मोतिहारी: पूर्वी चंपारण जिले की सभी नदियां खतरे के निशान से उपर बह रही हैं. रौद्र रुप धारण कर चुकी नदियों का पानी उसके तटबंधों को धराशायी करने के बाद लोगों के लिए मुसीबत का कारण बन गई है. गंडक नदी पर बना चंपारण तटबंध संग्रामपुर प्रखंड के भवानीपुर गांव के पास बीती देर रात लगभग एक बजे पानी का दबाव नहीं झेल पाया, जिससे लगभग दस फीट टूट गया.
मरम्मती का कार्य कर पाना हुआ मुश्किल
टूटे तटबंध से गंडक के तेज बहाव के कारण धीरे-धीरे नदी ने डेढ़ सौ फीट से ज्यादा क्षेत्र को तोड़ दिया है. नदी के तेज बहाव के कारण टूटे हुए स्थल की मरम्मती का कार्य कर पाना मुश्किल दिख रहा है. नदी का पानी तेज गति से अरेराज, संग्रामपुर और केसरिया प्रखंड के विभिन्न गांव में फैलने लगा है. जिला प्रशासन ने लोगों से सुरक्षित स्थान पर पनाह लेने की अपील की है.
मौके पर पहुंची अधिकारियों की टीम
ग्रामीणों ने बताया कि बीती रात एक बजे तटबंध टूटा है, जिस कारण गंडक का पानी तेज गति से चारों तरफ फैल रहा है. ग्रामीणों के अनुसार तटबंध टूटने की जानकारी मिलने पर प्रशासनिक टीम पहुंची है.
गंडक के तटबंधों पर था दबाव
बता दें कि वाल्मीकिनगर बराज से गंडक नदी में लगातार पानी को छोड़ा जा रहा है. गंडक नदी के जलस्तर में बढ़ोतरी जारी थी. गंडक नदी के बढ़े जलस्तर का दबाब उसके तटबंध पर काफी ज्यादा बना हुआ था, जिस कारण सिंचाई विभाग के अलावा अनुमंडल के अधिकारियों अलर्ट थे, लेकिन बीती रात गंडक नदी पर बना चंपारण तटबंध पानी का दबाब नहीं झेल पाया और टूट गया.