जयपुर. आगामी दिनों में होने वाली माध्यमिक शिक्षा बोर्ड की परीक्षाओं में किसी तरह की गड़बड़ी नहीं हो, इसको लेकर शिक्षा मंत्री ने अधिकारियों को हिदायत दी. साथ ही बोर्ड परीक्षाओं का संचालन पारदर्शी तरीके से करने और नकल की रोकथाम के लिए हर सम्भव प्रभावी कदम उठाने के लिए निर्देशित किया. परीक्षाओं को मद्देनजर रखते हुए छात्रों के लिए स्पष्ट गाइडलाइन जारी करने के भी निर्देश दिए. वहीं, अब जो कार्मिक परीक्षाओं में गड़बड़ी में संलिप्त पाया जाएगा, उससे परीक्षार्थियों को हुए नुकसान का मूल्यांकन धन के रूप में किया जाएगा और दोषियों से वो राशि वसूली जाएगी.
दरअसल, प्रदेश में माध्यमिक शिक्षा बोर्ड की उच्च माध्यमिक, उच्च माध्यमिक (व्यावसायिक) और वरिष्ठ उपाध्याय परीक्षाएं 29 फरवरी से शुरू होना प्रस्तावित है. इसी तरह माध्यमिक, माध्यमिक (व्यावसायिक) और प्रवेशिका परीक्षाएं 7 मार्च से होनी है. इन परीक्षाओं के टाइम टेबल का शनिवार को अनुमोदन किया गया. शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने विभागीय उच्चाधिकार समिति के साथ चर्चा करते हुए माध्यमिक शिक्षा बोर्ड की कार्यप्रणाली, परीक्षाओं के संचालन संबंधी व्यवस्थाओं और प्रोटोकॉल से संबंधित प्रजेंटेशन देखा.
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परीक्षा केन्द्रों की मॉनिटरिंग की जाए : इस दौरान शिक्षा मंत्री ने कहा कि परीक्षाओं में नकल को रोकने के लिए सभी परीक्षार्थियों के लिए स्पष्ट गाइडलाइन जारी की जाए कि वे परीक्षा केन्द्र पर क्या ला सकते हैं और क्या नहीं? नकल किसी भी कीमत पर न हो इसके लिए आवश्यक सावधानी बरती जाए. उन्होंने कहा कि जिन कार्मिकों के खिलाफ पहले से कोई आरोप हो, विभागीय जांच प्रस्तावित हो या जिनको ब्लैक लिस्ट किया गया है, उनको परीक्षाओं से जुड़ी कोई भी जिम्मेदारी नहीं दी जाए. वहीं, आगे से जो कार्मिक परीक्षाओं में गड़बड़ी में संलिप्त पाया जाए, उससे परीक्षार्थियों को हुए नुकसान का मूल्यांकन धन के रूप में किया जाए और दोषियों से वह राशि वसूलने की व्यवस्था भी की जाए. साथ ही सीसीटीवी कैमरों, वीडियोग्राफी और माइक्रो आब्जर्वर के जरिए परीक्षा केन्द्रों की मॉनिटरिंग की जाए. उन्होंने केन्द्रों पर छात्र-छात्राओं के लिए अलग से स्वच्छ टॉयलेट्स की व्यवस्था सुनिश्चित करने के भी निर्देश दिए.
परीक्षार्थियों के अंक भेजने की गाइडलाइन जारी की जाए : दिलावर ने कहा कि परीक्षाओं के बाद जिन एग्जामिनर की ओर से कॉपी जांच की जाती है, उनके लिए जांच के बाद कॉपी पर कार्य पूर्ण होने का समय लिखने और उसी दिन परीक्षार्थियों के अंक भेजने की गाइडलाइन जारी की जाए. उन्होंने परीक्षा परिणाम जारी होने के बाद उत्तीर्ण विद्यार्थियों को जिन छात्रवृतियों का लाभ मिलता है, उनको शीघ्रता से जारी कराने के लिए सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग और दूसरे डिपार्टमेंट से समन्वय करते हुए एक ही छत के नीचे छात्रवृति के प्रकरणों का समयबद्ध निस्तारण करने की कार्य योजना तैयार करने के भी निर्देश दिए.
इन दौरान शिक्षा मंत्री ने परीक्षाओं में इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स के जरिए नकल की रोकथाम के लिए और प्रभावी प्रोटोकॉल लागू करने पर भी चर्चा की. वहीं, स्कूल शिक्षा विभाग के शासन सचिव नवीन जैन ने कहा कि इस संबंध में पहले से विद्यमान प्रोटोकॉल की समीक्षा करते हुए पुलिस, प्रशासन और दूसरे पक्षों से मिले सुझावों के आधार पर अपडेटेड प्रोटोकॉल जारी किया जाएगा.