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बारां में 6 माह की बालिका में एचएमपीवी वायरस की पुष्टि, स्वास्थ्य विभाग हुआ अलर्ट - HMPV IN RAJASTHAN

बारां के छीपाबड़ौद में एक 6 माह की बालिका में HMPV की पुष्टि हुई है. हालांकि, मामला तीन माह पहले का है. बच्ची स्वस्थ्य है.

6 माह की बालिका में एचएमपीवी वायरस की पुष्टि
6 माह की बालिका में एचएमपीवी वायरस की पुष्टि (सांकेतिक फोटो)
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : 3 hours ago

छीपाबड़ौद (बारां) : जिले के छीपाबड़ौद इलाके में ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस (एचएमपीवी) के संक्रमित केस का मामला सामने आया है. इस संक्रमण का शिकार 6 माह की एक बालिका हुई है. हालांकि, यह घटना तीन महीने पुरानी है, लेकिन अब रिपोर्ट में यह मामला पॉजिटिव पाया गया है, तो चिकित्सा और स्वास्थ्य विभाग अलर्ट मोड पर आ गया है.

विभाग की टीम ने पीड़ित बालिका के गांव पहुंच कर परिजनों और स्थानीय लोगों से बातचीत की है और उनके स्वास्थ्य की स्थिति की जांच की है. इस बालिका का इलाज पहले कोटा के जेके लोन अस्पताल में किया गया था. कोटा मेडिकल कॉलेज में शिशु रोग विभाग के असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. मोहित ने बताया कि यह मामला अक्टूबर महीने का था और अस्पताल से डिस्चार्ज होने के बाद बालिका पूरी तरह से स्वस्थ थी.

इसे भी पढ़े- क्या कोरोना वायरस जितना खतरनाक है HMPV ? मेडिकल कॉलेज की प्रिंसिपल ने कही बड़ी बात

3 महीने पहले हुआ था इलाज : बारां के सारथल चिकित्सा प्रभारी डॉ. नन्द किशोर वर्मा ने बताया कि यह बालिका सारथल पीएचसी क्षेत्र के ग्राम पंचायत भावपुरा के ग्राम बादलडा की निवासी है. वह सर्दी, खांसी और बुखार से पीड़ित थी और इसका इलाज कोटा के जेके लोन अस्पताल में हुआ था. उपचार के बाद जब बालिका स्वस्थ हो गई, तो तीन महीने पहले वह अपने घर वापस लौटी थी.

गांव में लोगों की निगरानी : उन्होंने बताया कि वायरस की पुष्टि होने के बाद गांव में सभी घरों में लोगों के स्वास्थ्य की निगरानी की जा रही है. इसके अलावा, एक टीम रोजाना गांव का दौरा करेगी और बालिका के परिवार को एचएमपीवी वायरस के बारे में जानकारी प्रदान करेगी. बालिका के पिता, बबलू लोधा ने बताया कि उनकी बेटी जब दो महीने की थी, तब से सर्दी, खांसी और बुखार से पीड़ित थी और उसका इलाज अकलेरा, झालावाड़ और कोटा में विभिन्न जगहों पर हुआ था.

छीपाबड़ौद (बारां) : जिले के छीपाबड़ौद इलाके में ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस (एचएमपीवी) के संक्रमित केस का मामला सामने आया है. इस संक्रमण का शिकार 6 माह की एक बालिका हुई है. हालांकि, यह घटना तीन महीने पुरानी है, लेकिन अब रिपोर्ट में यह मामला पॉजिटिव पाया गया है, तो चिकित्सा और स्वास्थ्य विभाग अलर्ट मोड पर आ गया है.

विभाग की टीम ने पीड़ित बालिका के गांव पहुंच कर परिजनों और स्थानीय लोगों से बातचीत की है और उनके स्वास्थ्य की स्थिति की जांच की है. इस बालिका का इलाज पहले कोटा के जेके लोन अस्पताल में किया गया था. कोटा मेडिकल कॉलेज में शिशु रोग विभाग के असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. मोहित ने बताया कि यह मामला अक्टूबर महीने का था और अस्पताल से डिस्चार्ज होने के बाद बालिका पूरी तरह से स्वस्थ थी.

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3 महीने पहले हुआ था इलाज : बारां के सारथल चिकित्सा प्रभारी डॉ. नन्द किशोर वर्मा ने बताया कि यह बालिका सारथल पीएचसी क्षेत्र के ग्राम पंचायत भावपुरा के ग्राम बादलडा की निवासी है. वह सर्दी, खांसी और बुखार से पीड़ित थी और इसका इलाज कोटा के जेके लोन अस्पताल में हुआ था. उपचार के बाद जब बालिका स्वस्थ हो गई, तो तीन महीने पहले वह अपने घर वापस लौटी थी.

गांव में लोगों की निगरानी : उन्होंने बताया कि वायरस की पुष्टि होने के बाद गांव में सभी घरों में लोगों के स्वास्थ्य की निगरानी की जा रही है. इसके अलावा, एक टीम रोजाना गांव का दौरा करेगी और बालिका के परिवार को एचएमपीवी वायरस के बारे में जानकारी प्रदान करेगी. बालिका के पिता, बबलू लोधा ने बताया कि उनकी बेटी जब दो महीने की थी, तब से सर्दी, खांसी और बुखार से पीड़ित थी और उसका इलाज अकलेरा, झालावाड़ और कोटा में विभिन्न जगहों पर हुआ था.

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