ETV Bharat / state

Special: कचरे में भी Corona संक्रमण का खतरा, पाली में प्लांट प्रबंधन ने लिया ये फैसला

पाली में कचरे का निस्तारण, कचरा निस्तारण प्लांट के लिए आफत सा बन गया है. कचरे से होने वाले संक्रमण के खतरे को कम करने के लिए प्लांट प्रबंधन ने शहर से उठाए हुए कचरे को करीब 15 दिन तक धूप में रखने का फैसला लिया है. उनका मानना है कि यदि वे तुरंत कचरे का निस्तारण करेंगे तो संक्रमण फैल सकता है. ऐसे में वहां कार्यरत कर्मचारियों की सुरक्षा को देखते हुए प्लांट प्रबंधन ने ये फैसला लिया है. देखिए ये रिपोर्ट...

कचरा निस्तारण प्लांट  कोरोना संक्रमण का खतरा  pali news  waste disposal  waste disposal in pali  corona infection  waste disposal plant  risk of corona infection  etv bharat news  प्लांट मैनेजर पंकज झा  plant manager pankaj jha  d compost news
15 दिन बाद हो रहा कचरा निस्तारण
author img

By

Published : Jun 5, 2020, 5:26 PM IST

पाली. कोरोना संक्रमण (Corona Infection) का खतरा सिर्फ इंसानों से ही नहीं, बल्कि इंसानों द्वारा फेंके जा रहे कचरे से भी है. इसी डर से पाली से उठने वाला कचरा 15 दिन तक अपने निस्तारण का इंतजार कर रहा है. ऐसे में पाली सरहद के खेतावास स्थित बनाए गए कचरा निस्तारण प्लांट में कचरे के ढेर नजर आ रहे हैं. रोजाना प्लांट में कचरे का निस्तारण किया जा रहा है. इसके बावजूद प्लांट में वर्तमान समय में 12 हजार टन से ज्यादा कचरा इकट्ठा हो चुका है, जिसे अगले 15 दिन बाद निस्तारित किया जाएगा.

15 दिन बाद हो रहा कचरा निस्तारण

बता दें कि यह कचरा इसलिए इकट्ठा कर रखा है, क्योंकि कचरे को भी प्लांट के मैनेजमेंट ने संक्रमण का खतरा माना है. ऐसे में संक्रमण के खतरे को कम करने के लिए प्लांट ने शहर भर से उठाए हुए इस कचरे को 15 दिन तक धूप में रहने का ही फैसला लिया है. ऐसे में पाली से उठने वाला रोजाना 200 टन से ज्यादा कचरा, कचरा निस्तारण प्लांट में पहुंच रहा है. जबकि इतनी मात्रा में इस प्लांट में कचरे का निस्तारण नहीं हो पा रहा है. प्लांट प्रबंधन का कहना है कि यहां सभी सुविधाएं हैं, बावजूद इसके कचरे का निस्तारण तुरंत नहीं किया जा सकता और इस कचरे में आए संक्रमण को रोकने का ऐसा कोई भी रास्ता नहीं है. ऐसे में कर्मचारियों की सुरक्षा को देखते हुए इस कचरे को प्लांट की सरहद में ही रखा गया है.

यह भी पढ़ेंः पाली में 340 कोरोना संक्रमित स्वस्थ होकर लौटे घर, आइसोलेशन वार्ड में क्या होता है खुद देखिए...

बता दें कि पाली में 65 वार्ड हैं. यहां से रोजाना छोटे-बड़े वाहनों से करीब 200 टन से ज्यादा कचरे को पाली शहर में बनाए गए अलग-अलग डंपिंग यार्ड में इकट्ठा किया जाता है. यहां से बड़े ट्रेलर की मदद से पूरे कचरे को पाली शहर की सरहद पर बने खेतावास स्थित कचरा निस्तारण प्लांट पर भेजा जाता है. कचरा निस्तारण के लिए नगर परिषद की ओर से टेंडर जारी किया हुआ है, जिसका कार्य एक कंपनी द्वारा किया जा रहा है.

कचरा निस्तारण प्लांट  कोरोना संक्रमण का खतरा  pali news  waste disposal  waste disposal in pali  corona infection  waste disposal plant  risk of corona infection  etv bharat news  प्लांट मैनेजर पंकज झा  plant manager pankaj jha  d compost news
कम्पोस्ट खाद अभी नहीं कर रहे तैयार

रोजाना शहर से आने वाले कचरे को अलग-अलग हिस्सों में बांटकर उसका शोधन किया जाता है. लेकिन पिछले दो माह से कोरोना संक्रमण को देखते हुए इस प्लांट में कार्य की गति धीमी हो चुकी है. ऐसे में प्लांट मैनेजमेंट का कहना है कि कोरोना संक्रमण के बाद में शहर से उठाए हुए कचरे को ये लोग 15 दिन तक धूप में रख रहे हैं. इसके बाद ही इस कचरे को ट्रीट किया जा रहा है. ऐसे में शुरूआती 15 दिन तक प्लांट में किसी भी प्रकार के कचरे का शोधन नहीं किया गया, जिसके चलते धीरे-धीरे प्लांट की जमीन पर 12 हजार टन से ज्यादा कचरा इकट्ठा हो चुका है.

प्लांट के मैनेजर पंकज झा ने बताया कि शहर से उठाए हुए इस कचरे में कोरोना संक्रमण सहित अन्य बीमारियों का खतरा सबसे ज्यादा मंडरा रहा है. ऐसे में कर्मचारियों के स्वास्थ्य का ध्यान रखना उनकी पहली प्राथमिकता है. प्लांट ने यह भी जिम्मेदारी उठाई है कि संक्रमण खत्म होते ही प्लांट द्वारा इस पूरे कचरे का निस्तारण कर दिया जाएगा. जब तक संक्रमण का दौर चल रहा है, तब तक प्लांट को एहतियात के तौर पर सुरक्षा बरतते हुए कचरे का निस्तारण इसी प्रकार से करना होगा.

कम्पोस्ट खाद अभी नहीं कर रहे तैयार...

मैनेजर पंकज झा ने बताया कि कचरा निस्तारण प्लांट में आने वाले कचरे से निकलने वाले कुछ वेस्ट डी कम्पोस्ट (D compost) खाद भी तैयार की जाती है. लेकिन संक्रमण के बाद से ही डी कम्पोस्ट खाद बनाने का कार्य पूरी तरह से बंद कर दिया गया है. उन्होंने बताया कि जब शहर में स्थितियां सामान्य हो जाएंगी. उसके बाद आए हुए कचरे से डी कम्पोस्ट खाद बनाने का कार्य शुरू किया जाएगा. तब तक यहां सिर्फ कचरे का निस्तारण किया जाएगा.

कचरा निस्तारण प्लांट  कोरोना संक्रमण का खतरा  pali news  waste disposal  waste disposal in pali  corona infection  waste disposal plant  risk of corona infection  etv bharat news  प्लांट मैनेजर पंकज झा  plant manager pankaj jha  d compost news
फैक्ट्रियों में जलावन के कोल का भी लगा भंडार

फैक्ट्रियों में जलावन के कोल का भी लगा भंडार...

कचरा निस्तारण प्लांट के प्रबंधन ने बताया कि शहर भर से आने वाले कचरे के निस्तारण के बाद यहां से निकले कचरे का कोल तैयार किया जाता है, जो पाली क्षेत्र में संचालित हो रही विभिन्न सीमेंट फैक्ट्री में काम लिया जाता है. लेकिन पिछले दो माह से यह सभी प्लांट बंद पड़े हैं. ऐसे में कचरे से निकलने वाले कोल की डिमांड पूरी तरह से खत्म हो चुकी है. इस कारण से प्रतिदिन निकलने वाले कचरे के बाद बचने वाले कोल का कचरा निस्तारण प्लांट में पहाड़ सा लग चुका है. सबसे ज्यादा खतरा अब प्लांट में यह भी मंडरा रहा है कि अगर इस कोल में आग लग जाती है तो इसे नियंत्रित करना काफी मुश्किल होगा.

पाली. कोरोना संक्रमण (Corona Infection) का खतरा सिर्फ इंसानों से ही नहीं, बल्कि इंसानों द्वारा फेंके जा रहे कचरे से भी है. इसी डर से पाली से उठने वाला कचरा 15 दिन तक अपने निस्तारण का इंतजार कर रहा है. ऐसे में पाली सरहद के खेतावास स्थित बनाए गए कचरा निस्तारण प्लांट में कचरे के ढेर नजर आ रहे हैं. रोजाना प्लांट में कचरे का निस्तारण किया जा रहा है. इसके बावजूद प्लांट में वर्तमान समय में 12 हजार टन से ज्यादा कचरा इकट्ठा हो चुका है, जिसे अगले 15 दिन बाद निस्तारित किया जाएगा.

15 दिन बाद हो रहा कचरा निस्तारण

बता दें कि यह कचरा इसलिए इकट्ठा कर रखा है, क्योंकि कचरे को भी प्लांट के मैनेजमेंट ने संक्रमण का खतरा माना है. ऐसे में संक्रमण के खतरे को कम करने के लिए प्लांट ने शहर भर से उठाए हुए इस कचरे को 15 दिन तक धूप में रहने का ही फैसला लिया है. ऐसे में पाली से उठने वाला रोजाना 200 टन से ज्यादा कचरा, कचरा निस्तारण प्लांट में पहुंच रहा है. जबकि इतनी मात्रा में इस प्लांट में कचरे का निस्तारण नहीं हो पा रहा है. प्लांट प्रबंधन का कहना है कि यहां सभी सुविधाएं हैं, बावजूद इसके कचरे का निस्तारण तुरंत नहीं किया जा सकता और इस कचरे में आए संक्रमण को रोकने का ऐसा कोई भी रास्ता नहीं है. ऐसे में कर्मचारियों की सुरक्षा को देखते हुए इस कचरे को प्लांट की सरहद में ही रखा गया है.

यह भी पढ़ेंः पाली में 340 कोरोना संक्रमित स्वस्थ होकर लौटे घर, आइसोलेशन वार्ड में क्या होता है खुद देखिए...

बता दें कि पाली में 65 वार्ड हैं. यहां से रोजाना छोटे-बड़े वाहनों से करीब 200 टन से ज्यादा कचरे को पाली शहर में बनाए गए अलग-अलग डंपिंग यार्ड में इकट्ठा किया जाता है. यहां से बड़े ट्रेलर की मदद से पूरे कचरे को पाली शहर की सरहद पर बने खेतावास स्थित कचरा निस्तारण प्लांट पर भेजा जाता है. कचरा निस्तारण के लिए नगर परिषद की ओर से टेंडर जारी किया हुआ है, जिसका कार्य एक कंपनी द्वारा किया जा रहा है.

कचरा निस्तारण प्लांट  कोरोना संक्रमण का खतरा  pali news  waste disposal  waste disposal in pali  corona infection  waste disposal plant  risk of corona infection  etv bharat news  प्लांट मैनेजर पंकज झा  plant manager pankaj jha  d compost news
कम्पोस्ट खाद अभी नहीं कर रहे तैयार

रोजाना शहर से आने वाले कचरे को अलग-अलग हिस्सों में बांटकर उसका शोधन किया जाता है. लेकिन पिछले दो माह से कोरोना संक्रमण को देखते हुए इस प्लांट में कार्य की गति धीमी हो चुकी है. ऐसे में प्लांट मैनेजमेंट का कहना है कि कोरोना संक्रमण के बाद में शहर से उठाए हुए कचरे को ये लोग 15 दिन तक धूप में रख रहे हैं. इसके बाद ही इस कचरे को ट्रीट किया जा रहा है. ऐसे में शुरूआती 15 दिन तक प्लांट में किसी भी प्रकार के कचरे का शोधन नहीं किया गया, जिसके चलते धीरे-धीरे प्लांट की जमीन पर 12 हजार टन से ज्यादा कचरा इकट्ठा हो चुका है.

प्लांट के मैनेजर पंकज झा ने बताया कि शहर से उठाए हुए इस कचरे में कोरोना संक्रमण सहित अन्य बीमारियों का खतरा सबसे ज्यादा मंडरा रहा है. ऐसे में कर्मचारियों के स्वास्थ्य का ध्यान रखना उनकी पहली प्राथमिकता है. प्लांट ने यह भी जिम्मेदारी उठाई है कि संक्रमण खत्म होते ही प्लांट द्वारा इस पूरे कचरे का निस्तारण कर दिया जाएगा. जब तक संक्रमण का दौर चल रहा है, तब तक प्लांट को एहतियात के तौर पर सुरक्षा बरतते हुए कचरे का निस्तारण इसी प्रकार से करना होगा.

कम्पोस्ट खाद अभी नहीं कर रहे तैयार...

मैनेजर पंकज झा ने बताया कि कचरा निस्तारण प्लांट में आने वाले कचरे से निकलने वाले कुछ वेस्ट डी कम्पोस्ट (D compost) खाद भी तैयार की जाती है. लेकिन संक्रमण के बाद से ही डी कम्पोस्ट खाद बनाने का कार्य पूरी तरह से बंद कर दिया गया है. उन्होंने बताया कि जब शहर में स्थितियां सामान्य हो जाएंगी. उसके बाद आए हुए कचरे से डी कम्पोस्ट खाद बनाने का कार्य शुरू किया जाएगा. तब तक यहां सिर्फ कचरे का निस्तारण किया जाएगा.

कचरा निस्तारण प्लांट  कोरोना संक्रमण का खतरा  pali news  waste disposal  waste disposal in pali  corona infection  waste disposal plant  risk of corona infection  etv bharat news  प्लांट मैनेजर पंकज झा  plant manager pankaj jha  d compost news
फैक्ट्रियों में जलावन के कोल का भी लगा भंडार

फैक्ट्रियों में जलावन के कोल का भी लगा भंडार...

कचरा निस्तारण प्लांट के प्रबंधन ने बताया कि शहर भर से आने वाले कचरे के निस्तारण के बाद यहां से निकले कचरे का कोल तैयार किया जाता है, जो पाली क्षेत्र में संचालित हो रही विभिन्न सीमेंट फैक्ट्री में काम लिया जाता है. लेकिन पिछले दो माह से यह सभी प्लांट बंद पड़े हैं. ऐसे में कचरे से निकलने वाले कोल की डिमांड पूरी तरह से खत्म हो चुकी है. इस कारण से प्रतिदिन निकलने वाले कचरे के बाद बचने वाले कोल का कचरा निस्तारण प्लांट में पहाड़ सा लग चुका है. सबसे ज्यादा खतरा अब प्लांट में यह भी मंडरा रहा है कि अगर इस कोल में आग लग जाती है तो इसे नियंत्रित करना काफी मुश्किल होगा.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.