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सहारनपुर की अदालत में पेश हुए BKU अध्यक्ष नरेश टिकैत, 14 साल पुराने मामले में मिली जमानत - NARESH TIKAIT IN SAHARANPUR COURT

14 साल पुराने एक मामले में गैर जमानती वारंट जारी होने पर किसान यूनियन अध्यक्ष चौधरी नरेश टिकैत अदालत में पेश होने सहारनपुर पहुंचे. जहां, अदालत ने नरेश टिकैत का पक्ष सुनने के बाद उन्हें जमानत दे दी.

BKU अध्यक्ष नरेश टिकैत
BKU अध्यक्ष नरेश टिकैत (फोटो क्रेडिट : Etv Bharat)

By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : May 24, 2024, 4:24 PM IST

सहारनपुर: 14 साल पुराने एक मामले में शुक्रवार को गैर जमानती वारंट जारी होने पर किसान यूनियन अध्यक्ष चौधरी नरेश टिकैत अदालत में पेश होने सहारनपुर पहुंचे. वहां चौधरी नरेश टिकैत का पक्ष सुनने के बाद अदालत ने उन्हें जमानत दे दी. इस दौरान उनके साथ भारतीय किसान यूनियन के कई पदाधिकारी भी मौजूद रहे. इस दौरान नरेश टिकैत ने कहा कि यह सब सरकार की तानाशाही है, लेकिन वे अदालत का सम्मान करते हैं.

BKU अध्यक्ष नरेश टिकैत (वीडियो क्रेडिट: Etv Bharat)

दरअसल, 2010 में थाना सरसावा इलाके में भाकियू अध्यक्ष चौधरी नरेश टिकैत के नेतृत्व में बिना अनुमति के न सिर्फ एक सम्मेलन किया गया था, बल्कि अंबाला हाईवे पर जाम लगाया था. इसके बाद थाना सरसावा में चौधरी नरेश टिकैत और कांग्रेस नेता इमरान मसूद समेत 24 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया था. पूरे मामले की सुनवाई करीब 14 साल तक MP/MLA अदालत में चलती रही है.

सुनवाई के बाद अदालत ने सहारनपुर पुलिस को भाकियू अध्यक्ष चौधरी नरेश टिकैत की गिरफ्तारी के आदेश दिए हैं. अदालत ने एसएसपी सहारनपुर को आदेशित किया था कि हर हाल में 24 मई को नरेश टिकैत को गिरफ्तार कर अदालत में पेश किया जाए.

गौरतलब है कि इस मामले में इमरान मसूद और अन्य कई आरोपी अब तक जमानत करा चुके हैं. जबकि भाकियू अध्यक्ष चौधरी नरेश टिकैत अदालत में हाजिर नहीं हुए, नरेश टिकैत का कहना है कि 14 सालों में उन्हें एक भी समन या अदालत का नोटिस नहीं मिला. उन्हें इस बात की जानकारी ही नहीं थी कि उनके खिलाफ 14 साल पहले थाना सरसावा में कोई मुकदमा दर्ज हुआ है. अगर उन्हें इस बात की जानकारी होती, तो वे अदालत में पहली ही तारीख पर पेश हो जाते. उन्होंने भाजपा सरकार पर तानाशाही का आरोप लगाया है, जिसके चलते 14 साल पुराने में उनके खिलाफ गिरफ्तारी के आदेश जारी किए गए हैं.

दरअसल, थाना सरसावा में 20 मई 2010 को बिना अनुमति सम्मेलन करने और राष्ट्रीय राजमार्ग जाम लगाने के आरोप में मुकदमा दर्ज हुआ था. इस मामले में इमरान मसूद और अन्य कई आरोपी अब तक जमानत करा चुके हैं. जबकि भाकियू अध्यक्ष चौधरी नरेश टिकैत अदालत में हाजिर नहीं हुए, जिसके चलते अदालत ने गिरफ्तारी के आदेश जारी किए थे. सरसावा में जाम लगाने और बिना अनुमति सम्मेलन के उक्त मामले में 14 साल बाद भाकियू अध्यक्ष चौधरी नरेश टिकैत शुक्रवार को अदालत में पेश हुए. उन्होंने अदालत में अपना पक्ष रखा. इसके बाद सुनवाई के बाद अदालत से उन्हें जमानत मिल गई.


बता दें कि भारतीय किसान यूनियन अध्यक्ष चौधरी नरेश टिकैत सुबह ही भाकियू कार्यकर्ताओं के साथ रोहाना टोल से सहारनपुर के लिए रवाना हुए थे. इससे पहले रोहना टोल प्लाजा पर बड़ी संख्या में कार्यकर्ता और पदाधिकारी पहुंच गए थे. सैकड़ों गाड़ियों के काफिले के साथ नरेश टिकैत दिल्ली रोड स्थि एक बैंकट हॉल पहुंचे. वहां, हजारों की संख्या में बीकेयू कार्यकर्ताओं ने उनका स्वागत किया. कार्यकर्ताओं से मिलने के बाद चौधरी नरेश टिकैत अदालत में पेश हुए. जहां, उन्हें अदालत से जमानत मिल गई.

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