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Lady Doctor Suicide Case: शनिवार को जयपुर के निजी अस्पतालों में बंद रहेंगी इमरजेंसी सेवाएं

राजस्थान के लालसोट के आनंद हॉस्पिटल में प्रसूता की मौत और बाद में (Justice For Dausa Doctor) चिकित्सक की आत्महत्या के बाद प्रदेश भर के चिकित्सकों में रोष व्याप्त है. जिसके बाद शुक्रवार को जहां निजी अस्पतालों में ओपीडी और आईपीडी पूर्ण रूप से बंद रहीं. वहीं अब शनिवार 2 अप्रैल को जयपुर के सभी निजी अस्पतालों में इमरजेंसी सेवाएं बंद करने का एलान चिकित्सकों ने कर दिया है.

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Published : Apr 1, 2022, 10:26 PM IST

जयपुर: दौसा में लेडी डॉक्टर की आत्महत्या को लेकर (Dausa Lady Doctor Suicide Case) चिकित्सक सड़कों पर हैं. विरोध-प्रदर्शन कर रहे हैं और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की डिमांड कर रहे हैं. इस घटना के विरोध में शुक्रवार को जहां निजी अस्पतालों में ओपीडी और आईपीडी पूर्ण रूप से बंद रही. अब 2 अप्रैल को जयपुर के सभी निजी अस्पतालों में इमरजेंसी सेवाएं बंद करने का एलान चिकित्सकों ने कर दिया है. जबकि सरकारी अस्पतालों में 2 घंटे का कार्य बहिष्कार जारी रहेगा.

जयपुर मेडिकल एसोसिएशन के प्रेसिडेंट (Jaipur Medical Association on Archana Sharma Suicide Case) डॉ. अनुराग धाकड़ का कहना है कि चिकित्सक के आत्महत्या मामले को लेकर अभी तक सरकार कोई ठोस कदम नहीं उठा रही है. हमारी मांग है कि इस पूरे प्रकरण में लिप्त पुलिसकर्मियों को बर्खास्त किया जाए. बीते 3 दिन से जयपुर के सभी प्राइवेट अस्पतालों में ओपीडी और आईपीडी पूर्ण रूप से बंद कर दी गई है, लेकिन बावजूद इसके सरकार ने कोई ठोस कदम नहीं उठाया है.

ऐसे में 2 अप्रैल से जयपुर के सभी निजी अस्पतालों में ओपीडी और आईपीडी के साथ-साथ अब इमरजेंसी सेवाएं भी बंद करने का फैसला चिकित्सकों ने ले लिया है. जब तक सरकार कोई ठोस कदम नहीं उठाती तब तक यह आंदोलन जारी रहेगा. वहीं, इंडियन मेडिकल एसोसिएशन की ओर से भी देश भर में मामले को लेकर प्रदर्शन किया जाएगा. इसके अलावा जयपुर के SMS मेडिकल कॉलेज के रेजिडेंट चिकित्सकों ने भी विरोध स्वरूप 2 घंटे कार्य बहिष्कार करने की बात कही है.

चिकित्सकों का कहना है कि दोषी पुलिसकर्मियों को तुरंत प्रभाव से निलंबित कर गिरफ्तार किया जाए. वहीं, चिकित्सकों ने चेतावनी देते हुए (Emergency Services will also Remain Closed in Jaipur Private Hospitals) कहा है कि यदि जिम्मेदार पुलिस अफसरों व परिजनों के खिलाफ आत्महत्या के लिए उकसाने व मेडिकल प्रोटेक्शन एक्ट, 2008 के तहत कार्रवाई नहीं होती है तो पूरे प्रदेश में चिकित्सकों द्वारा आंदोलन तेज किया जाएगा.

यह भी पढ़ें- राज्यसभा में पहली बार भाजपा 100 के पार, कांग्रेस सदस्यों की संख्या में ऐतिहासिक गिरावट

क्या है मामला?: सोमवार (28 मार्च 2022) को लालसोट स्थित निजी हॉस्पिटल में सिजेरियन डिलीवरी के बाद प्रसूता की मौत हो गई थी. जिसके बाद प्रसूता के परिजनों और स्थानीय नेताओं ने मिलकर अस्पताल के बाहर जमकर हंगामा और प्रदर्शन किया. इसके बाद अस्पताल संचालक दंपति के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज करवा दिया गया. कथित तौर पर पुलिसकर्मियों की जांच और नेताओं के हंगामे से प्रताड़ित हॉस्पिटल संचालक डॉ अर्चना शर्मा ने मंगलवार को सुसाइड (Dausa Lady Doctor Suicide Row) कर लिया. इस खबर के सामने आने के बाद दौसा सहित प्रदेश के सभी चिकित्सा सेवा से जुड़े लोगों में आक्रोश व्याप्त है. जिसके चलते दौसा जिले के सभी निजी अस्पतालों में कार्यों का बहिष्कार किया गया है सभी चिकित्सा सेवाएं जिले भर में ठप है.

जयपुर: दौसा में लेडी डॉक्टर की आत्महत्या को लेकर (Dausa Lady Doctor Suicide Case) चिकित्सक सड़कों पर हैं. विरोध-प्रदर्शन कर रहे हैं और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की डिमांड कर रहे हैं. इस घटना के विरोध में शुक्रवार को जहां निजी अस्पतालों में ओपीडी और आईपीडी पूर्ण रूप से बंद रही. अब 2 अप्रैल को जयपुर के सभी निजी अस्पतालों में इमरजेंसी सेवाएं बंद करने का एलान चिकित्सकों ने कर दिया है. जबकि सरकारी अस्पतालों में 2 घंटे का कार्य बहिष्कार जारी रहेगा.

जयपुर मेडिकल एसोसिएशन के प्रेसिडेंट (Jaipur Medical Association on Archana Sharma Suicide Case) डॉ. अनुराग धाकड़ का कहना है कि चिकित्सक के आत्महत्या मामले को लेकर अभी तक सरकार कोई ठोस कदम नहीं उठा रही है. हमारी मांग है कि इस पूरे प्रकरण में लिप्त पुलिसकर्मियों को बर्खास्त किया जाए. बीते 3 दिन से जयपुर के सभी प्राइवेट अस्पतालों में ओपीडी और आईपीडी पूर्ण रूप से बंद कर दी गई है, लेकिन बावजूद इसके सरकार ने कोई ठोस कदम नहीं उठाया है.

ऐसे में 2 अप्रैल से जयपुर के सभी निजी अस्पतालों में ओपीडी और आईपीडी के साथ-साथ अब इमरजेंसी सेवाएं भी बंद करने का फैसला चिकित्सकों ने ले लिया है. जब तक सरकार कोई ठोस कदम नहीं उठाती तब तक यह आंदोलन जारी रहेगा. वहीं, इंडियन मेडिकल एसोसिएशन की ओर से भी देश भर में मामले को लेकर प्रदर्शन किया जाएगा. इसके अलावा जयपुर के SMS मेडिकल कॉलेज के रेजिडेंट चिकित्सकों ने भी विरोध स्वरूप 2 घंटे कार्य बहिष्कार करने की बात कही है.

चिकित्सकों का कहना है कि दोषी पुलिसकर्मियों को तुरंत प्रभाव से निलंबित कर गिरफ्तार किया जाए. वहीं, चिकित्सकों ने चेतावनी देते हुए (Emergency Services will also Remain Closed in Jaipur Private Hospitals) कहा है कि यदि जिम्मेदार पुलिस अफसरों व परिजनों के खिलाफ आत्महत्या के लिए उकसाने व मेडिकल प्रोटेक्शन एक्ट, 2008 के तहत कार्रवाई नहीं होती है तो पूरे प्रदेश में चिकित्सकों द्वारा आंदोलन तेज किया जाएगा.

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क्या है मामला?: सोमवार (28 मार्च 2022) को लालसोट स्थित निजी हॉस्पिटल में सिजेरियन डिलीवरी के बाद प्रसूता की मौत हो गई थी. जिसके बाद प्रसूता के परिजनों और स्थानीय नेताओं ने मिलकर अस्पताल के बाहर जमकर हंगामा और प्रदर्शन किया. इसके बाद अस्पताल संचालक दंपति के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज करवा दिया गया. कथित तौर पर पुलिसकर्मियों की जांच और नेताओं के हंगामे से प्रताड़ित हॉस्पिटल संचालक डॉ अर्चना शर्मा ने मंगलवार को सुसाइड (Dausa Lady Doctor Suicide Row) कर लिया. इस खबर के सामने आने के बाद दौसा सहित प्रदेश के सभी चिकित्सा सेवा से जुड़े लोगों में आक्रोश व्याप्त है. जिसके चलते दौसा जिले के सभी निजी अस्पतालों में कार्यों का बहिष्कार किया गया है सभी चिकित्सा सेवाएं जिले भर में ठप है.

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