देवास: अपहरण के बाद बालिकाओं को ढूंढ निकालने पर उप निरीक्षक राधेश्याम वर्मा को 'केएफ रूस्तमजी' पुरस्कार से सम्मानित किया गया. बता दें कि पीपलरवां थाना क्षेत्र से 12 मई 2014 को 3 नाबालिग बालिकाओं का अपहरण किया गया था. इस घटना के बाद से पुलिस टीम लगातार बच्चियों की तलाश कर रही थी. इसके लिए कई राज्यों में पोस्टर चस्पा किए गए, लेकिन सफलता नहीं मिली. वहीं, उप निरीक्षक राधेश्याम वर्मा के सूझबूझ से साल 2021 में तीनों बच्चियों को ढूंढा गया.
देवास के नाबालिगों को 7 साल बाद ढूंढ निकाला, एसआई को मिला 'केएफ रुस्तमजी' अवार्ड
एसआई राधेश्याम वर्मा की टीम ने 7 साल बाद 3 नाबालिग को ढूंढ निकाला. पुलिस महानिदेशक ने 'केएफ रूस्तमजी' पुरस्कार से सम्मानित किया.
By ETV Bharat Madhya Pradesh Team
Published : 5 hours ago
2014 से लगातार बच्चियों की खोज की जा रही थी. इसके लिए मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, राजस्थान, उत्तर प्रदेश और गुजरात में सघन अभियान चलाया गया और इन राज्यों में पोस्टर भी लगाए गए. लेकिन प्रारंभिक चरण में पुलिस को कोई सफलता नहीं मिली. इसके बाद 2021 में एक विशेष टीम गठित की गई. इस टीम ने मुखबिर तंत्र को सक्रिय किया और 7 साल बाद एसआई राधेश्याम वर्मा और उनकी टीम ने अपनी सूझबूझ से तीनों को ढूंढ निकाला.
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'केएफ रूस्तमजी' पुरस्कार से किया सम्मानित
इस घटना की जांच करते हुए 2 बालिकाओं को भीलवाड़ा, राजस्थान और 1 बालिका को नागपुर, महाराष्ट्र से सकुशल दस्तयाब किया गया. दस्तयाब की गई बालिकाओं को उनके माता-पिता को सौंप दिया गया. 7 साल बाद अपनी बच्चियों को पाकर परिजनों की खुशी का ठिकाना नहीं रहा. इसके साथ ही उप निरीक्षक राधेश्याम वर्मा को उत्कृष्ट कार्यों के लिए मध्य प्रदेश के पूर्व पुलिस महानिदेशक सुधीर कुमार सक्सेना द्वारा 'केएफ रूस्तमजी' पुरस्कार से सम्मानित किया गया.