चित्तौड़गढ़. राजस्थान सरपंच संघ के पदाधिकारियों ने अपनी विभिन्न मांगों को लेकर सोमवार को मुख्य कार्यकारी अधिकारी को ज्ञापन सौंपा है. इस दौरान उन्होंने एसएफसी और एफएफसी की राशि ग्राम पंचायतों को जारी करने और छठे राज्य वित्त आयोग के गठन होने तक विशेष पैकेज की घोषणा करने की मांग की है.
इस दौरान सरपंच संघ के पदाधिकारियों ने बताया कि राज्य सरकार की ओर से ग्राम पंचायतों के खातों में पैसे जारी नहीं किए जा रहे हैं. ऐसे में ग्राम पंचायतों में छोटी-बड़ी समस्याओं के काम भी नहीं करवा पा रहे हैं. ग्रामीण सरपंचों के घर आकर बार-बार शिकायत कर रहे हैं, जिससे कि सरपंच और उनके प्रतिनिधि अपने घरों पर नहीं रुक पा रहे हैं.
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जानकारी के अनुसार राजस्थान सरपंच संघ जयपुर के आह्वान पर चित्तौड़गढ़ में सरपंच संघ के पदाधिकारियों ने भी मुख्यमंत्री, मुख्य सचिव, अतिरिक्त मुख्य सचिव और प्रमुख शासन सचिव के नाम मुख्य कार्यकारी अधिकारी चित्तौड़गढ़ को ज्ञापन सौंपा है. इस ज्ञापन में बताया कि प्रदेश की ग्राम पंचायतों को विगत 2 वर्षों से राज्य वित्त आयोग की राशि जारी नहीं की गई है.
सूत्रों से ज्ञात हुआ है कि 2964.31 करोड़ रुपए की स्वीकृति जारी होने के बाद भी वर्ष 2019-20 की राशि ग्राम पंचायतों को जारी नहीं की जा रही है. इससे चित्तौड़गढ़ जिले और प्रदेश के सरपंचों में भारी आक्रोश है. इसके अतिरिक्त राज्य वित्त आयोग का गठन नहीं किया गया है, जिससे भविष्य में भी राजस्थान की ग्राम पंचायतों को राज्य वित्त आयोग की राशि मिलने की संभावना समाप्त हो गई है.
ज्ञापन में मांग की है कि राज्य वित्त आयोग के गठन होकर उसकी सिफारिशें तक आगामी बजट 2021 में जो मुख्यमंत्री की ओर से 24 फरवरी को जारी किया जा रहा है, उसमें ग्राम पंचायतों के लिए 5000 करोड़ रुपए के विशेष पैकेज की घोषणा की मांग की गई है.
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ज्ञापन में चेतावनी भी दी है कि ग्राम पंचायतों को राशि जारी नहीं की गई तो राजस्थान सरपंच संघ आंदोलन करेगा. जिसकी समस्त जिम्मेदारी सरकार की होगी. ज्ञापन के दौरान सरपंच संघ के पदाधिकारियों ने बताया कि ग्राम पंचायतों को सरकार की ओर से राशि जारी नहीं की जा रही है. ऐसे में ग्राम पंचायतों में विकास के काम नहीं करवा पा रहे हैं, पानी सहित अन्य छोटी-बड़ी समस्याओं के काम नहीं होने से ग्रामीण बार-बार घरों में आकर सरपंच को शिकायत कर रहे हैं. ऐसे में सरपंचों का घर पर रुक पाना भी दुश्वार हो रहा है.