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कृषि कानून और MSP पर सरकार को संसद में घेरेगी AAP, जानिए संजय सिंह ने क्यों जताई आशंका

आम आदमी पार्टी (AAP) सांसद और उत्तर प्रदेश प्रभारी संजय सिंह ने कृषि कानून वापस लेने की सरकार की घोषणा पर सवाल खड़े किए हैं. पार्टी की तरफ से मंगलवार को एक ट्वीट करके बयान जारी किया है.

संजय सिंह
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Published : Nov 23, 2021, 1:21 PM IST

लखनऊ: आम आदमी पार्टी (AAP) सांसद और उत्तर प्रदेश प्रभारी संजय सिंह ने कृषि कानून वापस लेने की सरकार की घोषणा पर सवाल खड़े किए हैं. पार्टी की तरफ से मंगलवार को एक ट्वीट करके बयान जारी किया है. सांसद ने अपने बयान में लिखा है कि अब संसद के सत्र में देखना होगा कि यह कानून रद्द होता है या नहीं. यह तो स्पष्ट है कि भाजपा नेताओं के बयान इसका पुख्ता संकेत देते हैं कि इस कानून को ये फिर से लाएंगे.

पार्टी की तरफ से जारी वीडियो में संजय सिंह कई सवाल खड़े करते नजर आ रहे हैं. उनका कहना है कि केन्द्र सरकार ने तो इस काले कानून को वापस लेने की घोषणा कर दी है. भारतीय जनता पार्टी के नेता साफतौर पर इसके पक्ष में बोल रहे हैं. उन्होंने भाजपा के सेवानिवृत्त नेता और वर्तमान में राजस्थान के राज्यपाल कलराज मिश्र, भारतीय जनता पार्टी के सांसद साक्षी महाराज और मध्य प्रदेश की भाजपा सरकार के कृषि मंत्री कमल पटेल के हाल के बयान का हवाला दिया. सांसद संजय सिंह ने कहा कि इन लोगों ने अपने बयानों में साफ किया है कि इसे दोबारा लेकर आएंगे. इसलिए इस काले कानून के बादल अभी छंटे नहीं हैं. इन लोगों पर भरोसा नहीं किया जा सकता.

यह भी पढ़ें: ब्राह्मणों को रिझाने की कोशिश, अटल बिहार वाजपेयी के नाम पर होगा यमुना एक्सप्रेसवे !

सांसद संजय सिंह ने कहा कि अब सभी की निगाहें संसद सत्र पर हैं. सत्र में आम आदमी पार्टी इस मुद्दे को उठाएगी. उन्होंने कहा कि चुनाव के डर से किसानों के गले में डाला गया फंदा तो सरकार ने निकालने की घोषणा कर दी है, लेकिन Minimum Support Price (MSP) का सवाल अभी भी अधूरा है. उन्होंने कहा कि किसानों की कुल लागत पर 50 प्रतिशत के मुनाफे के साथ MSP घोषित किया जाना चाहिए. आम आदमी पार्टी इस मुद्दे को संसद सत्र में उठाएगी.

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लखनऊ: आम आदमी पार्टी (AAP) सांसद और उत्तर प्रदेश प्रभारी संजय सिंह ने कृषि कानून वापस लेने की सरकार की घोषणा पर सवाल खड़े किए हैं. पार्टी की तरफ से मंगलवार को एक ट्वीट करके बयान जारी किया है. सांसद ने अपने बयान में लिखा है कि अब संसद के सत्र में देखना होगा कि यह कानून रद्द होता है या नहीं. यह तो स्पष्ट है कि भाजपा नेताओं के बयान इसका पुख्ता संकेत देते हैं कि इस कानून को ये फिर से लाएंगे.

पार्टी की तरफ से जारी वीडियो में संजय सिंह कई सवाल खड़े करते नजर आ रहे हैं. उनका कहना है कि केन्द्र सरकार ने तो इस काले कानून को वापस लेने की घोषणा कर दी है. भारतीय जनता पार्टी के नेता साफतौर पर इसके पक्ष में बोल रहे हैं. उन्होंने भाजपा के सेवानिवृत्त नेता और वर्तमान में राजस्थान के राज्यपाल कलराज मिश्र, भारतीय जनता पार्टी के सांसद साक्षी महाराज और मध्य प्रदेश की भाजपा सरकार के कृषि मंत्री कमल पटेल के हाल के बयान का हवाला दिया. सांसद संजय सिंह ने कहा कि इन लोगों ने अपने बयानों में साफ किया है कि इसे दोबारा लेकर आएंगे. इसलिए इस काले कानून के बादल अभी छंटे नहीं हैं. इन लोगों पर भरोसा नहीं किया जा सकता.

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सांसद संजय सिंह ने कहा कि अब सभी की निगाहें संसद सत्र पर हैं. सत्र में आम आदमी पार्टी इस मुद्दे को उठाएगी. उन्होंने कहा कि चुनाव के डर से किसानों के गले में डाला गया फंदा तो सरकार ने निकालने की घोषणा कर दी है, लेकिन Minimum Support Price (MSP) का सवाल अभी भी अधूरा है. उन्होंने कहा कि किसानों की कुल लागत पर 50 प्रतिशत के मुनाफे के साथ MSP घोषित किया जाना चाहिए. आम आदमी पार्टी इस मुद्दे को संसद सत्र में उठाएगी.

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