आजमगढ़: जनपद में नगरपालिका और जिला पंचायत के कई भवन हैं, जो काफी पुराने हो चुके हैं. इन भवनों को गिराने के बजाय न्यायपालिका इसको किराए पर देकर मुनाफा कमा रही है. इन भवनों में महत्वपूर्ण सरकारी कार्यालय होने के कारण अपनी जान की बाजी लगा कर कर्मचारी काम कर रहे हैं. सैकड़ों लोग इन कार्यालयों में काम के सिलसिले में आते हैं. सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि यह सभी जर्जर भवन वीआईपी इलाके में है.
बरसात के मौसम में इन भवनों से पानी भी टपकता है तो अन्य मौसमों में कर्मचारियों पर प्लास्टर के टुकड़े गिरते हैं. जिम्मेदार ना तो इन भवनों की मरमत करवाते हैं और न ही उसे सील करते हैं. जेई द्वारा इन भवनों की रिपोर्ट जून माह से ही दी जा रही है, लेकिन अभी तक यह रिपोर्ट नहीं मिल सकी है ऐसे में कैसे मान लें कि नगरपालिका इन जर्जर भवन को सील करेगा.
जर्जर भवन पर नगरपालिका के ईओ डॉ. शम्भुनाथ का कहना है कि जेई से रिपोर्ट मांगी गई है और वह सर्वे कर रिपोर्ट उनको देंगे. नगरपालिका के जर्जर भवन और पालिका क्षेत्र में आने वाले सभी जर्जर भवनों को नोटिस जारी कर कार्रवाई की जाएगी.
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वहीं जर्जर भवन में मौजूद जिला आपूर्ति कार्यालय भी इस समस्या से परेशान है और पूर्ति अधिकारी देवमणि मिश्र का कहना है कि कई बार लेटर लिखा गया है, लेकिन कोई मरम्मत का कार्य नहीं करवाया गया. वहीं भवन का किराया जो 5 हजार के आसपास है, उसे समय पर दिया जाता है.