमें एमफिल की एक भी सीट नहीं थी.

जयपुर. राजस्थान विश्वविद्यालय के स्नातकोत्तर विभागों में पीएचडी और एमफिल में प्रवेश के लिए होने वाली परीक्षा एमपेट बीते दो सत्रों से नहीं हो पाई है. बीते दिनों विश्वविद्यालय प्रशासन ने एमपेट के लिए दूसरी बार कन्वीनर बदलते हुए डॉ. रश्मि जैन को कन्वीनर बनाया था. अब एमपेट की तैयारी की दिशा में एक और कदम बढ़ाते हुए विश्वविद्यालय के स्नातकोत्तर विभागों में एमफिल और पीएचडी की खाली सीटों की जानकारी मांगी गई है.

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दरअसल, कन्वीनर ने सभी 37 विभागों को पत्र लिखकर एमफिल और पीएचडी की खाली सीटों की जानकारी मांगी है. इसके तहत सभी रिसर्च सुपरवाइजर के पास खाली सीटों की जानकारी देनी होगी. बताया जा रहा है कि ये जानकारी इकट्ठा करने के बाद खाली सीटों की संख्या के हिसाब से एमपेट के लिए विज्ञापन जारी होगा.

जानकारी के अनुसार राजस्थान विश्वविद्यालय में पीएचडी और एमफिल में प्रवेश के लिए होने वाली परीक्षा एमपेट 2019 और 2020 में नहीं हुई थी. ऐसे में अब दो साल की परीक्षा एक साथ करवाने की कवायद चल रही है. लेकिन, विश्वविद्यालय में लंबे समय से शिक्षकों के प्रमोशन नहीं हुए हैं. जिनका असर भी शोध पर पड़ा है. विश्वविद्यालय में अब 5 ही प्रोफेसर बचे हैं. दरसअल, 8 प्रोफेसर, 6 एसोसिएट प्रोफेसर और 4 असिस्टेंट प्रोफेसर विद्यार्थियों को पीएचडी करवा सकते हैं. लेकिन, प्रमोशन नहीं होने से सीटें कम होंगी.

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बता दें कि 2018 में एमपेट का 2 चरण में आयोजन हुआ था. दूसरे चरण में 12 विषयों के लिए परीक्षा हुई थी. इसमें पीएचडी की 131 और एमफिल की 103 सीटें थी. हालांकि, 5 विषय ऐसे थे, जिनमें एमफिल की एक भी सीट नहीं थी.

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