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कोटा में इंजीनियरिंग या मेडिकल एंट्रेंस में एडमिशन ले लिया तो इन 20 बातों का ध्यान रखें - COACHING INSTITUTES IN KOTA

कोटा में प्रवेश लेने के बाद विद्यार्थी डिस्ट्रैक्ट हो जाते हैं. इसलिए कोटा आने वाले बच्चों को इन 20 पॉइंट्स पर खास ध्यान रखना चाहिए.

coaching institutes in Kota
कोचिंग संस्थान में पढ़ते बच्चे (ETV Bharat Kota)

By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Feb 7, 2025, 4:18 PM IST

कोटा:देशभर से कोटा आकर हर साल हजारों की संख्या में स्टूडेंट्स मेडिकल और इंजीनियरिंग प्रवेश परीक्षाओं की तैयारी करते हैं. वे यहां पर हॉस्टल्स और पीजी में रहकर पढ़ाई करते हैं. इस साल भी नया सेशन जल्द ही शुरू होने वाला है. अभी से कोचिंग संस्थानों में एडमिशन शुरू हो गए हैं. पेरेंट्स भी कोटा में आकर बच्चों के ए​डमिशन कराकर जा रहे हैं. कोटा में कोचिंग संस्थान, हॉस्टल, मैस व पीजी सहित कई सुविधाएं बच्चों को लेनी पड़ती है. यहां कोचिंग स्टूडेंट्स के लिए काम करने वाली संस्था 'इट्स हैपन ओनली इन कोटा' (IHOIK) ने कोटा में प्रवेश लेने के साथ बच्चों को क्या-क्या सावधानी बरतनी चाहिए. यह जानकारी साझा की.

इस संस्था के अंशु महाराज का कहना था कि बच्चे कोटा में पढ़ने आते हैं, लेकिन कुछ स्टूडेंट्स डिस्ट्रैक्ट हो जाते हैं. उनसे उनकी पढ़ाई पर भी असर पड़ता है. इसलिए कोटा आने वाले बच्चों को इन 20 पॉइंट्स पर खास ध्यान रखना चाहिए. यह बच्चे पहली बार अपना घर छोड़कर दूसरे शहर में पढ़ने जाते हैं. साथ ही टीनएजर होते हैं. जिससे यह तुरंत दूसरों की बातों में आ जाते हैं और कुछ समय अपना बर्बाद कर देते हैं. बाद में आगे चलकर उन्हें परेशानी हो जाती है.

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इन बातों का रखें ध्यान:

  • हॉस्टल या पीजी रूम सोच समझ कर लेना. किराया और टर्म एंड कंडीशन पहले ही तय कर लें. सिक्योरिटी मनी व मेंटेनेंस चार्ज के साथ-साथ इलेक्ट्रिसिटी चार्ज के संबंध में भी पहले ही सब कुछ तय कर लें. सिक्योरिटी एडजस्टमेंट के बारे में भी पूरी बात करें.
  • हॉस्टल पीजी किराया, टिफिन या मैस सर्विस चार्ज को लेकर कई बार विवाद सामने आते हैं. ज्यादातर इस ऑनलाइन या कैशलेस देने का ही रखें. इससे आपको हिसाब रखने में परेशानी नहीं होगी.
  • हॉस्टल या पीजी से मैस अलग है तो उसकी दूरी का भी पूरा ध्यान रहे. आने-जाने में समय व्यर्थ जा सकता है. टिफिन सर्विस भी इसका एक विकल्प हो सकती है.
  • पैसे के मामले में किसी बाहरी व्यक्ति पर भरोसा नहीं करना है. किसी को भी पैसा उधार नहीं देना है, आपसे पहले फुसलाकर कोई पैसा ले लेता है तो वह वापस नहीं लौटाएगा और आपको आगे परेशानी हो सकती है.
  • कोटा में आप पढ़ने के लिए आए हैं, शॉर्टकट में पैसे कमाने के लालच में नहीं पड़े. कई ग्रुप यहां पर आपको पैसा कमाने का लालच देंगे और उनमें उलझकर आप पढ़ भी नहीं पाएंगे और फंस भी सकते हैं.
  • कोटा में रहकर अपने दोस्त बनाएं, क्योंकि यह पढ़ाई के साथ अन्य कई कार्य में भी आपकी मदद कर सकते हैं. हालांकि, ज्यादा दोस्ती आपके लक्ष्य से दूर पहुंचा सकती है. आपको इंजीनियरिंग या मेडिकल एंट्रेंस एग्जाम क्रैक करना है, न की दोस्तों के साथ टाइम पास.
  • गर्ल्स भी थोड़ा फ्रेंडशिप में ध्यान रखें. शुरुआत में दोस्ती आपको अच्छी लगेगी, लेकिन बाद में परेशानियां बढ़ सकती है. गलत लोगों से भी आपका परिचय करवा दिया जा सकता है.इसे पर्सनल लाइफ भी इफेक्ट हो सकती है.
  • कोटा में किसी ग्रुपिज्म का पार्ट नहीं बनना है, यह भी आपको लक्ष्य से दूर करेगा. इस ग्रुपिज्म के चक्कर में आप व्यर्थ के फसादों में भी आ सकते हैं. पढ़ाई करते समय यह भी ध्यान रखना है कि यह वाला टॉपिक पढ़ा हुआ है, हम क्लास बंक कर देते हैं. ऐसे दोस्तों से आप भी दूरी बना लें. क्योंकि अगर एक बार क्लास बंक की आदत लग गई तो यह करियर के लिए भी नुकसानदायक हो सकता है.
  • कोटा में किसी भी तरह के झगड़े या फसाद में नहीं फंसना है. अच्छे और बुरे लोगों के बारे में आप जानते नहीं हैं. ऐसे में उनके साथ दोस्ती कभी आपको भारी भी पड़ सकता है. इनसे दोस्ती करने के पहले अपने पीजी, हॉस्टल या मैस संचालक से जरूर पूछ लें.
  • पहले तो किसी तरह की गलती नहीं करनी. कुछ हो भी जाता है तो गलती या गिल्ट होने पर अपने परिजनों से खुलकर बात करें, क्योंकि छुपाने के चक्कर में आप लगातार गलती करते जाओगे.
  • कोटा में दोस्तों के साथ पार्टी, घूमना, मूवी व मस्ती ठीक है, लेकिन इन सब से आपकी पढ़ाई प्रभावित नहीं होनी चाहिए, क्योंकि आप कोटा में पढ़ने के लिए आए हैं ना की मौज मस्ती.
  • अपने पेरेंट्स और गार्जियन से लगातार बात करते रहें. आपको अपने शहर और गांव की याद भी आ सकती है, कोटा में वैसा फील होना मुश्किल है.
  • कोटा में पढ़ने आए लगभग सभी बच्चे एक ही जैसे हैं, इसलिए अपनी पढ़ाई पर फोकस रहना चाहिए. मन में यह भी विश्वास होना चाहिए कि मैं भी किसी से कम नहीं हूं.
  • कई बार कुछ स्टूडेंट्स क्लास में डाउट पूछकर ही तुम्हें तनाव में ला देंगे, लेकिन सही बात ये है कि दूसरे के डाउट को अपना डाउट बनाने की जरूरत नहीं है.
  • कोचिंग, होस्टल, मैस और जहां भी फीस दी है, पूरे हक से आउटपुट लेना चाहिए. कोचिंग के डाउट काउंटर हो या वहां पर मिलने वाली फैसिलिटी हो, मैस का खाना हो या फिर हॉस्टल की सुविधा.
  • पहले से किसी टीचर के बारे में धारणा बनाकर नहीं आना चाहिए. किसी टीचर के बारे में आपने सुना हो, वह तुम्हें नहीं पढ़ा रहे हो. लगभग सभी टीचर अच्छा पढ़ाते हैं और स्टूडेंट की बेहतरी के लिए काम करते हैं.
  • कोटा में सभी टॉपर्स स्टूडेंट आते हैं ऐसे में यहां पर कंपटीशन भी उनसे ही होता है. शुरुआत में टेस्ट में आपकी रैंक गिर सकती है, कभी यह ऊंची भी जा सकती है, लेकिन यह फोकस करना है कि पढ़ाई ईमानदारी और मेहनत से करनी है. इसी पर आपका सिलेक्शन तय होगा.
  • कोटा शहर के प्रमुख अधिकारियों, हेल्पलाइन नंबरों, कोचिंग संस्थानों और हॉस्टल एरिया के नोडल अधिकारियों का नंबर पेरेंट्स जरूर लेकर जाएं. अपने बच्चों को भी यह नंबर मोबाइल में सेव करवाएं. किसी भी तरह के परेशानी होने पर उन्हें मैसेज या फोन कर मदद ली जा सकती है.

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