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विराटनगर में आत्मा परियोजना के अंतर्गत किसान संगोष्ठी का आयोजन - विराटनगर में किसान संगोष्ठी का आयोजन

विराटनगर की प्रागपुरा ग्राम पंचायत में कृषि विभाग के आत्मा योजना के अंतर्गत किसान गोष्ठी का आयोजन किया गया. इसमें कृषि विशेषज्ञों ने किसानों को कृषि करने के तरीके बताए.

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विराटनगर में आत्मा परियोजना के अंतर्गत किसान संगोष्ठी का आयोजन
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Published : Feb 3, 2021, 10:16 PM IST

विराटनगर (जयपुर). क्षेत्र के पावटा तहसील के अंतर्गत प्रागपुरा ग्राम पंचायत में कृषि विभाग के आत्मा योजना अंतर्गत किसान गोष्ठी का आयोजन किया गया. गोष्ठी की कृषक फूलचंद जाट ने अध्यक्षता की. कार्यक्रम में मुख्य अतिथि पदेन परियोजना निदेशक रामकुवार जाट ने कहा कि किसानों को जैविक खेती करनी चाहिए. जैविक खेती के फायदे बताते हुए उन्होंने कहा कि जैविक खेती से कृषि कार्य की लागत में कमी आती है. जैविक खेती के माध्यम से भूमि की उपजाऊ क्षमता बनी रहती है और उत्पादन में भी वृद्धि होती है.

जाट ने किसानों को विभागीय योजनाओं का लाभ उठाने की बात कही. सहायक कृषि अधिकारी ओम भारती ने कृषि विभाग की योजनाओं के बारे में बताया. कृषि विज्ञान केंद्र गोनेड़ा से पधारे डॉ. रामप्रताप यादव ने फसलों में पोषक तत्वों के बारे में उपस्थित किसानों को विस्तारपूर्वक समझाया. डॉक्टर योगेंद्र मीणा ने बागवानी के बारे में किसानों को अवगत करवाते हुए उनसे संबंधित रोग और बचाव के बारे में जानकारी दी.

यह भी पढ़ें- बीजेपी एसटी मोर्चा प्रदेश पदाधिकारियों और कार्यसमिति सदस्यों की घोषणा, सूची जारी

डॉ. रेनू गुप्ता ने फसलों में कीट आदि के बारे में किसानों को बताया. पर्यवेक्षक घनश्याम शर्मा ने उद्यान विभाग की योजनाओं के बारे में विस्तार से बताया. कार्यक्रम में उपस्थित कृषि विभाग के कृषि पर्यवेक्षक रमेश चंद भारद्वाज, सुरेंद्र यादव, जय प्रकाश मीणा, कैलाश चंद, गिरधारी लाल जाट, कैलाश चंद गुर्जर ने विभाग योजनाओं के बारे में कृषकों को विस्तार पूर्वक बताया. गोष्ठी के अंत मे प्रश्नोत्तरी का आयोजन कर विजेता किसानों को पुरस्कार दिया गया.

विराटनगर (जयपुर). क्षेत्र के पावटा तहसील के अंतर्गत प्रागपुरा ग्राम पंचायत में कृषि विभाग के आत्मा योजना अंतर्गत किसान गोष्ठी का आयोजन किया गया. गोष्ठी की कृषक फूलचंद जाट ने अध्यक्षता की. कार्यक्रम में मुख्य अतिथि पदेन परियोजना निदेशक रामकुवार जाट ने कहा कि किसानों को जैविक खेती करनी चाहिए. जैविक खेती के फायदे बताते हुए उन्होंने कहा कि जैविक खेती से कृषि कार्य की लागत में कमी आती है. जैविक खेती के माध्यम से भूमि की उपजाऊ क्षमता बनी रहती है और उत्पादन में भी वृद्धि होती है.

जाट ने किसानों को विभागीय योजनाओं का लाभ उठाने की बात कही. सहायक कृषि अधिकारी ओम भारती ने कृषि विभाग की योजनाओं के बारे में बताया. कृषि विज्ञान केंद्र गोनेड़ा से पधारे डॉ. रामप्रताप यादव ने फसलों में पोषक तत्वों के बारे में उपस्थित किसानों को विस्तारपूर्वक समझाया. डॉक्टर योगेंद्र मीणा ने बागवानी के बारे में किसानों को अवगत करवाते हुए उनसे संबंधित रोग और बचाव के बारे में जानकारी दी.

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डॉ. रेनू गुप्ता ने फसलों में कीट आदि के बारे में किसानों को बताया. पर्यवेक्षक घनश्याम शर्मा ने उद्यान विभाग की योजनाओं के बारे में विस्तार से बताया. कार्यक्रम में उपस्थित कृषि विभाग के कृषि पर्यवेक्षक रमेश चंद भारद्वाज, सुरेंद्र यादव, जय प्रकाश मीणा, कैलाश चंद, गिरधारी लाल जाट, कैलाश चंद गुर्जर ने विभाग योजनाओं के बारे में कृषकों को विस्तार पूर्वक बताया. गोष्ठी के अंत मे प्रश्नोत्तरी का आयोजन कर विजेता किसानों को पुरस्कार दिया गया.

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