कुल्लू: संयुक्त किसान मोर्चा ने किसान आंदोलन को एक (Sanyukt Kisan Morcha Kullu) साल पूरा होने पर शुक्रवार को विजय दिवस के रूप में मनाया (One Year of Kisan Andolan). इस अवसर पर कुल्लू में किसान मोर्चा व सीटू द्वारा एक विशाल रैली का आयोजन किया गया. रैली को संबोधित करते हुए किसान नेता हौतम सोंखला ने कहा कि एमएसपी को कानून के दायरे में (Farmers demand Law on MSP) जब तक नहीं लाया जाता है, तब तक किसान बिलों के वापिस लेने का कोई औचित्य नहीं.
उन्होंने कहा कि श्रम कानूनों को भी बहाल किया जाना चाहिए. एक वर्ष पहले संयुक्त किसान मोर्चा ने मोदी सरकार द्वारा लाए गए (Modi govt oppose farmers protest) किसान विरोधी बिलों के विरोध में आंदोलन शुरू किया था. उन्होंने कहा कि किसानों की मांग थी कि इन किसान विरोधी बिलों को वापस लिया जाए और इसकी आड़ में जो एमएसपी व श्रम कानून खत्म किए गए थे, उन्हें बहाल किया जाए.
उन्होंने कहा कि एक वर्ष में 700 से अधिक किसान शहीद (Farmer martyr in Farmer Protest) हुए और कई किसान जेल में हैं, लेकिन गत सप्ताह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi on Farm laws) ने देश से माफी मांगी और घोषणा कर दी कि तीनों किसान बिल वापस होंगे. उन्होंने कहा कि यह किसानों की जीत है, लेकिन सिर्फ घोषणा करने मात्र से किसानों की समस्याओं का समाधान नहीं होता.
उन्होंने कहा कि जब तक संसद में श्रम कानून को बहाल नहीं किया जाता और जब तक एमएसपी को कानून नहीं बनाया जाता, तब तक किसान आंदोलन (Farmers protest will continue) जारी रहेगा. उन्होंने कहा कि लोकसभा सत्र के दौरान भी किसान संसद के बाहर ट्रैक्टर आंदोलन जारी रखेंगे.
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