जयपुर: साइबर अपराधियों ने डिजिटल हाउस अरेस्ट के नाम पर डरा कर ठगी करने का नया तरीका निकाल लिया है. ठगों ने जयपुर के वैशाली नगर निवासी पीड़ित को करीब 8 दिन तक डिजिटल हाउस अरेस्ट करके रखा. शुक्रवार तक पीड़ित को अपनी निगरानी में रखा. इतने लंबे समय तक डिजिटल अरेस्ट का यह पहला मामला बताया जा रहा है. ठगों ने 712 करोड़ रुपये की टेरर फंडिंग में फंसाने की धमकी देकर 4.55 लाख रुपये ठग लिए. ठगों ने खुद को सीबीआई, आरबीआई और ईडी अधिकारी बताकर ठगी की वारदात को अंजाम दिया.
एसीपी वैशाली नगर आलोक गौतम ने बताया कि पीड़ित वैशाली नगर निवासी है. उसके पास 1 अगस्त को दोपहर के समय उसके मोबाइल पर एक कॉल आया. कॉल करने वाले व्यक्ति ने खुद को आरबीआई का अधिकारी बताकर क्रेडिट कार्ड डिफॉल्ट होने की बात कही. पीड़ित ने क्रेडिट कार्ड होने से मना कर दिया. इसके बाद फोन करने वाले व्यक्ति ने हैदराबाद पुलिस से बात करने के लिए कहा और कॉल ट्रांसफर करके बात करवाई. एक महिला ने अपने आप को पुलिस अधिकारी बताकर बातचीत की और कहा कि 712 करोड़ रुपये की टेरर फंडिंग में आपके बैंक खाते का उपयोग किया गया है.
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पीड़ित ने बताया कि उसने इसके लिए भी मना कर दिया, तो महिला ने कहा कि आपके खाते से 20 लाख रुपये आतंकी गतिविधियों के लिए भेजे गए हैं. इसके बाद पीड़ित के बैंक खाते के साथ आधार कार्ड की डिटेल्स ले ली. पीड़ित को डराते हुए कहा कि यह मामला सुप्रीम कोर्ट में चल रहा है, जिसमें कई लोग संदिग्ध हैं. उनमें से 194 लोग गिरफ्तार हो चुके हैं. महिला ने कहा कि आपके खिलाफ भी जांच चल रही है, जल्द ही गिरफ्तारी होने वाली है.