लखनऊ : उत्तर प्रदेश में 16 फरवरी से बिना हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगी गाड़ियों का चालान शुरू हो चुका है. अभियान चला कर ट्रैफिक पुलिस और आरटीओ हर तरह के वाहनों का चालान कर रहे हैं. इसी बीच सोशल मीडिया के हर प्लेटफार्म में यूजर्स पुलिस की सरकारी गाड़ियों की तस्वीरें डाल कर ये पूछ रहे है कि क्या नियमों को लागू करवाने वालों को हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगाना जरूरी नहीं है और क्या इनका चालान नहीं होगा. कुछ यूजर्स का मानना है कि क्यों कि पुलिस की गाड़ियों का इंसोरेंस नहीं होता है. ऐसे में उन्हें एचएसआरपी लगाना आवश्यक नहीं है. ऐसे में इन सवालों का जवाब पाने के लिए लखनऊ पुलिस कमिश्नरेट के डीसीपी ट्रैफिक रईस अख्तर से बातचीत की गई.
पीएम से लेकर चपरासी तक की गाड़ी में HSRP लगाना जरूरी : डीसीपी ट्रैफिक रईस अख्तर ने बताया कि वर्ष 2019 के बाद जो भी नई गाड़ियां आई हैं. उनमें हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन नंबर प्लेट लगी हुई है. साथ 16 फरवरी से हर गाड़ी पर ये नंबर प्लेट लगी होना आवश्यक है. यदि ऐसा नहीं होता है तो पांच हजार तक का चालान किया जा रहा है. रईस अख्तर बताते हैं कि कुछ लोगों का मानना है कि सरकारी विभाग की गाड़ियों खासकर पुलिस विभाग के वाहनों को हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन नंबर प्लेट लगाना जरूरी नहीं है. इसमें ये साफ करना है कि प्रधानमंत्री से लेकर एक चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारी को अपनी गाड़ी में हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन नंबर प्लेट लगवानी जरूरी है.
पहली बार बिना हाई-सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन प्लेट के पकड़े जाने पर में 5000 रुपये और दूसरी बार में 10 हजार का जुर्माना लगाया जाएगा. वहीं तीसरी बार में वाहन को जब्त कर लिया जाएगा, लेकिन अगर आप नई नंबर प्लेट के लिए अप्लाई कर चुके हैं तो बुकिंग रसीद दिखाने पर चालान नहीं होगा. हाई-सिक्योरिटी नंबर प्लेट गाड़ी की सेफ्टी और सुविधा के लिए डिजाइन की गई है. यह प्लेट एचएसआरपी होलोग्राम स्टिकर के साथ आती है. इस पर गाड़ी के इंजन और चेसिस नंबर लिखे होते हैं और ये नंबर प्रेशर मशीन के जरिए लिखे जाते हैं. गाड़ी पर फिट करने के लिए नंबर प्लेट में पिन होता है. ये पिन जब गाड़ी से लग जाते हैं तो दोनों तरफ से बंद हो जाते हैं और किसी भी साइड से नहीं खुलते हैं.
ऐसे मिलेगी HSRP : हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन प्लेट और कलर कोड स्टीकर लगवाने की प्रक्रिया को आसान बना दिया गया है. हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन प्लेट लगवाने के लिए विक्रेताओं के दो पोर्टल बनाए गए हैं. bookmyhsrp.com/index.aspx वेबसाइट पर विजिट करना पड़ेगा. इसके बाद निजी या फिर सार्वजनिक वाहन से जुड़े हुए एक विकल्प को चुनना होगा. प्राइवेट व्हीकल टैब पर क्लिक करने पर पेट्रोल, डीजल, इलेक्ट्रिक, CNG और CNG+पेट्रोल का ऑप्शन चुनना होगा. पेट्रोल टाइप के टैब पर क्लिक करने पर वाहनों की कैटगरी खुलेगी. इसमें बाइक, कार, स्कूटर, ऑटो और भारी वाहन जैसे ऑप्शन दिए होंगे. इसमें आपको स्टेप वाई स्टेप जानकारी देनी होगी. इसके अतिरिक्त यदि वाहन चालक की गाड़ी में रजिस्ट्रेशन प्लेट लगी हुई है और उसे महज स्टीकर लगवाना है तो उसे www.bookmyhsrp.com पोर्टल पर जाना पड़ेगा.
हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगवानी पुलिस के लिए जरूरी नहीं, जानिए क्या कहते हैं अधिकारी
हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट को लेकर यूपी पुलिस ने भी सख्ती बरतनी शुरू कर दी. अभियान चलाकर बिना हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगी गाड़ियों का चालान किया जा रहा है. इस बीच सोशल मीडिया में इस बात पर चर्चा हो रही है कि यूपी पुलिस की गाड़ियों में हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगाना जरूरी नहीं है.
लखनऊ : उत्तर प्रदेश में 16 फरवरी से बिना हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगी गाड़ियों का चालान शुरू हो चुका है. अभियान चला कर ट्रैफिक पुलिस और आरटीओ हर तरह के वाहनों का चालान कर रहे हैं. इसी बीच सोशल मीडिया के हर प्लेटफार्म में यूजर्स पुलिस की सरकारी गाड़ियों की तस्वीरें डाल कर ये पूछ रहे है कि क्या नियमों को लागू करवाने वालों को हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगाना जरूरी नहीं है और क्या इनका चालान नहीं होगा. कुछ यूजर्स का मानना है कि क्यों कि पुलिस की गाड़ियों का इंसोरेंस नहीं होता है. ऐसे में उन्हें एचएसआरपी लगाना आवश्यक नहीं है. ऐसे में इन सवालों का जवाब पाने के लिए लखनऊ पुलिस कमिश्नरेट के डीसीपी ट्रैफिक रईस अख्तर से बातचीत की गई.
पीएम से लेकर चपरासी तक की गाड़ी में HSRP लगाना जरूरी : डीसीपी ट्रैफिक रईस अख्तर ने बताया कि वर्ष 2019 के बाद जो भी नई गाड़ियां आई हैं. उनमें हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन नंबर प्लेट लगी हुई है. साथ 16 फरवरी से हर गाड़ी पर ये नंबर प्लेट लगी होना आवश्यक है. यदि ऐसा नहीं होता है तो पांच हजार तक का चालान किया जा रहा है. रईस अख्तर बताते हैं कि कुछ लोगों का मानना है कि सरकारी विभाग की गाड़ियों खासकर पुलिस विभाग के वाहनों को हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन नंबर प्लेट लगाना जरूरी नहीं है. इसमें ये साफ करना है कि प्रधानमंत्री से लेकर एक चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारी को अपनी गाड़ी में हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन नंबर प्लेट लगवानी जरूरी है.
पहली बार बिना हाई-सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन प्लेट के पकड़े जाने पर में 5000 रुपये और दूसरी बार में 10 हजार का जुर्माना लगाया जाएगा. वहीं तीसरी बार में वाहन को जब्त कर लिया जाएगा, लेकिन अगर आप नई नंबर प्लेट के लिए अप्लाई कर चुके हैं तो बुकिंग रसीद दिखाने पर चालान नहीं होगा. हाई-सिक्योरिटी नंबर प्लेट गाड़ी की सेफ्टी और सुविधा के लिए डिजाइन की गई है. यह प्लेट एचएसआरपी होलोग्राम स्टिकर के साथ आती है. इस पर गाड़ी के इंजन और चेसिस नंबर लिखे होते हैं और ये नंबर प्रेशर मशीन के जरिए लिखे जाते हैं. गाड़ी पर फिट करने के लिए नंबर प्लेट में पिन होता है. ये पिन जब गाड़ी से लग जाते हैं तो दोनों तरफ से बंद हो जाते हैं और किसी भी साइड से नहीं खुलते हैं.
ऐसे मिलेगी HSRP : हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन प्लेट और कलर कोड स्टीकर लगवाने की प्रक्रिया को आसान बना दिया गया है. हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन प्लेट लगवाने के लिए विक्रेताओं के दो पोर्टल बनाए गए हैं. bookmyhsrp.com/index.aspx वेबसाइट पर विजिट करना पड़ेगा. इसके बाद निजी या फिर सार्वजनिक वाहन से जुड़े हुए एक विकल्प को चुनना होगा. प्राइवेट व्हीकल टैब पर क्लिक करने पर पेट्रोल, डीजल, इलेक्ट्रिक, CNG और CNG+पेट्रोल का ऑप्शन चुनना होगा. पेट्रोल टाइप के टैब पर क्लिक करने पर वाहनों की कैटगरी खुलेगी. इसमें बाइक, कार, स्कूटर, ऑटो और भारी वाहन जैसे ऑप्शन दिए होंगे. इसमें आपको स्टेप वाई स्टेप जानकारी देनी होगी. इसके अतिरिक्त यदि वाहन चालक की गाड़ी में रजिस्ट्रेशन प्लेट लगी हुई है और उसे महज स्टीकर लगवाना है तो उसे www.bookmyhsrp.com पोर्टल पर जाना पड़ेगा.