शिमला: हिमाचल सरकार द्वारा पटवारी कानूनगो के लिए लाई गई नई ट्रांसफर पॉलिसी का विरोध शुरू हो गया है. संयुक्त पटवारी कानूनगो महासंघ शिमला इकाई ने उपायुक्त के माध्यम से सरकार को ज्ञापन भेजा और सरकार को इस पॉलिसी को वापिस लेने की मांग की है.
साथ ही पॉलिसी को वापस न लेने पर उग्र प्रदर्शन करने के साथ ही पेन डाउन स्ट्राइक की चेतावनी दी है. महासंघ ने आरोप लगाया कि कोरोना काल मे सेवाएं देने का सरकार ने नई ट्रांसफर पॉलिसी सिर्फ पटवारी और कानूनगो को टारगेट करके बनाई है.
पटवारी कानूनगो संयुक्त महासंघ के शिमला जिला अध्यक्ष केडी मेहता ने कहा कि कोरोनाकाल में पटवारी कानूनगो ने फ्रंट वॉरियर के रूप में दिन रात कार्य किया और सरकार के हर आदेशों का पालन किया और अब सरकार ने उन्हें नई ट्रांसफर पॉलिसी का तोहफा दिया है. जबकि एक क्षेत्र में पटवारी कई काम कर रहे है.
उन्होंने कहा कि सरकार ने केवल पटवारियों ओर कानूनगो को ही टारगेट किया गया जबकि तीन साल बाद पहले से ही ट्रांसफर करने की व्यवस्था है. इससे पहले 2009 ओर 2013 में जो पॉलिसी बनाई गई उसके आधार पर ट्रांसफर की जाए.
संघ ने सरकार को इस फैसले को जल्द से जल्द वापिस लिया जाए और यदि सरकार फैसला वापिस नही लेती है तो उग्र आंदोलन शुरू करने के साथ ही सभी पटवारी ओर कानूनगो कार्य नही करेगे।