लखनऊ : पार्षद से लेकर राज्यपाल तक का सफर करने वाले लखनऊ के पसंदीदा नेता रहे लालजी टंडन की जयंती के मौके पर बुधवार को कालीचरण इंटर कॉलेज डिग्री कॉलेज के परिसर के बाहर उनकी भव्य प्रतिमा का अनावरण किया जाएगा. इस मौके पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के अलावा विधानसभा अध्यक्ष सतीश महाना और अन्य वरिष्ठ भाजपा नेता मौजूद रहेंगे. इससे पहले भी नगर निगम के सामने त्रिलोकनाथ रोड पर लालजी टंडन की प्रतिमा स्थापित की जा चुकी है. शहर में यह उनकी दूसरी प्रतिमा होगी. लालजी टंडन का जब 2020 में निधन हुआ था तब मध्य प्रदेश के राज्यपाल थे.
लालजी टंडन ने अपने राजनीतिक जीवन का सफर जनसंघ में रहते हुए पार्षद के पद से शुरू किया था. यहां से उनकी राजनीतिक पारी शुरू हुई तो वह विधान परिषद सदस्य रहे और उत्तर प्रदेश के नगर विकास एवं आवास मंत्री बने. इसके बाद लखनऊ पश्चिम विधानसभा क्षेत्र से लालजी टंडन विधायक रहे. प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई ने जब लखनऊ से संसदीय सीट छोड़ी उसके बाद लालजी टंडन यहां से भारतीय जनता पार्टी के उम्मीदवार बने. वर्ष 2014 में राजनाथ सिंह उनके स्थान पर लखनऊ सीट से सांसद बने. वर्ष 2017 में उनके पुत्र आशुतोष टंडन को ना केवल विधायक बनने का मौका मिला, बल्कि उन्हें कैबिनेट मिनिस्टर भी बनाया गया. बहुजन समाज पार्टी के साथ भारतीय जनता पार्टी के गठबंधन में लालजी टंडन का अहम रोल हुआ करता था. अटल बिहारी बाजपेई के दिवंगत होने के बाद लालजी टंडन को पहले बिहार और उसके बाद मध्य प्रदेश का राज्यपाल नियुक्त किया गया. मध्य प्रदेश का राज्यपाल रहने के दौरान ही उनकी मृत्यु हुई.
लालजी टंडन की प्रतिमा का अनावरण समारोह में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के अलावा, विधानसभा अध्यक्ष सतीश महाना, केंद्रीय मंत्री कौशल किशोर, उत्तर प्रदेश के वित्त मंत्री सुरेश खन्ना, भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी और पूर्व उपमुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा के अलावा विधायक और लालजी टंडन के पुत्र आशुतोष टंडन गोपाल जी के अलावा भारतीय जनता पार्टी के कई वरिष्ठ नेता मौजूद रहेंगे.