होशंगाबाद। सांसद राव उदय प्रताप के गोद लिए आदर्श गांव सांगाखेड़ा अव्यवस्थाएं ही अव्यवस्थाएं हैं. आदर्श गांव में स्कूल में पढ़ाने वाले प्राचार्य को ही टॉयलेट की साफ सफाई करनी पड़ रही है. कहने को तो एक्सीलेंस स्कूल है, लेकिन सांसद के आदर्श गांव में आलम ये है कि टॉयलेट साफ करने के लिए सफाईकर्मी तक नहीं है.
जिले के कन्या माध्यमिक स्कूल में रामरतन सिंह तोमर प्राचार्य हैं. स्कूल में सफाईकर्मी नहीं होने की वजह से उन्हें खुद ही टॉयलेट साफ करना पड़ता है. सांसद जी ने सांगाखेडा में एक्सीलेंस स्कूल तो बनवा दिया है, लेकिन सुविधा के नाम पर कुछ भी नहीं है. स्कूल में करीब दौ से अधिक छात्राएं पढ़ती हैं. इसके बावजूद पंचायत और शिक्षा विभाग स्कूल में सफाईकर्मी को नियुक्ति नहीं कर पाया है, लिहाजा स्कूल के प्राचार्य को ही सफाई करनी पड़ती है.
प्राचार्य रामरतन सिंह तोमर ने कहा कि स्कूल में सफाई व्यवस्था के लिए ग्राम पंचायत से भी कोई सुविधा नहीं दी गई है. उन्होंने कहा कि शिक्षक होकर यदि स्कूल को स्वच्छ नहीं रखेंगे तो इसे कौन रखेगा. उन्होनें कहा कि उनके इस काम से बच्चों को भी स्वच्छता के प्रति सीख मिलेगी.