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जैसलमेर में बारिश ने बिगाड़े हालात, ग्रामीण इलाकों में कच्चे आशियानें हुए धराशायी, फसलें भी हुईं चौपट

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Published : Sep 5, 2020, 4:48 PM IST

जैसलमेर में पिछले कई दिनों से लगातार हो रही बारिश लोगों के लिए मुसीबत बनती जा रही है. शनिवार सुबह हुई बारिश के चलते नहरी क्षेत्र रामगढ़, पारेवर और रायमला सहित कई इलाकों में बाढ़ के जैसे हालात उत्पन्न हो गए हैं.

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जैसलमेर में बारिश से बने बाढ़ जैसे हालात

जैसलमेर. स्वर्णनगरी जैसलमेर पर पिछले कुछ दिनों से इंद्रदेव खासे मेहरबान हैं. लेकिन लगातार हो रही बारिश अब लोगों के लिए मुसीबत बनती जा रही है. शनिवार सुबह हुई बारिश के चलते नहरी क्षेत्र रामगढ़, पारेवर और रायमला सहित कई इलाकों में बाढ़ के जैसे हालात उत्पन्न हो गए हैं.

जैसलमेर में बारिश से बने बाढ़ जैसे हालात

जानकारी के अनुसार, शुक्रवार रात एक बजे से हो रही बारिश और जलभराव को देखते हुए प्रशासन ने रायमला और साधना गांव को खाली करा दिया है. वहीं, शनिवार को उपखण्ड अधिकारी दिनेश विश्नोई सहित कई प्रशासनिक अधिकारी रामगढ़ और उसके आसपास के नहरी क्षेत्रों की स्थिति का जायजा लेने के लिए पहुंचे. लेकिन इसी दौरान एसडीएम की सरकारी गाड़ी ही पानी में फंस गई. जिसे काफी मश्क्कत के बाद ग्रामीणों की मदद से बाहर निकाला गया.

बता दें कि, नहर में भी पानी ओवरफ्लो की स्थिति में चल रहा है. ऐसे में नहर के किनारे बसे लोगों को डर है कि, अगर नहर टूट गई तो पूरे इलाके को बहाकर ले जाएगी. शनिवार सुबह भी रायमला गांव के पास नहर की पाल के पास जलभराव हो गया. जिससे पाल के टूटने की संभावना बन रही थी. लेकिन ग्रामीणों ने समय रहते ही प्रशासन को सूचित कर दिया. जिसके बाद आपदा प्रबंधन की टीम मौके पर पहुंची और पाल के पास के पानी को दूसरी जगह से निकाल कर पाल को टूटने से बचा लिया.

ये भी पढ़ेंः जैसलमेर की बेटी की गुजरात में संदिग्ध मौत, परिजनों ने लगाया दहेज के लिए हत्या का आरोप

वहीं, इलाके में बाढ़ के हालातों का जायजा लेने के लिए जैसलमेर विधायक रूपाराम धनदे के पुत्र हरीश धनदे भी स्थानीय कांग्रेसी कार्यकर्ताओं के साथ मौके पर पहुंचे और ग्रामीणों से जानकारी ली. साथ ही उन्होंने बाढ़ में फंसे लोगों को बाहर निकालने के कार्य को और तेज करने के लिए कहा. जिसके बाद ट्रेक्टरों की सहायता से लोगों को सुरक्षित स्थानों तक ले जाया गया. गौरतलब है कि, पिछले कुछ दिनों से जिले में बारिश के चलते कई जगहों में ग्रामीणों और खासतौर पर किसानों को भारी नुकसान हुआ है. कई लोगों के खेतों में बने कच्चे आशियानें भी गिरकर धरासायी हो गए हैं. इलाके के कई खेत और खड़ीन पुरी तरह से जलमग्न हो गए हैं. जिससे किसानों की फसलें पुरी तरह से चौपट हो गई हैं.

जैसलमेर. स्वर्णनगरी जैसलमेर पर पिछले कुछ दिनों से इंद्रदेव खासे मेहरबान हैं. लेकिन लगातार हो रही बारिश अब लोगों के लिए मुसीबत बनती जा रही है. शनिवार सुबह हुई बारिश के चलते नहरी क्षेत्र रामगढ़, पारेवर और रायमला सहित कई इलाकों में बाढ़ के जैसे हालात उत्पन्न हो गए हैं.

जैसलमेर में बारिश से बने बाढ़ जैसे हालात

जानकारी के अनुसार, शुक्रवार रात एक बजे से हो रही बारिश और जलभराव को देखते हुए प्रशासन ने रायमला और साधना गांव को खाली करा दिया है. वहीं, शनिवार को उपखण्ड अधिकारी दिनेश विश्नोई सहित कई प्रशासनिक अधिकारी रामगढ़ और उसके आसपास के नहरी क्षेत्रों की स्थिति का जायजा लेने के लिए पहुंचे. लेकिन इसी दौरान एसडीएम की सरकारी गाड़ी ही पानी में फंस गई. जिसे काफी मश्क्कत के बाद ग्रामीणों की मदद से बाहर निकाला गया.

बता दें कि, नहर में भी पानी ओवरफ्लो की स्थिति में चल रहा है. ऐसे में नहर के किनारे बसे लोगों को डर है कि, अगर नहर टूट गई तो पूरे इलाके को बहाकर ले जाएगी. शनिवार सुबह भी रायमला गांव के पास नहर की पाल के पास जलभराव हो गया. जिससे पाल के टूटने की संभावना बन रही थी. लेकिन ग्रामीणों ने समय रहते ही प्रशासन को सूचित कर दिया. जिसके बाद आपदा प्रबंधन की टीम मौके पर पहुंची और पाल के पास के पानी को दूसरी जगह से निकाल कर पाल को टूटने से बचा लिया.

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वहीं, इलाके में बाढ़ के हालातों का जायजा लेने के लिए जैसलमेर विधायक रूपाराम धनदे के पुत्र हरीश धनदे भी स्थानीय कांग्रेसी कार्यकर्ताओं के साथ मौके पर पहुंचे और ग्रामीणों से जानकारी ली. साथ ही उन्होंने बाढ़ में फंसे लोगों को बाहर निकालने के कार्य को और तेज करने के लिए कहा. जिसके बाद ट्रेक्टरों की सहायता से लोगों को सुरक्षित स्थानों तक ले जाया गया. गौरतलब है कि, पिछले कुछ दिनों से जिले में बारिश के चलते कई जगहों में ग्रामीणों और खासतौर पर किसानों को भारी नुकसान हुआ है. कई लोगों के खेतों में बने कच्चे आशियानें भी गिरकर धरासायी हो गए हैं. इलाके के कई खेत और खड़ीन पुरी तरह से जलमग्न हो गए हैं. जिससे किसानों की फसलें पुरी तरह से चौपट हो गई हैं.

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