देहरादून: अपर जिला सत्र न्यायाधीश देहरादून आशुतोष मिश्र (ADJ 4rth) ने नकली नोटों और अवैध हथियारों की तस्करी मामले में दोषी शकील अहमद को सात साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई है. मामला मई साल 2010 का है. वहीं, दोषी पर कोर्ट ने 25 हजार का अतिरिक्त जुर्माना भी लगाया है. जुर्माना नहीं भरने पर उसे अतिरिक्त सजा भुगतनी पड़ेगी.
शासकीय अधिवक्ता राजीव गुप्ता के मुताबिक, दोषी शकील अहमद मूल रूप से यूपी के मुजफ्फरनगर का रहने वाला है. नकली नोटों की तस्करी के मामले में कोर्ट ने उसे धारा 489 (C ) में 4 साल की सजा सुनाई गई है, जबकि अवैध हथियार तस्करी मामले में 25 आर्म्स एक्ट के तहत 3 साल की सजा दी गई है. इसके अलावा 25 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया गया है. कोर्ट आदेश अनुसार दोषी को दोनों सजा अलग-अलग भुगतनी होगी.
शासकीय अधिवक्ता राजीव गुप्ता ने बताया कि ये मामला 13 मई 2010 का है. पुलिस ने दोषी शकील अहमद को 14 देशी तमंचे, एक बंदकू और जिंदा कारतूस की तस्करी करते हुए गिरफ्तार किया था. आरोपी हथियारों का ये पूरा जखीरा मुजफ्फरनगर से लाया था, जिसके बारे में देहरादून की रायपुर थाना पुलिस को सूचना मिल गई थी और रायपुर थाना प्रभारी अमरजीत ने घेराबंदी कर शकील अहमद को हथियार के साथ रिंग रोड़ पर पेट्रोल पंप के पास से गिरफ्तार किया था.
इतना ही शकील अहमद के पास से पुलिस को 100-100 के नकली नोट भी मिले थे. पुलिस ने जांच पड़ताल की तो सामने आया है कि शकील अहमद मुजफ्फरनगर से उत्तराखंड अवैध हथियारों की तस्करी करता है. शकील अहमद का दोष साबित करने के लिए 8 गवाहों की अहम भूमिका रही.