ग्वालियर।आम लोगों से ठगी तो बहुत सुनी होगी, लेकिन ग्वालियर के युवराज यानी महानआर्यमन सिंधिया को भी 12 लाख का चूना लगा है. ये ठगी किसी और नहीं बल्कि उनके अपने ही फर्म के प्रोक्योरमेंट मैनेजर ने की है. ये गबन दो साल तक मंडी टैक्स हड़प कर किया गया है. मामले का खुलासा होने पर आरोपी प्रोक्योरमेंट मैनेजर समेत उसके दो साझेदारों पर मामला भी दर्ज कर लिया गया है.
इस तरह किया प्रोक्योरमेंट मैनेजर ने गबन
जानकारी के अनुसार युवराज की कंपनी हाइपर ग्रोसरी प्राइवेट लिमिटेड का प्रोक्योरमेंट मैनेजर शिवम गुप्ता का काम किसानों से फल और सब्जियां खरीदना और उन्हें ग्राहकों को उपलब्ध कराना था, लेकिन आरोपी शिवम ने किसानों से कम दामों में फल और सब्जियां खरीदी और बाद में कंपनी को अधिक कीमत दर्ज कराई. इन सब्जियों की बिक्री माय मंडी नाम के एक एप के जरिए की जाती थी. शिवम गुप्ता ने इसी नाम से अपनी एक और फर्जी फर्म बनाई. जिसमें मंडी टैक्स का दो प्रतिशत टैक्स मिलता था. वह टैक्स प्रोक्योरमेंट मैनेजर शिवम गुप्ता अपनी कंपनी में रख लिया करता था. जिसमें उसके दो साथी भी शामिल थे. इस तरह 2 साल में करीब 12 लख रुपए के मंडी टैक्स की रकम गबन कर ली.
शक होने पर जांच में हुआ खुलासा
जब इस बात के बारे में महान आर्यमन सिंधिया की कंपनी के कर्मचारियों को पता चला, तो उसने इस बात की जानकारी उन्हें दी. जिस पर जांच करने में इस धोखाधड़ी का खुलासा हो गया. खुद आरोपी शिवम गुप्ता ने इस धोखाधड़ी को स्वीकार भी किया. इसके बाद महान आर्यमन सिंधिया की कंपनी के साथ धोखाधड़ी करने के मामले में कंपनी के कर्मचारियों की शिकायत पर ग्वालियर के जनकगंज पुलिस थाने में तीनों आरोपियों के खिलाफ मामला भी दर्ज कर लिया है.
रतन टाटा ने भी किया है युवराज के स्टार्टअप में इन्वेस्ट
बता दें कि ज्योतिरादित्य सिंधिया के बेटे और ग्वालियर राजघराने के युवराज महान आगमन सिंधिया ग्वालियर क्रिकेट एसोसिएशन के उपाध्यक्ष हैं. साथ ही साल 2022 में उन्होंने अपने एक मित्र के साथ अपना खुद का स्टार्टअप शुरू किया था. उन्होंने हाइपर ग्रोसर्स प्राइवेट लिमिटेड नाम से एक कंपनी शुरू की थी. यह कंपनी ऑनलाइन फल और सब्जियों की बिक्री के लिए काम करती है. यह कंपनी अपने माय मंडी (MyMandi) एप के जरिए ताजे फलों और सब्जियां की सप्लाई ऑनलाइन एग्रीगेटर के तौर पर करती थी. इसी स्टार्टअप में खुद टाटा ग्रुप के रतन टाटा ने भी इन्वेस्ट किया है. 2023 में इस स्टार्टअप ने करीब 1 करोड़ रुपए का रेवेन्यू हासिल किया था. इसके बाद यह एप काफी पॉपूलर हो गया.