शादी के कई सालों बाद अभिषेक बच्चन और ऐश्वर्या राय बच्चन सुर्खियां बटोर रहे हैं. दरअसल, अभिषेक और ऐश्वर्या के तलाक की खबरों ने बीते कुछ समय से जोर पकड़ा हुआ है. अभिषेक और ऐश्वर्या के तलाक की खबरों के बीच, ग्रे डिवोर्स शब्द का जिक्र काफी हो रहा है. ऐसे में इस खबर के माध्यम से जानेंगे कि आखिर क्या होता है ग्रे डिवोर्स और कहां से शुरू हुआ इस शब्द का चलन?
ग्रे डिवोर्स क्या होता है
ग्रे डिवोर्स का मतलब है, जब कोई कपल 15 से 20 साल शादी के बाद अलग होने का फैसला लेता है. इसे सिल्वर स्प्लिटर्स या डायमंड तलाक भी कहा जाता है. यह शब्द बीते कुछ वर्षों से ही फेमस हुआ है.
साफ शब्दों में समझें तो ग्रे डिवोर्स एक ऐसा शब्द है जो जीवन में बाद में होने वाले तलाक को दर्शाता है, आम तौर पर 50 के दशक के बाद, जब जोड़े कई साल साथ बिता चुके होते हैं. जो लोग इतने लंबे समय तक साथ रहने के बाद अलग हो जाते हैं उन्हें सिल्वर स्प्लिटर कहा जाता है और जीवन में बाद में तलाक लेने से कई अन्य जटिलताओं के अलावा वित्तीय कठिनाइयां भी हो सकती हैं.
भारत में भी तेजी से बढ़ रहा यह चलन
भारत में भी ग्रे डिवोर्स की घटनाएं तेजी से बढ़ रही हैं. ग्रे डिवोर्स में वृद्धि को कई सामाजिक, सांस्कृतिक और आर्थिक कारकों के लिए जिम्मेदार ठहराया जा सकता है जो समय के साथ विकसित हुए हैं. प्यू रिसर्च सेंटर के अनुसार, पिछले दो दशकों में संयुक्त राज्य अमेरिका में तलाक के सभी मामलों में से 40 प्रतिशत 50 वर्ष या उससे अधिक आयु के व्यक्तियों से संबंधित थे. 1990 के बाद से ग्रे डिवोर्स की रेट दोगुनी हो गई है और 65 साल से ज्यादा ऐज वालों के लिए यह संख्या तीन गुनी हो गई है.
ग्रे डिवोर्स से जुड़ी कुछ और बातें
ग्रे डिवोर्स, पश्चिमी देशों में ज्यादा होता है, लेकिन भारत में भी इसके मामले बढ़ रहे हैं.