जयपुर. दौसा जिले में महिला डॉक्टर अर्चना शर्मा की आत्महत्या की (dausa lady doctor suicide case) घटना पर भाजपा ने दुख जताते हुए इसे पीड़ादायक करार दिया है. इसके साथ ही इस मामले में बीजेपी प्रदेश मंत्री की गिरफ्तारी पर नाराजगी भी जताई है. भाजपा प्रदेश प्रवक्ता विधायक रामलाल शर्मा ने कहा कि गोठवाल की गिरफ्तारी (BJP furious over Jitendra Gothwal arrest in dausa) इस बात को अंकित करता है कि प्रदेश सरकार अपनी नाकामी छुपाने के लिए घटना पर पर्दा डालने का काम कर रही है.
रामलाल शर्मा ने गुरुवार को एक बयान जारी कर कहा कि जितेंद्र गोठवाल घटनास्थल पर पहुंचे, उससे कई घंटे पहले ही एफआईआर धारा 302 के अंतर्गत पुलिस गिरफ्तारी कर चुकी थी. उन्होंने कहा कि गोठवाल और अन्य भाजपा नेता पर अस्पताल संचालकों या अन्य व्यक्तियों को यदि डराने धमकाने और पैसे की उगाही के आरोप लगे हैं तो इनको गिरफ्तार करना भी चाहिए. कानूनी कार्रवाई भी होनी चाहिए. लेकिन लोकतंत्र के अंदर कोई घटना घटित होती है तो लोकतांत्रिक तरीके से विरोध दर्ज कराना गलत नहीं है और यह पहली घटना नहीं है. ऐसे अनेकों घटनाएं हैं.
शर्मा ने कहा कि (bjp mla ramlal sharma on arresting gothwal) इसी राजस्थान के अंदर सरकार के नुमाइंदे जिनके ऊपर सरकार टिकी हुई है. इनमें से कइयों ने अनेकों ऐसे कृत्य किए हैं, जिनका कांग्रेस सरकार सामना भी नहीं कर पा रही. इसी कांग्रेस सरकार के विधायक दिनदहाड़े बिजली विभाग के ऑफिस में जाते हैं. कर्मचारियों के साथ मारपीट करते हैं, धमकाते हैं और पिस्टल तानते हैं. उनकी गिरफ्तारी तो अभी तक नहीं हुई है.
शर्मा ने कहा कि कांग्रेस सरकार के एक विधायक के बेटे पर पॉक्सो एक्ट में मामला दर्ज है, लेकिन फिर भी विधायक अपने बेटे के निर्दोष होने का दावा करते हैं. अपने बेटे को इन्वेस्टिगेशन ऑफिसर के सामने पेश नहीं कर रहे हैं. रामलाल शर्मा ने कहा कि कांग्रेस सरकार के ही कई विधायक राजस्थान की प्राकृतिक संपदा को लूटने का काम कर रहे हैं. उनके ऊपर संगीन आरोप हैं, लेकिन उसके बावजूद पुलिस कोई कार्रवाई नहीं कर रही है.
रामलाल ने कहा कि निष्पक्ष जांच में भारतीय जनता पार्टी को कोई आपत्ति नहीं है, लेकिन जांच के नाम पर विषय को डाइवर्ट करना एकदम गलत और अनुचित है. उन्होंने कहा कि बीजेपी मांग करती है कि यदि भारतीय जनता पार्टी के नेताओं का हॉस्पिटल संचालकों को डराने, धमकाने, प्रलोभन और धन प्राप्त जैसी कोई बात है तो पुलिस कार्रवाई करे. लेकिन इसके साथ ही कांग्रेस सरकार के गुनाहों और पुलिस की नाकामियों को छिपाने के लिए सुप्रीम कोर्ट के आदेशों की अवहेलना करने वाले अधिकारियों के खिलाफ भी मुकदमा दर्ज होना चाहिए, उनकी भी गिरफ्तारी होनी चाहिए.
गौरतलब है कि दौसा के लालसोट में उपचार के दौरान एक प्रसूता की मौत हो गई थी. इसके बाद प्रसूता के घर वालों के दबाव में पुलिस ने धारा 302 के तहत महिला चिकित्सक पर मुकदमा दर्ज कर लिया था. जिससे आहत होकर डॉक्टर ने आत्महत्या कर ली. इस दौरान मृतक प्रसूता के पीड़ित परिजनों को आर्थिक सहायता दिए जाने की मांग पर पूर्व विधायक और भाजपा के प्रदेश मंत्री जितेंद्र गोठवाल ने लालसोट क्षेत्र में धरना भी दिया था. वहीं, गोठवाल को बुधवार देर रात जयपुर स्थित उनके निवास से पुलिस ने अनुसंधान के नाम पर हिरासत में ले लिया और आज उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया.