पाली. निकाय चुनाव का परिणाम अब सामने आ चुका है लोगों के सामने अब चर्चाएं पाली में बनने वाले नए बोर्ड को लेकर हो रही है जहां एक तरफ पाली के 65 वार्डों में जीते प्रत्याशी पाली शहर में अपने जीत का जश्न बना रहे हैं. वहीं बोर्ड बनाने को लेकर दोनों ही बड़ी पार्टी भाजपा और कांग्रेस के पदाधिकारियों के सिर पर चिंताओं की लकीरें दिखाई पड़ रही हैं.
इस बार चिंता पार्टी से बगावत कर चुनावी मैदान में उतरे और चुनाव जीतने वाले निर्दलीय प्रत्याशियों की है. दोनों ही पार्टी के पास पाली नगर परिषद में बोर्ड बनाने के लिए पूर्ण बहुमत नहीं आया है. ऐसे में दोनों ही पार्टी अपनी पार्टी से बागी रुख अपनाकर चुनाव लड़ने वाले निर्दलीय प्रत्याशियों के भरोसे अपना बोर्ड बनाने के लिए जोर आजमाइश करती नजर आ रही हैं.
जीत के जश्न और गहमागहमी के बीच दोनों ही पार्टी के पदाधिकारी अपने बोर्ड बनने का दावा करते नजर आ रहे हैं. अंदर ही अंदर दोनों ही पार्टी के पदाधिकारी पाली से जीते 15 निर्दलीय प्रत्याशियों से संपर्क साधने में लगे हुए हैं.
गौरतलब है कि इस बार पाली में दोनों ही पार्टियों द्वारा टिकट वितरण के दौरान पार्टियों के कार्यकर्ताओं में खासी नाराजगी देखने को मिली थी. इस नाराजगी के चलते पाली के कई वार्डों से पार्टी से नाराज होकर पार्टी के सक्रिय कार्यकर्ताओं ने निर्दलीय रूप से अपना नामांकन दाखिल भी कराया था. नामांकन वापस लेने की अंतिम दिनांक को दोनों ही पार्टी द्वारा कई नाराज कार्यकर्ताओं को नामांकन वापस लेने के लिए राजी कर दिया गया था. लेकिन अपनी जीत से आश्वस्त कई बागी प्रत्याशियों ने नामांकन लेने से साफ इंकार कर दिया था.
भाजपा विधायक ज्ञानचंद पारख ने बताया कि इस बार टिकट वितरण को लेकर कहीं कार्यकर्ताओं में नाराजगी हुई थी. लेकिन उनकी बगावत और नाराजगी अब दूर हो चुकी है और वह जीत के बाद फिर से पार्टी में आने को तैयार हो गए हैं. ऐसे में विधायक ज्ञानचंद पारख का दावा है कि वह 30 प्रत्याशियों के साथ इस बार अपना बोर्ड बना देंगे.
वहीं कांग्रेस के जिलाध्यक्ष चुन्नीलाल चाड़वास भी इस बार अपनी पार्टी का बोर्ड बनने को लेकर आश्वस्त हैं. उन्होंने कहा है कि निर्दलीय प्रत्याशियों की सहायता से पाली नगर परिषद में बोर्ड बनाने को तैयार है. सभी निर्दलीय प्रत्याशियों से उनकी भी बात हो रखी है. इन दोनों ही पार्टियों के वरिष्ठ पदाधिकारियों द्वारा बोर्ड बनाने का दावा कर रहे हैं.
वार्ड नं. | विजेता प्रत्याशी | वार्ड नं. | विजेता प्रत्याशी |
1 | विट्ठलदास (भाजपा) | 35 | नजमा (कांग्रेस) |
2 | ओमप्रकाश (भाजपा) | 36 | मेहबूब (कांग्रेस) |
3 | प्रवीण आर्य (कांग्रेस) | 37 | विकास (भाजपा) |
4 | दिलीप (निर्दलीय) | 38 | हकीम (कांग्रेस) |
5 | सुखिया कंवर (भाजपा) | 39 | रिखबचंद (कांग्रेस) |
6 | महेंद्र कुमार (निर्दलीय) | 40 | पुष्पा (भाजपा) |
7 | पानी देवी (भाजपा) | 41 | हिना (निर्दलीय) |
8 | लून सिंह (भाजपा) | 42 | ऊषा देवी (भाजपा) |
9 | प्रकाश (कांग्रेस) | 43 | दिलीप चौधरी (निर्दलीय) |
10 | फूलीदेवी (निर्दलीय) | 44 | ओम प्रकाश (भाजपा) |
11 | मोइनुद्दीन (कांग्रेस) | 45 | खुशबू (भाजपा) |
12 | ज्योति (भाजपा) | 46 | तेजाराम (भाजपा) |
13 | राखी (भाजपा) | 47 | विक्रम सिंह (भाजपा) |
14 | ललित (भाजपा) | 48 | तालिब अली (कांग्रेस) |
15 | जय जसवानी (भाजपा) | 49 | मिश्रीलाल (भाजपा) |
16 | संतोष सिंह | 50 | निर्मल (निर्दलीय) |
17 | जसोदा कंवर (कांग्रेस) | 51 | ललिता (भाजपा) |
18 | मोहम्मद रफीक (निर्दलीय) | 52 | अशोक (भाजपा) |
19 | मोहनलाल (भाजपा) | 53 | सुदर्शन देवासी (भाजपा) |
20 | चैन कंवर (कांग्रेस) | 54 | ओमा चौधरी |
21 | दीपाराम (निर्दलीय) | 55 | भंवर राव (कांग्रेस) |
22 | रमेश (निर्दलीय) | 56 | हीरा देवी (भाजपा) |
23 | मोटू भाई (कांग्रेस) | 57 | कैलाश चंद्र (भाजपा) |
24 | सुल्तान सिंह (भाजपा) | 58 | बाबूलाल (कांग्रेस) |
26 | नरेश मेहता (निर्दलीय) | 59 | भावना कंवर (कांग्रेस |
27 | रमेश (कांग्रेस) | 60 | मोनी मेघवाल (कांग्रेस) |
28 | मोहम्मद अकरम (निर्दलीय) | 61 | भारत राव (निर्दलीय) |
29 | शहनाज (कांग्रेस) | 62 | गणपत मेघवाल (भाजपा) |
30 | रशीदा | 63 | राधा राव (कांग्रेस) |
31 | राकेश भाटी (भाजपा) | 64 | शोभा परिहार (कांग्रेस) |
32 | रेखा भाटी (भाजपा) | 65 | ओम प्रकाश (भाजपा) |
33 | राधेश्याम (भाजपा) | ||
34 | नेटाल मेवाड़ा (कांग्रेस) |