नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने कोचिंग संस्थाओं के नियमित संचालन के लिए कानून बनाने की मांग करते हुए प्रधानमंत्री को पत्र लिखा है. मंगलवार को लिखे पत्र में उन्होंने प्रधानमंत्री से मांग की है कि कोचिंग माफियाओं पर नकेल कसने के लिए तत्काल उचित कानून बनाया जाए, ताकि ओल्ड राजेंद्र नगर में हुई दुःखद घटना की पुनरावृति न हो.
उन्होंने कहा कि पेपर लीक मामलों में कोचिंग माफियाओं की बड़ी भूमिका पाई गई है. सरकारी तंत्र से इनकी मिलीभगत ने लाखों युवाओं का भविष्य संकट में डाल दिया है. ये लाखों रुपए फीस ले रहे हैं, लेकिन सुरक्षा मानकों को ताक पर रखकर जर्जर बिल्डिंग में क्षमता से अधिक छात्रों को बैठाते हैं. इसी तरह, छात्रों से आवास के लिए भी मोटा किराया वसूला जाता है, लेकिन सुविधाएं देने के नाम पर सिर्फ खाना-पूर्ति की जाती है. लिहाजा, इसे रोकने के लिए एक केंद्रीय कानून बनाया जाना चाहिए.
देश में सभी जगह एग्जाम के पेपर लीक में कोचिंग माफियाओं की मिलीभगत
सांसद संजय सिंह ने अपने पत्र में कहा है कि आपको अवगत कराना चाहता हूं कि पिछले कुछ सालों से देश में पेपर लीक की घटनाएं लगातार बढ़ रही हैं. सरकारी तंत्र और कोचिंग माफियाओं की मिलीभगत ने देश में लाखों युवाओं के भविष्य को संकट में डाल दिया है. देश में हो रहे पेपर लीक में कोचिंग माफिया की बड़ी भूमिका पाई गई है. चाहे NEET का पेपर हो या फिर REET का पेपर. चाहे सरकारी भर्ती का एग्जाम हो या यूनिवर्सिटी में एडमिशन का एग्जाम. चाहे गुजरात हो या उतर प्रदेश या बिहार, सभी जगह एग्जाम के पेपर लीक में कोचिंग माफियाओं की मिलीभगत रही है.
संजय सिंह ने आगे लिखा है कि दूसरी तरफ आज देश में कोचिंग संस्थान नोट छापने की मशीन बन चुके है. मेडिकल और आईआईटी में एडमिशन के नाम पर पेरेंट्स से लाखों रुपए मांगे जा रहे हैं. कोई अपनी जीवन भर की जमा-पूंजी लगाकर, तो कोई अपनी जमीन जायदाद को कौड़ियों के मोल स्वाहा करके कोचिंग की नाजायज फीस को भर रहा है. जिस पर सरकारी नियम बनाना आवश्यक है.