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अमित शाह की नजर में हैं मध्य प्रदेश की ये खास सीटें, नतीजों की धमक बढ़ा देगी नेताओं की धड़कनें - BJP leaders Performance Review

मध्य प्रदेश में बीजेपी विधायकों व मंत्रियों को सिर्फ जीत जरूरी नहीं है, बल्कि मतदान प्रतिशत और वोट में मिली लीड भी जरूरी है, क्योंकि परिणाम के बाद सभी मंत्री विधायकों के कामों की समीक्षा की जाएगी. चुनाव से पहले गृह मंत्री अमित शाह ने इन नेताओं की प्रदेश की सीटों की जिम्मेदारी सौंपी थी.

BJP LEADERS PERFORMANCE REVIEW
अमित शाह की नजर में हैं एमपी की ये सीटें (ETV Bharat)

By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : Jun 3, 2024, 3:16 PM IST

Updated : Jun 3, 2024, 3:37 PM IST

रतलाम। लोकसभा चुनाव के नतीजे के बाद मध्य प्रदेश के मंत्रिमंडल में बड़ा फेरबदल हो सकता है. 4 जून को आने वाले नतीजे के पहले एग्जिट पोल में मध्य प्रदेश से बीजेपी को 28 सीट मिलने की संभावना है, लेकिन मध्य प्रदेश के नए नवेले मंत्रियों के लिए यह राहत की खबर नहीं है, क्योंकि गृहमंत्री अमित शाह की नजर लोकसभा चुनाव में मंत्रियों और विधायकों के प्रदर्शन पर है. जहां जीत ही काफी नहीं होगी, बल्कि मतदान प्रतिशत, पार्टी का वोट प्रतिशत, विधायक और मंत्रियों के क्षेत्र में मिली लीड के पैमाने पर इन्हें परखा जाएगा.

खासकर जिन सीटों पर मोहन सरकार के मंत्रियों की जिम्मेदारी थी. उन सीटों पर जीत हार का सीधा असर केवल उम्मीदवार पर नहीं पड़ेगा, बल्कि उस क्षेत्र के मंत्रियों पर पड़ेगा. 4 जून को चुनाव परिणाम आने के बाद मध्य प्रदेश सरकार के मंत्रियों की परफॉर्मेंस को रिव्यू किया जाएगा. इसके बाद रिव्यू रिपोर्ट के आधार पर गृहमंत्री अमित शाह मंत्रियों का भविष्य तय करेंगे.

अमित शाह ने सौंपी थी जिम्मेदारी

दरअसल, मध्य प्रदेश में मिशन 29 को लेकर गृहमंत्री अमित शाह ने लगातार प्रदेश के दौरे कर मोहन सरकार और मंत्रियों को मतदान प्रतिशत बढ़ाने से लेकर बूथ जिताने की जिम्मेदारी सौंपी थी. परफॉर्मेंस खराब होने पर शाह ने मंत्री पद जाने की चेतावनी भी दी थी. इसके बाद अब मध्य प्रदेश के 6 महीने पुराने कई मंत्रियों को परफॉर्मेंस रिव्यू बैठक की चिंता सताने लगी है. मध्य प्रदेश के नतीजों पर गृह मंत्री अमित शाह की विशेष नजर रहेगी.

सीएम मोहन यादव (ETV Bharat)

विधायकों का भी होगा परफॉर्मेंस रिव्यू

मध्य प्रदेश के केवल मंत्री ही नहीं विधायकों का भी रिपोर्ट कार्ड तैयार होगा. जिसमें उनके क्षेत्र में लोकसभा चुनाव में मिले वोट की समीक्षा की जाएगी. इसमें विधायक की परफॉर्मेंस तय की जाएगी. विधायक के क्षेत्र में पार्टी को हार मिलती है तो फिर विधायक से भी जवाब तलब किया जाएगा. अपने विधानसभा क्षेत्र में अच्छा प्रदर्शन करने वाले विधायकों को रिवॉर्ड भी मिल सकता है.

किन मंत्रियों को मिली थी कहां की जिम्मेदारी

पश्चिम मध्य प्रदेश में उप मुख्यमंत्री व वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा को मंदसौर लोकसभा सीट की जिम्मेदारी थी. रतलाम-झाबुआ लोकसभा सीट पर एमएसएमई मंत्री चेतन्य काश्यप, महिला एवं बाल विकास मंत्री निर्मला भूरिया और वन मंत्री नगर सिंह चौहान को अपने-अपने गृह जिले की जिम्मेदारी संभालना थी. उज्जैन लोकसभा सीट मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव का गृह क्षेत्र है. इंदौर ,धार, खरगोन और खंडवा सीट की जिम्मेदारी मंत्री कैलाश विजयवर्गीय, तुलसी सिलावट और विजय शाह को दी गई थी.

कैबिनेट मंत्री कैलाश विजयवर्गीय (ETV Bharat)

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तय होगा मंत्रियों का भविष्य

इंदर सिंह परमार को शाजापुर, महाकौशल क्षेत्र में प्रहलाद पटेल, राकेश सिंह, सागर संभाग में गोविंद सिंह राजपूत, विंध्य क्षेत्र में उपमुख्यमंत्री राजेंद्र शुक्ला और ग्वालियर चंबल संभाग में प्रद्युमन सिंह तोमर, एंदल सिंह कंसाना जैसे मंत्रियों को जम्मेदारी दी गई थी. बहरहाल मध्य प्रदेश भाजपा ने लोकसभा चुनाव नतीजे के बाद समीक्षा बैठक करना तय कर लिया है. जिसमें मंत्रियों के परफॉर्मेंस रिव्यू के साथ विधायकों का प्रदर्शन भी परखा जाएगा. इस बैठक के फीडबैक के आधार पर ही गृह मंत्री अमित शाह के फाइनल फीडबैक पर मध्य प्रदेश सरकार के 6 महीने पुराने मंत्रियों का भविष्य तय होगा.

Last Updated : Jun 3, 2024, 3:37 PM IST

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