चंडीगढ़: एसवाईएल को लेकर जहां सुप्रीम कोर्ट ने दोनों सरकारों को आपस में बात कर नहर बनाने के आदेश दिए तो वहीं हरियाणा में अब विपक्ष ने इस मुद्दे पर सरकार पर हमला तेज कर दिया है. विपक्ष ने इस विषय में मुख्यमंत्री के दिए बयान हरियाणा अपने हक का पानी पंजाब से लेकर ही रहेगा पर विपक्ष ने मनोहर सरकार को घेरा है. विपक्ष का कहना है कि जब पंजाब केंद्र और हरियाणा में भाजपा की सरकार थी तब क्यों नहीं इस ओर कार्य किया?
SYL मुद्दे पर इनेलो की प्रतिक्रिया
सतलुज यमुना लिंक नहर के निर्माण को लेकर कई वर्षों से आंदोलन कर रही इनेलो का इस मुद्दे पर कहना है कि पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल से मिले तो सिर्फ उन्होंने नशे को दूर करने के मुद्दे पर चर्चा की और प्रदेश की जीवन रेखा एसवाईएल पर एक शब्द नहीं बोले. इनेलो के प्रदेश प्रवक्ता डॉ. सतबीर सैनी एवं इनेलो के राष्ट्रीय प्रधान महासचिव आरएस चौधरी ने कहा कि यह सरकार एसवाईएल का पानी लाना ही नहीं चाहती. उन्होंने कहा कि आज तक मुख्यमंत्री एसवाईएल के मुद्दे पर प्रधानमंत्री से मिलने का समय भी नहीं ले पाए, उन्होंने कहा कि उन्हें केवल सुप्रीम कोर्ट से ही उम्मीद है कि वही नहर का निर्माण करवाएगी इस और सरकार कोई ठोस कदम नहीं उठाने वाली.
'सीएम खट्टर ने अमरिंदर सिंह से लिए राज करने के टिप्स'
इसी के साथ आर एस चौधरी ने मुख्यमंत्री को घेरते हुए कहा कि प्रदेश के मुख्यमंत्री मनोहर लाल पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह से यह गुण प्राप्त कर रहे थे कि किस तरह हरियाणा में और 5 साल राज किया जा सकता है क्योंकि पंजाब के मुख्यमंत्री को शासनकाल लंबा चौड़ा अनुभव है.
'जेजेपी ने भी किया बीजेपी पर कटाक्ष'
जेजेपी के प्रदेश सचिव रणधीर सिंह ने कहा कि जब पंजाब के मुख्यमंत्री हरियाणा के मुख्यमंत्री के पास आए तब इस विषय पर कोई भी चर्चा नहीं की और अब एसवाईएल की बात कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि आज नहर के निर्माण की आवश्यकता है, लेकिन पंजाब किसानों को नहर के लिए की ली गई जमीन भी वापस कर चुका है. इस विषय पर अब कोई कार्य करेगा तो वह सुप्रीम कोर्ट ही कर सकता है.
मंत्री अनिल विज ने किया सरकार का बचाव
विपक्षी पार्टियों की तरफ से एसवाईएल पर सरकार को घिरे जाने पर प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री से बात की गई तो उन्होंने कहा कि विपक्ष को एसवाईएल के सुप्रीम कोर्ट की तरफ से दिए गए फैसले को ध्यान से पढ़ना चाहिए, इसको पढ़कर ही समझा जा सकता है कि दोनों राज्य सरकारों को विधिवत तरीके से बैठकर इस पर निर्णय लेना होगा. इनेलो के वरिष्ठ नेता आरएस चौधरी की तरफ से मुख्यमंत्री पर दिए गए बयान पर विज ने कहा कि 10 की 10 लोकसभा सीटों को भाजपा की तरफ से जीत लेने के बाद इन्हें समझा जाना चाहिए कि हमें कितना अनुभव है.