जयपुर. एक ओर राजस्थान में 3 दिसंबर को भारत जोड़ो यात्रा प्रवेश करने जा रही है तो वहीं दूसरी ओर राजस्थान में विधानसभा चुनाव से ठीक एक साल पहले सरदारशहर विधानसभा में होने वाले (Sardarshahar By Election) उपचुनाव कांग्रेस और भाजपा के लिए सत्ता का सेमीफाइनल के तौर पर देखा जा रहा है. जहां एक ओर कांग्रेस के पास सरदारशहर के विधायक भंवर लाल शर्मा के निधन के बाद उनके बेटे के रूप में सहानुभूति के रूप में जनता के वोट पाने का ज्यादा बड़ा अवसर है तो वहीं भाजपा इस चुनाव के जरिए किसान वोट बैंक को अपने साथ जोड़ने का प्रयास करेगी.
बहरहाल, अभी कैंडिडेट्स के नाम डिक्लेअर होने में समय है, लेकिन उससे पहले ही भाजपा और कांग्रेस के बीच सरदारशहर उपचुनाव में जीत को लेकर बयानबाजी का दौर शुरू हो गया है. जहां अपने गृह जिले चूरू में होने वाले सरदारशहर उप चुनाव को लेकर उप नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौर ने जीत का दावा कर दिया है तो इस दावे को प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने न केवल खोखला बताया है, बल्कि खुद डोटासरा ने कहा है कि पिछले चार साल में राजस्थान में जनता ने जिस तरह से उपचुनाव में कांग्रेस पार्टी को गुड गवर्नेंस के आधार पर वोट देकर जिताया है, वह सिलसिला सरदारशहर उपचुनाव में भी जारी रहेगा.
डोटासरा ने कहा कि वैसे भी राजस्थान में भारतीय जनता पार्टी (BJP Performance in Rajasthan By Election) कहीं नहीं दिख रही है. पीसीसी चीफ ने कहा कि उप नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौर बताएं कि बीते चार साल में कितने उपचुनाव राजस्थान में हुए और उनमें से भाजपा ने कितने जीते ? डोटासरा ने कहा कि राजेंद्र राठौड़ तो खुद उपचुनाव में प्रभारी रहे और पांच में से केवल एक उपचुनाव जीते हैं. बाकी सारे चुनाव में कांग्रेस पार्टी की जीत हुई है. डोटासरा ने कहा कि सरदारशहर जो राजेंद्र राठौड़ के गृह जिले चुरू में आता है, मैं दावे के साथ कहता हूं कि वहां कांग्रेस उपचुनाव में जीतेगी.
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि राठौड़ में जितना दम है लगा लें, सरदारशहर में कांग्रेस पार्टी ही उपचुनाव जीतेगी. उन्होंने आगे कहा कि अब तक (PCC Chief Dotasra on Rajendra Rathore) हुए उपचुनावों में कांग्रेस पार्टी को जीत मिलने का कारण राजस्थान की गहलोत सरकार की गुड गवर्नेंस ही है. अगर राजस्थान की गहलोत सरकार की गुड गवर्नेंस नहीं होती तो क्या कोई कांग्रेस को वोट देता.
डोटासरा ने इस जीत के लिए पुराने आंकड़ों की बात रखते हुए कहा कि अब तक राजस्थान में यह स्थिति रही कि उपचुनाव में सरकार वाली पार्टी चुनाव हारती है और जब भाजपा सत्ता में थी तो भी कांग्रेस ने ही उपचुनाव में जीत दर्ज की थी. लेकिन इन चार साल में स्थिति उल्टी हो गई है और सत्ताधारी दल होने के बावजूद कांग्रेस राजस्थान में उपचुनाव में ज्यादा सीटें जीती है. डोटासरा ने कहा कि राजेंद्र राठौड़ को तो बयानबाजी केवल अपनी पहचान बचाने के लिए करनी पड़ती है, जब सतीश पूनिया का बयान आ जाता है. बता दें कि मंगलवार को जयपुर में मीडिया से मुखातिब हुए डोटासरा ने ये बातें कही थी. इस दौरान उन्होंने पार्टी के बयानवीरों को भी दो टूक कह दिया था कि समय किसी का गुलाम नहीं होता. पार्टी में सब नोट हो रहा है.