सीतामढ़ी: डीएम अभिलाषा कुमारी शर्मा ने समाहरणालय स्थित अपने कार्यालय में जिले में चल रहे क्वॉरेंटाइन सेंटर की व्यवस्थाओं को लेकर बैठक की. उन्होंने कहा कि बाहर से प्रवासी श्रमिक भाइयों का लगातार जिले में आगमन हो रहा है. सभी आने वालों को क्वॉरेंटाइन किया जाना जरूरी है. ऐसी स्थिति में हमे क्वॉरेंटाइन सेंटर की संख्या भी बढ़ानी होगी. साथ ही पूरे योजनाबद्ध तरीकों से वहां की व्यवस्थाओं को भी लागू करना होगा.
लापरवाही या गड़बड़ी की शिकायत पर होगी कार्रवाई
डीएम ने क्वॉरेंटाइन सेंटर में गुणवत्तापूर्ण भोजन की व्यवस्था का निर्देश दिया. उन्होंने कहा कि सादा लेकिन पौष्टिक भोजन होना चाहिए. सभी को समय पर भोजन मिल जाए ये भी सुनिश्चित किया जाना चाहिए. क्वॉरेंटाइन सेंटर में सफाई की नियमित व्यवस्था हो. सेंटर में रह रहे लोग सामाजिक दूरी का पालन करें, इसे हर हाल में सुनिश्चित करें. डीएम ने कहा कि वर्तमान में आने वाले सभी श्रमिक भाई देश के रेड जोन क्षेत्रों से आ रहे हैं अतः ऐसी स्थिति में हमें पूरी सावधानी और सजगता बरतनी ही होगी. डीएम अभिलाषा कुमारी शर्मा ने डीपीओ, आईसीडीएस को निर्देश दिया कि क्वॉरेंटाइन सेंटर में रहने वाले महिलाओं और बच्चों का विशेष ख्याल रखें. हर हाल में सेंटर में सरकार के दिशा निर्देशों का पालन हो, इसे सुनिश्चित करेंगे. किसी भी तरह की शिथिलता, लापरवाही या गड़बड़ी की शिकायत मिलने पर जवाबदेही तय कर कार्यवाई की जाएगी.
हो चुका है 4190 प्रवासी श्रमिकों का आगमन
बता दें कि 6 मई के बाद से जिले में अब तक 4190 प्रवासी श्रमिकों का आगमन हो चुका है. सभी को उनके संबंधित प्रखंडों के क्वॉरेंटाइन सेंटर में रखा गया है. अब तक इनमें से 48 श्रमिकों का सैंपल जांच के लिए भेजा जा चुका है, जिसकी रिपोर्ट आना बाकी है. वर्तमान में जिले के 79 प्रखंड स्तरीय क्वॉरेंटाइन सेंटर में कुल 4557 लोग रह रहे हैं. जिले में प्रखंड स्तरीय कुल 123 क्वॉरेंटाइन सेंटर बनाए गए हैं, जिसकी क्षमता 13650 है. वहीं पंचायत स्तरीय 1224 क्वॉरेंटाइन सेंटर हैं, जिसकी क्षमता 56724 है, जहां वर्तमान में 1549 लोग रह रहे हैं. इसके अतिरिक्त 46 कोविड-19 केयर सेंटर ,1 कोविड-19 हेल्थ सेंटर, 4 आपदा राहत केंद्र और 10 सीमा राहत केंद्र बनाए गए हैं. वर्तमान में आपदा राहत केंद्र में 219 लोग और सीमा राहत केंद्रों में 378 लोग रह रहे हैं.